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कानून के छात्रों की नजर में बेरोजगारी, शिक्षा और नारी सुरक्षा बड़ा मुद्दा

कानून के विद्यार्थियों की नजर में बेरोजगारी शिक्षा और नारी सुरक्षा बड़ा मुद्दा है।

By JagranEdited By: Published: Fri, 26 Apr 2019 05:31 AM (IST)Updated: Fri, 26 Apr 2019 06:41 AM (IST)
कानून के छात्रों की नजर में बेरोजगारी, शिक्षा और नारी सुरक्षा बड़ा मुद्दा
कानून के छात्रों की नजर में बेरोजगारी, शिक्षा और नारी सुरक्षा बड़ा मुद्दा

जागरण संवाददाता, रांची

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कानून के विद्यार्थियों की नजर में बेरोजगारी, शिक्षा और नारी सुरक्षा बड़ा चुनावी मुद्दा है। जागरण के अभियान पहला मुद्दा पहला वोट के तहत छोटानागपुर लॉ कॉलेज के छात्रों के ये विचार हैं। उन्होंने मतदान कर मुद्दों को जाहिर किया है। मुद्दे कई थे मगर प्राथमिकताएं कुछ इसी अंदाज में थीं। लोगों की चिंता शहरी विकास-नागरिक सुविधाएं और अपराध, और पर्यावरण को लेकर भी है। जाहिर है ये मुद्दे मतदान को प्रभावित करेंगे। अधिसंख्य छात्रों ने वोट के महत्व को समझते हुए खुद और देश के लिए मताधिकार के इस्तेमाल पर जोर दिया है। दलील थी कि एक वोट से क्या होगा विचारधारा बदलने की जरूरत है। एक-एक वोट से देश और राजनीति की तस्वीर बदल सकते हैं। यह विशेषाधिकार के साथ दायित्व भी है। बढ़ें रोजगार के अवसर

छात्रों की सर्वाधिक ंिचंता बेरोजगारी को लेकर है। चुनाव में उम्मीदवारों को यह फैक्टर प्रभावित करेगा। झारखंड में रोजगार के कम अवसर हैं। यही वजह से कि यहां से लोग बड़ी संख्या में पलायन करते हैं, तस्करी के शिकार होते हैं। ये चाहते हैं कि प्रदेश में ही रोजगार के बेहतर अवसर पैदा हों। रोजगार का अभाव अपराध को बढ़ावा देता है। रोजगार से संबंधित परीक्षाएं समय पर नहीं होने को लेकर भी इनकी चिंता है। शिक्षा व्यवस्था में व्यापक बदलाव की जरूरत

छोटानागपुर लॉ कॉलेज के छात्रों की समझ है कि शिक्षा व्यवस्था में व्यापक बदलाव की जरूरत है। प्रारंभिक से उच्च शिक्षा तक। समय पर परीक्षाएं हों। हर किसी के लिए शिक्षा की व्यवस्था होनी चाहिए। गरीबों को भी बेहतर शिक्षा मिल सके इसका इंतजाम हो। प्राइवेट स्कूलों में विभिन्न तरह के शुल्क, महंगी शिक्षण सामग्री के कारण गरीब बच्चे नहीं पढ़ पाते। ग्रामीण क्षेत्रों के स्कूलों में हिदी माध्यम से ही ज्यादा बच्चे पढ़ते हैं। यह उनकी कमजोरी साबित होती है। नौकरी के अवसर में पिछड़ जाते हैं। ग्रामीण शिक्षा में सुधार की जरूरत है। विचार यह भी आया कि ग्रामीण स्कूलों में हिदी माध्यम से पढ़ने वाले बच्चों के लिए सरकारी नौकरियों में आरक्षण का प्रावधान किया जाए। रोजगार आधारित शिक्षा की व्यवस्था हो। बेटियों की सुरक्षा की हो गारंटी

महिलाओं के प्रति बढ़ते अपराध की चिंता भी चुनावी मुद्दे में छलकी। तीसरे पायदान पर नारी सुरक्षा का मसला आया। पुलिस प्रशासन के विभिन्न तरह के प्रयोग के बावजूद महिलाओं के प्रति अपराध की घटनाएं हो रही है। महिला सुरक्षा की ये गारंटी चाहते हैं। ताकि किसी की बहन बेटी शिकार न हो। शहरी विकास जरूरी

नागरिक सुविधाओं की कमी का कानून के छात्र गहराई से महसूस करते हैं। जाम की समस्या हो या, पानी, बिजली। अलग राज्य बनने के इतने सालों के बाद भी तस्वीर बहुत नहीं बदली है। आज भी मेन रोड पर जाम उसी तरह है। पानी, जल निकासी, सफाई का संकट भी बरकरार है। जल्द फ्लाईओवर के निर्माण और नियोजित विकास की वकालत करते हैं। ------------

चिंता मानव तस्करी की

रॉबिन कुमार ने सिर्फ मानव तस्करी पर चिंता जाहिर की है। लिखा है कि आज हमारा देश, राज्य विकास की ओर अग्रसर है। पर मन विचलित हो जाता जब मालूम होता है कि देश में स्त्री, पुरुष और बच्चों को तुच्छ स्वार्थ के कारण एक वस्तु की भांति बेचा जाता है। इस प्रकार के गोरख धंधे में हमारी कई जानीमानी हस्तियों का हाथ भी होता है। जिसे हम यूं ही नकारते रहते हैं। ताज्जुब की बात तब होती है जब हमें पता चलता है कि इसमें झारखंड की बहुत बड़ी हिस्सेदारी है।

--रॉबिन कुमार

------------ भ्रष्टाचार एवं देश की सुरक्षा है मुद्दा

गरीबी, शिक्षा, बेरोजगारी यह कोई मुद्दा नहीं है। यह एक चुनावी रणनीति है जो कि देश आजाद होने के समय से चली आ रही है। एक परंपरा है। आगे भी रहेगी। मेहनत करो और आगे बढ़ो। मुद्दा है भ्रष्टाचार एवं देश की सुरक्षा

--राजकुमार

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वन्य जीव को संरक्षित करने की जरूरत

वन्य जीव को संरक्षित करने की व्यवस्था जरूरी है। पूर्व की अपेक्षा अधिक कारगर तरीका अपनाया जाए जिससे वर्तमान परिस्थितियों के अनुकूल वन्य जीवों का संरक्षण किया जा सके

--अरुण सोलोमोन केरकेट्टा


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