झारखंड में एथलेटिक्स की असीम प्रतिभाएं : एएफआइ
झारखंड देश का पहला राज्य बन गया है जिसके साथ एथलेटिक्स फेडरेशन ऑफ फेडरेशन की बैठक हुई।
जागरण संवाददाता, रांची : झारखंड देश का पहला राज्य बन गया है जिसके साथ एथलेटिक्स फेडरेशन ऑफ इंडिया (एएफआइ) ने ऑनलाइन बैठक कर खिलाड़ियों को तैयार करने के गाइडलाइन दिए। बैठक में झारखंड के सभी जिला संघ के अध्यक्ष व सचिव ने भाग लिया। इस बैठक का मुख्य उद्देश्य जिला स्तर पर एथलेटिक्स को विकसित करना है।
बैठक को संबोधित करते हुए एथलेटिक्स फेडरेशन ऑफ इंडिया के अध्यक्ष आदिल सुमरीवाला ने कहा कि जिला स्तर पर जितना ज्यादा मेहनत करेंगे उतना ही अच्छा रिजल्ट आएगा। ग्रामीण प्रतिभाओं को सामने लाने के लिए नेशनल लेवल पर अंतर जिला एथलेटिक्स प्रतियोगिता आयोजित की जाती है। उन्होंने कहा कि हमारे बीच तीन महत्वपूर्ण समस्याएं आ रही हैं जिसमें पहला है डोपिंग दूसरा ओवरेज तीसरा ओवर ट्रेनिंग । डोपिंग में उन्होंने कहा हम हर प्रतियोगिता में डोप टेस्ट को बढ़ा रहे हैं जिसमें नाडा हमारी पूर्ण सहयोग कर रहा है दूसरा उन्होंने कहा हमारे बीच सबसे बड़ी समस्या ओवर ऐज की आ रही है जिसको हम लोग दूर कर रहे है इसके लिए हम लोग बायोमेट्रिक का इस्तेमाल कर है। तीसरा उन्होंने कहा कि हमारे यहा कोचेस के अनुभव नहीं होने के कारण एथलीट में ओवरट्रेनिंग की समस्या आ रही है जिसके निदान के लिए हम लोग लेवल वन कोचेस एवं लेवल टू कोचेस को अधिक से अधिक तैयार कर रहे है।
एथलेटिक्स फेडरेशन ऑफ इंडिया के प्लानिंग कमेटी के चेयरमैन डॉ. ललित भनोट ने बताया कि एथलेटिक्स एसोसिएशन में जिला एसोसिएशन की महत्वपूर्ण भूमिका होती है क्योंकि ग्रास रूट पर प्रतिभा का चयन जिला स्तर पर ही होता है । उन्होंने कहा के जिला स्तर पर कम से कम 20 टेक्निकल ऑफिशियल एवं 10 कोच होने चाहिए जिससे जिला में एथलेटिक्स प्रतियोगिता संभव हो सके और उस जिला में बच्चों को ट्रेनिंग करा सकें इसके लिए हम लोग प्री लेवल वन कोचेस का कोर्स कराने जा रहे हैं ।
झारखंड एथलेटिक्स एसोसिएशन के अध्यक्ष मधुकात पाठक ने धन्यवाद ज्ञापन दिया।