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रांची के अपर बाजार में बिना नक्शा पास कराए बने प्रतिष्ठानों पर चलेगा बुल्डोजर, अल्टीमेटम जारी

हाईकोर्ट के आदेश की टिप्पणी के बाद नगर निगम अपर बाजार से अतिक्रमण हटा कर सड़कें चौड़ी करने की कवायद में जुट गया है। रांची नगर निगम के नगर आयुक्त की अदालत ने मंगलवार को 12 बड़े प्रतिष्ठान से अतिक्रमित हिस्से को हटाने का आदेश पारित कर दिया है।

By Vikas SrivastavaEdited By: Published: Wed, 28 Jul 2021 08:58 AM (IST)Updated: Wed, 28 Jul 2021 08:58 AM (IST)
रांची के अपर बाजार में बिना नक्शा पास कराए बने प्रतिष्ठानों पर चलेगा बुल्डोजर। फाइल फोटो। जागरण

रांची, जासं। हाईकोर्ट के आदेश की टिप्पणी के बाद नगर निगम अपर बाजार से अतिक्रमण हटा कर सड़कें चौड़ी करने की कवायद में जुट गया है। रांची नगर निगम के नगर आयुक्त की अदालत ने मंगलवार को अपर बाजार के 12 बड़े प्रतिष्ठान से अतिक्रमित हिस्से को हटा कर इन्हें सड़क से पीछे करने और सरकारी जमीन खाली कराने का आदेश पारित कर दिया है। आदेश पारित होने के बाद नगर निगम की अदालत ने इन सभी प्रतिष्ठानों के मालिकों को नोटिस जारी कर दी है। इन सभी को अतिक्रमित हिस्से को हटाने के लिए 15 दिन का अल्टीमेटम दिया गया है। इसके बाद नगर निगम का बुल्डोजर अपर बाजार में चलेगा।

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ये भवन बिना स्वीकृत भवन प्लान के बनाए गए हैं। इन भवनों के निर्माण से पहले नगर निगम से नक्शा नहीं पास कराया गया। इन भवनों को कई साल पहले भी नोटिस जारी की गई थी। मगर, इन भवनों के मालिकों ने नोटिस का जवाब नहीं दिया था। इसके बाद पिछले साल अपर बाजार की तकरीबन सवा सौ इमारतों के मालिकों से नोटिस जारी कर नक्शा मांगा गया था। मगर, इनमें से कुछ ने छोड़ कर किसी ने नक्शा जमा नहीं कराया है। इसके बाद नगर निगम ने इन इमारतों के खिलाफ नगर निगम की अदालत में केस शुरू कर दिया। केस चल रहा था। मगर, इसी बीच हाईकोर्ट ने अतिक्रमण के खिलाफ टिप्पणी करते हुए कहा कि जो अधिकारी अतिक्रमण नहीं हटा सकते उन्हें कुर्सी छोड़ देनी चाहिए। इसके बाद नगर निगम सक्रिय हो गया है। नगर आयुक्त की अदालत में जितने भी अतिक्रमण वाद चल रहे हैं। सबमें ताबड़तोड़ फैसले हो रहे हैं। कुछ दिन पहले ही नगर निगम ने कांके, हिनू और बड़ा तालाब के आसपास की 180 अवैध इमारतों को तोड़ने का आदेश जारी किया है। इसी के बाद नगर निगम ने अब अपर बाजार को भी निशाने पर लिया है। दरअसल, अपर बाजार में बड़े पैमाने पर अतििक्रमण है। यहां एक तो बिना नक्शे की इमारतों की भरमार है तो वहीं इन इमारतों को धीरे-धीरे आगे बढ़ा कर निर्माण कर लिया गया है। इससे सड़कें संकरी हो गई हैं। अपर बाजार में पैदल चलना दुश्वार हो गया है। यहां रोज जाम लगा रहता है। हाईकोर्ट पहले भी यहां से जाम हटा कर आवागमन को सुगम बनाने का आदेश भी जारी कर चुका है।

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खुद से अनधिकृत निर्माण हटाने को मिली मोहलत

नगर निगम ने 12 प्रतिष्ठानों के मालिकों को मंगलवार को नोटिस जारी कर दी है। जारी नोटिस में भवन मालिकों को खुद से अनधृकित निर्माण को हटाने को कहा गया है। इसके लिए उन्हें 15 दिनों की मोहलत दी गई है। खुद से अनधिकृत निर्माण नहीं हटाने पर नगर निगम यहां बुल्डोजर चलाएगा। नगर निगम ने चेतावनी दी है कि जिन इमारतों में नगर निगम तोड़फोड़ की कार्रवाई करेगा उनसे इसके लिए शुल्क भी वसूला जाएगा।

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दो साल पहले दर्ज हुआ था केस

नगर निगम ने वर्ष 2019 में अपर बाजार का सर्वे कराया था। ये सर्वे नगर निगम की टाउन प्लानिंग शाखा ने किया था। इस सर्वे में बिना नक्शा पास कराए किए गए अनधृकित निर्माण की जांच कराई गई थी। इसके बाद बिना स्वीकृत भवन प्लान के इमारत का निर्माण कराने वालों पर निगम ने यूसी केसी दर्ज किया था। 22 जुलाई को इस मामले में अंतिम सुनवाई हुई थी। इसी मामले में रांची नगर निगम ने 12 प्रतिष्ठानों को तोड़ने का आदेश जारी किया है।

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इनको हुआ तोड़ने का हुआ नोटिस

अल्का ज्वेलर्स, आरएन काम्प्लेक्स, रंगीला वस्त्राालय, सुंदर वस्त्रालय, बाजोरिया ट्रेड सेंटर, विजय कुमार एंड ब्रदर्स (बीकेबी मॉल), कामधेनु बिल्डिंग, मोदी कलेक्शन, मोदी संस, नानी स्टील,दयालदास राधाकृष्ण और द्वारिकाधीश वस्त्रालय।

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सेवा सदन मामले की गुरुवार को होगी सुनवाई

बड़ा तालाब से सटे सेवा सदन अस्पताल अतिक्रमण मामले में मंगलवार को नगर आयुक्त के न्यायालय में सुनवाई होनी थी। परंतु, सोमवार को तमाड़ में अधिवक्ता मनोज झा की हत्या के कारण वकीलों ने कार्य बहिष्कार कर दिया। इस वजह से नगर आयुक्त कोर्ट में सुनवाई नहीं हो पाई। अब इस मामले में गुरुवार को अंतिम सुनवाई होगी। रांची नगर निगम पहले ही बड़ा तालाब के आसपास बिना स्वीकृत भवन प्लान के निर्माण कराने वाले 34 भवन मालिकों को तोड़ने का आदेश पारित कर चुका है। इन भवन मालिकों को नोटिस दी जा चुकी है। इन्हें भी 15 दिनों की मोहलत दी गई है।


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