CAA Support: लोहरदगा में आज कर्फ्यू में साढ़े 7 घंटे की ढील, अब तक 34 गिरफ्तार; देखें शनिवार की तस्वीरें
CAA Support सुबह 800 बजे से लेकर दोपहर 1200 बजे तक और दोपहर के 200 बजे से लेकर शाम 530 बजे तक के लिए कर्फ्यू में ढील दी गई है।
लोहरदगा, जेएनएन। CAA Support लोहरदगा में तिरंगा यात्रा के दौरान 23 जनवरी को ङ्क्षहसा व बवाल की घटना के बाद लगे कफ्र्यू में जिला प्रशासन ने शनिवार को साढ़े 7 घंटे की ढील दिए जाने की घोषणा की है। कफ्र्यू में यह ढील दो पालियों में क्रमश: सुबह 8:00 बजे से लेकर दोपहर 12:00 बजे तक और दोपहर के 2:00 बजे से लेकर शाम 5:30 बजे तक दी जाएगी। इस अवधि में प्रभावित क्षेत्र के लोग जहां आवश्यक सामग्री की खरीदारी कर सकेंगे, वहीं सुबह नौ से 11 बजे तक मां सरस्वती की प्रतिमा का विसर्जन भी श्रद्धालु कर सकेंगे। इस अवधि में लंबी दूरी के यात्री वाहनों का परिचालन भी सुनिश्चित हो सकेगा।
इधर लोहरदगा में 23 जनवरी को निकाली गई तिरंगा यात्रा के दौरान हुई हिंसा में प्रत्यक्ष रूप से शामिल लोगों पर कानून का शिकंजा कसने का सिलसिला जारी है। एसआईटी ने अपनी जांच प्रक्रिया को आगे बढ़ाते हुए इस घटना में शामिल 34 लोगों पर शिकंजा कसा है। जबकि 40-50 लोग अब भी एसआइटी के रडार पर हैं। चिह्नित 34 लोगों में से 26 का ेअलग-अलग तिथि में गिरफ्तार कर जेल भेजा चुका है। शेष आठ लोगों से पूछताछ जारी है। जोनल आईजी नवीन कुमार ङ्क्षसह ने स्पष्ट किया है कि जिन लोगों को भी पूछताछ के लिए बुलाया जा रहा है, वह एसआईटी के पास अवश्य आएं और अपना पक्ष रखें।
सामान्य जनजीवन को लेकर बढ़ रहे कदम
लोहरदगा शहर में 23 जनवरी को सीएए के समर्थन में निकाली गई तिरंगा यात्रा पर पत्थरबाजी की घटना हुई। जिसके बाद हिंसक वारदात को देखते हुए लोहरदगा जिले में कर्फ्यू लगा दिया गया। कर्फ्यू के 10वें दिन शनिवार को लोहरदगा शहर से लेकर ग्रामीण इलाकों में सामान्य जनजीवन को लेकर कदम बढ़ रहे हैं। जिला व पुलिस प्रशासन आम लोगों के साथ मिलकर जनजीवन को सामान्य बनाने में पूरी तरह से जुटी हुई है। कर्फ्यू में ढील के दौरान लोगों को निर्देशों का पालन करने को कहा गया है।
जिला प्रशासन द्वारा शनिवार को कर्फ्यू में कुल 7:30 घंटे की ढील दी गई है। इसके तहत सुबह 8:00 बजे से लेकर दोपहर 12:00 बजे तक और दोपहर 2:00 बजे से लेकर शाम 5:00 बजे तक के लिए कर्फ्यू में ढील दी गई है। सुबह 9:00 बजे से लेकर 11:00 बजे तक मां सरस्वती की प्रतिमा विसर्जन को लेकर समय तय किया गया है। इस दौरान बिना लाउडस्पीकर और भीड़भाड़ के प्रतिमा का विसर्जन करने के लिए लोगों से अपील की गई है। प्रतिमा विसर्जन में 4 से अधिक लोग शामिल नहीं हो सकेंगे।
