कंपकपाती ठंड में प्रशिक्षण ले रहे हैं संघ के स्वयंसेवक, कोरोना के कारण सालों से लगा था ब्रेक
Ranchi News एक तरफ जहां इस कंपकपाती ठंड में अधिकतर लोग सुबह में रजाई में दुबके रहते हैं तो दिन में भी इससे बचने के उपाय में लगे रहते हैं वहीं दूसरी ओर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के सैकड़ों स्वयंसेवक शाखा संचालन का प्रशिक्षण ले रहे हैं।
रांची, (संजय कुमार)। एक तरफ जहां इस कंपकपाती ठंड में अधिकतर लोग सुबह में रजाई में दुबके रहते हैं एवं दिन में भी इससे बचने के उपाय में लगे रहते हैं, वहीं दूसरी ओर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के सैकड़ों स्वयंसेवक शाखा संचालन का प्रशिक्षण ले रहे हैं। न्यूनतम तापमान की परवाह नहीं करते हुए सुबह 4.30 बजे से इनकी दिनचर्या प्रारंभ हो जाती है, जो रात्रि नौ बजे तक चलती है। ठंड ज्यादा होने के कारण नहीं जगने की इच्छा के बाद भी गणशिक्षक के सिटी की आवाज लगते ही जगना पड़ता है। झारखंड, बिहार, उत्तर प्रदेश, हिमाचल प्रदेश, अरुणाचल प्रदेश, जम्मू कश्मीर सहित देश के कई राज्यों में एक सप्ताह के लिए प्राथमिक शिक्षा वर्ग लगाया गया है। उत्तर भारत में तो कहीं न्यूनतम तापमान दो डिग्री है तो कहीं पांच डिग्री है। इसके बाद भी वर्ग में शामिल सभी युवा स्वयंसेवक प्रशिक्षण ले रहे हैं।
कहीं जिला स्तर पर तो कहीं विभाग स्तर पर लगा है प्रशिक्षण वर्ग
एक सप्ताह का यह वर्ग किसी राज्य में जिला स्तर पर तो कहीं विभाग स्तर पर यानी तीन से चार जिलों को मिलाकर लगाया गया है। प्रत्येक दिन सुबह जगने के बाद नित्यक्रिया से निवृत होकर 5.30 बजे निर्धारित स्थान पर एकात्मतास्रोत पढऩे के लिए जमा हो जाना है और 6 से 6.30 के बीच मैदान में लगने वाली शाखा में पहुंच जाना है। प्रशिक्षणार्थियों के साथ-साथ व्यवस्था में लगे लोगों की भी यहीं दिनचर्या रहती है।
दो वर्ष बाद लगा है प्राथमिक शिक्षा वर्ग
कोरोना संक्रमण के कारण दो वर्ष बाद इस बार प्राथमिक शिक्षा वर्ग लगाया गया है। जिन स्वयंसेवकों को मई-जून माह में लगने वाले संघ के प्रथम वर्ष के प्रशिक्षण में जाना रहता है उनके लिए प्राथमिक शिक्षा वर्ग करना अनिवार्य रहता है। प्राथमिक शिक्षा वर्ग भी कालेज विद्यार्थियों, तरुण किसान और तरुण व्यवसायियों के लिए अलग लगता है वहीं सामान्य स्वयंसेवकों के लिए अलग। इस बार झारखंड में लगे वर्ग में आठवीं कक्षा से ऊपर के विद्यार्थी भाग ले रहे हैं। इनकी संख्या 3500 से ऊपर है। सबसे अधिक हजारीबाग में 191 स्वयंसेवक भाग ले रहे हैं। वहीं रांची जिले के डकरा में 160 स्वयंसेवक शामिल हैं। बिहार में इस बार विभाग के अनुसार लगे वर्ग में इंटर पास विद्यार्थी, इंजीनियरिंग में पढ़ रहे छात्र, तरुण किसान और तरुण व्यवसायी भाग ले रहे है।