आजादी के अमृत महोत्वकाल में भी ग्रामीणों को नहीं मिल रहा शुद्ध पानी, महीनों से खराब है हैंडपंप
Gumla News हैंडपंप खराब होने की शिकायत करने के बाद भी हैंडपंप का मरम्मत नहीं होना शासन और प्रशासन का यह दावा का पोल खोलने के लिए काफी है कि जनता को सुलभ पेयजल उपलब्ध कराया जा रहा है।

गुमला, जागरण संवाददाता। करोड़ों के हेराफेरी मामले में सुर्खियों में रहने वाले पेयजल एवं स्वच्छता विभाग के पास खराब हैंडपंप को मरम्मत करने के लिए वाहन की सुविधा नहीं है। वाहन सुविधा के लिए विभाग के पास राशि नहीं है जिस कारण गांव में खराब हैंडपंप का शिकायत करने के बाद भी नहीं बन रहा है। नतीजतन ग्रामीणों को खेत में बने कुआं का प्रदूषित पानी पीने को मजबूर होना पड़ रहा है।
प्रशासनिक लापरवाही से पानी को तरस रहे ग्रामीण
जिला मुख्यालय से सटे अरमई पंचायत का नेवाटेली गांव में पिछले पन्द्रह दिनों से हैंडपंप खराब है। हैंडपंप खराब होने की शिकायत करने के बाद भी हैंडपंप का मरम्मत नहीं होना शासन और प्रशासन का यह दावा का पोल खोलने के लिए काफी है कि जनता को सुलभ पेयजल उपलब्ध कराया जा रहा है। ग्रामीणों के अनुसार खराब हैंडपंप की जब विभाग में शिकायत की गई तो विभाग के कनीय अभियंता ने साफ कह दिया केि उनके पास मरम्मत करने के लिए मिस्त्री तो हैं लेकिन आने जाने के लिए वाहन की सुविधा नहीं है।
पानी की समस्या से जूझ रहा आदिवासी गांव
मिस्त्री के आने जाने का खर्च ग्रामीणों को खुद वहन करना होगा। आदिवासी बहुल गांव में रहने वाले गरीब ग्रामीण अपना पैसा खर्च कर हैंडपंप बनवाने में सक्षम नहीं है, जिस कारण खेत में बने कुआं से प्रदूषित पानी पीने को मजबूर हैं। गांव की महिला रामी उरांव, बिरसमनी लकड़ा, कुमारी देवी, जोसफा केरकेट्टा, बिरजो उरांव का कहना है कि जब से हैंडपंप खराब है तब से पीने की पानी की समस्या हो गई है। सोलर आधारित टंकी इस गांव में मिला तो वह भी नहीं बना। हैंडपंप खराब होने के कारण ग्रामीणों को पीने की पानी की समस्या हो गई है। कोट15 वें वित्त में साठ प्रतिशत राशि पेयजल समस्या के समाधान के लिए प्रावधान किया गया है। यह राशि खर्च मुखिया द्वारा किया जाना है। विभाग से भी हैंडपंप मरम्मत होता है। विभाग के पास हैंडपंप मरम्मत के लिए सभी सुविधाएं हैं। लाभूक से वाहन की व्यवस्था कराने से संबंधित उन्हें कोई जानकारी नहीं है। मंतोष कुमार मनीकार्यपालक अभियंतापेयजल एवं स्वच्छता विभाग गुमला
Edited By Madhukar Kumar