कर्फ्यू को लेकर शहर के अलग-अलग क्षेत्रों में पुलिस प्रशासन की चौकसी बढ़ी हुई है। ड्रोन कैमरे की सहायता से चप्पे-चप्पे पर नजर रखी जा रही है। खुफिया विभाग के सदस्य भी लगातार सक्रियता बनाए हुए हैं। जिला प्रशासन ने यह भी कहा है कि कर्फ्यू के समय पूजा-पाठ, प्रार्थना और इबादत को लेकर प्रशासन के निर्देशों का पालन करना होगा। जनजीवन को सामान्य बनाने में सबका सहयोग जरूरी है। इसके लिए पुलिस-प्रशासन के अधिकारी लगातार काम कर रहे हैं। शहर से लेकर ग्रामीण इलाकों तक में बैठक के माध्यम से लोगों के बीच समन्वय स्थापित करने का प्रयास किया जा रहा है। जनजीवन को सामान्य बनाने के लिए प्रशासनिक अधिकारी आम लोगों के साथ मिलकर हर वह कोशिश कर रहे हैं, जिससे कि जनजीवन जल्द से जल्द पूरी तरह से पटरी पर लौट सकें।
लोहरदगा में तिरंगा यात्रा के दौरान 23 जनवरी को पत्थरबाजी की घटना के बाद हिंसा-बवाल की घटना के बाद से जारी कर्फ्यू में प्रशासन द्वारा राहत प्रदान की गई है। पुलिस प्रशासन ने कर्फ्यू के 10वें दिन शनिवार को कुल साढ़े 7 घंटे की ढील देकर राहत पहुंचाने का काम किया है। कर्फ्यू में यह ढील दो पालियों में अलग-अलग समय में दी गई है। जिसमें सुबह 8:00 बजे से लेकर दोपहर 12:00 बजे तक और दोपहर के 2:00 बजे से लेकर शाम 5:30 बजे तक के लिए कर्फ्यू में ढील दी गई है।
कर्फ्यू में दी गई ढील के दौरान शहर से लेकर ग्रामीण क्षेत्र के लोग अपने-अपने घरों से निकलकर जरूरत के सामानों की खरीदारी कर पाएंगे। कर्फ्यू में दी गई ढील के दौरान सुबह 9-11 बजे तक मां सरस्वती की प्रतिमा का विसर्जन भी कर सकेंगे। दूसरी पाली में प्रशासन की कोशिश होगी कि जो भी लोग पूजा-इबादत करते हैं, वे कर सकें। साथ हीं लंबी दूरी के यात्री वाहनों का परिचालन सुनिश्चित हो सके। लोहरदगा जिले मुख्यालय से लेकर प्रखंड के सभी सरकारी कार्यालय खुले रहेंगे।
कर्फ्यू में ढील के समय लोग सरकारी कार्यालयों में जाकर अपने जरूरी काम को कर सकते हैं। कर्मचारियों को कार्यालय अवधि में अपने-अपने कार्यालयों में रहने का निर्देश जारी किया जा चुका है। कर्फ्यू में ढील के समय में धान क्रय केंद्र खुला रहेगा, जहां किसान धान की बिक्री कर सकते हैं। इस प्रकार से जनजीवन को सामान्य बनाने को लेकर जिला प्रशासन ने फिर एक बड़ी पहल की है। कर्फ्यू में ढील के बाद प्रशासन ने विभिन्न स्रोतों से हालात की वास्तविकता का समीक्षा के बाद अवधि विस्तार का निर्णय लेते हुए बढ़ोतरी की है, ताकि दिन-प्रतिदिन हालात सामान्य हो सके और अमन-चैन का माहौल कायम हो।
कर्फ्यू में ढील के दौरान सुरक्षा सख्त रहेगी और हर एक पहलुओं पर प्रशासन नजर बनाए रखेगी। इस दौरान सीसीटीवी कैमरा व ड्रोन के माध्यम से हर एक क्षेत्र की निगरानी के साथ पुलिस का गश्त तेज रहेगा। प्रशासन की ओर से लगातार कर्फ्यू में ढील देकर आम जनजीवन को सामान्य बनाने का लगातार प्रयास किया जा रहा है। हालांकि कर्फ्यू में ढील के समय एक स्थान पर चार से ज्यादा लोग देर तक खड़े नहीं रह पाएंगे। साथ ही भीड़ लगाने पर भी मनाही के साथ जिला प्रशासन द्वारा जारी निर्देशों को सभी लोग अनुपालन करेंगे।
अब तक 34 गिरफ्तार, 26 को भेजा जेल
