बरहेट आए मुख्यमंत्री, नहीं गए विधायक लोबिन
संवाद सहयोगी, बरहेट (साहिबगंज) : राज्य सरकार की नीतियों पर सवाल उठाने वाले बोरियो से विधायक लोबिन हेम्ब्रम ने हूल दिवस पर बरहेट व मंडरो में हुए कार्यक्रमों से खुद को अलग रखा। यहां मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन का आगमन हुआ था, ऐसे में विधायक की नामौजूदगी सियासी गलियारों की राजनीति को गरमा गई। बगावती तेवर अपनाए लोबिन ने बरहेट के भोगनाडीह में अलग से एक कार्यक्रम किया। इसके लिए बाकायदा अलग मंच बनाया गया।
इस कार्यक्रम में रांची, दुमका, गोड्डा, पाकुड़, साहिबगंज, बरहड़वा से आए आदिवासी विद्यार्थी व विभिन्न गांवों के लोग शामिल हुए। यहां वक्ताओं ने 1932 के खतियान के आधार पर स्थानीय नीति बनाने, अनुसूचित क्षेत्रों से पंचायत व्यवस्था रद करने, एसपीटी एक्ट 1949 व सीएनटी एक्ट 1908 को सख्ती से लागू करने, पी-पेसा कानून 1996 को लागू करने की मांग सरकार से की। विधायक ने कहा कि चुनावी घोषणा में जो था, वही मांग कर रहा हूं। बाहरी लोग यहां आकर एसपीटी एक्ट, सीएनटी एक्ट रहने के बावजूद जमीन की खरीद बिक्री कर रहे। बावजूद डीसी चुप हैं। इस दौरान सिदो-कान्हू मुर्मू के वंशज मंडल मुर्मू, ग्राम प्रधान अध्यक्ष बेटका मुर्मू, शोले मरांडी, ईश्वर हेम्ब्रम, लाउस हांसदा, संटु किस्कू, श्यामदेव हेम्ब्रम, छात्र नायक बाबूधन टुडू, केकेएम कालेज के कमल मुर्मू, एडवर्ड सोरेन, मार्शेल हांसदा, सोलेका मरांडी समेत अनेक लोग मौजूद थे।
मंडरो : मंडरो फासिल्स पार्क के शुभारंभ के मौके पर स्थानीय विधायक लोबिन हेम्ब्रम की अनुपस्थिति पर कई झामुमो कार्यकर्ता भी नाराज दिखे। यह पार्क बोरियो विधानसभा क्षेत्र में आता है। पार्क के लिए दिए गए विज्ञापन में स्थानीय विधायक का नाम नहीं था।