लोहरदगा शहर में 23 जनवरी को निकाली गई तिरंगा यात्रा के दौरान हुई हिंसक वारदात की घटना के बाद कानून का शिकंजा अब धीरे-धीरे दोषियों पर कसने लगा है। हिंसात्मक मामले की शामिल उपद्रवियों की पहचान कर उसके विरुद्ध सख्त कार्रवाई को लेकर स्वतंत्र रूप से निष्पक्ष जांच के लिए एसआईटी का गठन किया गया है। एसआईटी की टीम ने अपनी जांच प्रक्रिया को आगे बढ़ाते हुए इस घटना में शामिल 34 लोगों पर कानून का शिकंजा कसा दिया है। जबकि 40-50 लोग अब भी एसआईटी के रडार पर हैं।
लोहरदगा पुलिस ने अब तक जिन 34 लोगों पर कानून का शिकंजा कसा है उसमें 26 लोगों को अलग-अलग तिथि में गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है। जबकि 8 लोगों की गिरफ्तारी और हुई है, जिनसे पूछताछ की कार्रवाई चल रही है। सभी पहलुओं पर पूछताछ के बाद उन्हें शनिवार को जेल भेजा जाएगा। हिंसा-बवाल की घटना में लोहरदगा पुलिस द्वारा अब तक 97 लोगों पर निरोधात्मक कार्रवाई भी की गई है। इसके अलावा अन्य कई लोगों से पूछताछ भी हुई है।
इस मामले में 4 दर्जन से ज्यादा लोगों को चिन्हित किया गया है, जिनके खिलाफ भी पुलिस को सुबूत मिले हैं। इस मामले में एसआईटी की टीम हर पहलुओं पर जांच कर रही है। रांची के जोनल आईजी नवीन कुमार सिंह ने स्पष्ट किया है कि जिन लोगों को भी पूछताछ के लिए बुलाया जा रहा है, वह एसआईटी के पास अवश्य आएं और उनका सहयोग करें। अपना जो भी पक्ष है, वह जरूर रखें। पूछताछ में अगर वे शामिल नहीं होते हैं, तो यह उनके विरुद्ध जाएगा। इसलिए बेहतर है कि वे आएं और अपना पक्ष रखें। ऐसे कोई भी व्यक्ति को जेल नहीं भेजा गया है, जो इस मामले में दोषी नहीं है।
जो दोषी हैं, उन्हें जरूर गिरफ्तार किया जाएगा। दोषी चाहे जितना भी विलंब कर ले, उनकी गिरफ्तारी जरूर होगी। उन्हें परेशानी झेलनी पड़ेगी। आईजी नवीन कुमार सिंह ने कहा है कि एसआईटी काफी बेहतर ढंग से साक्ष्यों को एकत्रित करते हुए दोषियों के खिलाफ कार्रवाई कर रही है। हमारा प्रयास है कि सिर्फ हम दोषियों को जेल भेजे, बल्कि उन्हें सजा दिलाने में भी कामयाब होंगे। लोगों से यह भी अपील की गई है कि जिन लोगों का इस घटना में नुकसान हुआ है, आगे आकर पुलिस को इसकी जानकारी दें। साथ ही जिन लोगों के पास घटना से संबंधित वीडियो या अन्य साक्ष्य है, पुलिस को उपलब्ध कराएं।
लोहरदगा के लोगों को यह भी जानना जरूरी
- स्कूल और स्कूली बच्चों के लिए वातावरण पूरी तरह से सुरक्षित
- शनिवार से सरकारी कार्यालय, स्कूल-कॉलेज खुले रहेंगे
- कर्फ्यू में ढील के समय यात्री वाहनों का होगा परिचालन
- कर्फ्यू में ढील के समय ही जरूरी काम किए जा सकेंगे
- पूछताछ के लिए बुलाए जाने पर एसआईटी का करें सहयोग
- सोशल मीडिया पर किसी प्रकार की भ्रम या अफवाह की स्थिति ना बनाएं
- कर्फ्यू में ढील के समय धान क्रय केंद्र में किसान धान की कर सकेंगे बिक्री
- सभी क्षेत्रों में है पुलिस की नजर, कोई भी आपराधिक गतिविधि भेज सकती है जेल
- किसी भी प्रकार के निर्देश या आदेश के लिए प्रशासनिक घोषणाओं पर ही करें भरोसा
- शनिवार को प्रतिमा विसर्जन के लिए सुबह 9:00 बजे से 11:00 बजे तक 4-5 लोग ही हो सकेंगे शामिल