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Jharkhand Assembly: निर्विरोध विधानसभा अध्‍यक्ष चुने गए रवींद्र नाथ महतो

Jharkhand Assembly. रवींद्र नाथ महतो झामुमो के वरिष्ठ नेता हैं। तीसरी बार विधायक बने हैं। वे 9वें पूर्णकालिक विधानसभाध्यक्ष हैं। कहा सदन में मेरे लिए पक्ष और विपक्ष दोनों समान है।

By Sujeet Kumar SumanEdited By: Published: Tue, 07 Jan 2020 07:36 PM (IST)Updated: Tue, 07 Jan 2020 10:07 PM (IST)
Jharkhand Assembly: निर्विरोध विधानसभा अध्‍यक्ष चुने गए रवींद्र नाथ महतो
Jharkhand Assembly: निर्विरोध विधानसभा अध्‍यक्ष चुने गए रवींद्र नाथ महतो

रांची, राज्य ब्यूरो। Jharkhand Assembly झारखंड मुक्ति मोर्चा के वरिष्ठ नेता सह नाला विधायक रवींद्र नाथ महतो मंगलवार को झारखंड विधानसभा के निर्विरोध अध्यक्ष (स्पीकर) चुन लिए गए। राजनीति में लंबा अनुभव रखनेवाले रवींद्र नाथ नाला विधानसभा क्षेत्र से तीसरी बार विधायक निर्वाचित हुए हैं। इससे पहले वे वर्ष 2005 और 2014 में इसी सीट से विधायक निर्वाचित हुए थे।

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निर्विरोध स्पीकर चुने जाने के बाद राज्यपाल द्रौपदी मुर्मू, मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के अलावा दोनों मंत्रियों व तमाम विधायकों ने उन्हें बधाई और शुभकामनाएं दीं। यह उम्मीद जताई कि वे स्वस्थ्य संसदीय परंपराओं व विधानसभा के कार्य संचालन नियमों का बखूबी निर्वहन करेंगे। महतो झारखंड के नौवें पूर्णकालिक स्पीकर होंगे। इससे पहले, मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने रवींद्र नाथ महतो के स्पीकर चुनने का प्रस्ताव दिया, जिसका पूर्व मंत्री सह विधायक चंपई सोरेन ने समर्थन किया।

इसपर पक्ष और विपक्ष दोनों के विधायकों ने अपनी सहमति प्रदान की। इस तरह वे सर्वसम्मति से स्पीकर चुन लिए गए। प्रोटेम स्पीकर के अनुरोध पर पूर्व मंत्री सह विधायक सीपी सिंह तथा विधायक बादल पत्रलेख ने उन्हें आसन पर बैठाया। नव चयनित अध्यक्ष ने अपने उद्गार में कहा कि सदन में पक्ष और विपक्ष दोनों उनके लिए समान होगा।

स्पीकर के आसन पर बैठते ही उनकी झामुमो के साथ राजनीतिक संबद्धता खत्म हो गई। उन्होंने आसन की निष्पक्षता के उच्च प्रतिमान के पालन का वचन भी सदस्यों को दिया। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन तथा सत्ता पक्ष के तमाम विधायकों ने स्पीकर निर्विरोध चुने जाने की स्वस्थ परंपरा बनाए रखने के लिए विपक्ष के विधायकों के प्रति आभार प्रकट किया।

आलमगीर आलम और सीपी सिंह के निर्णय को मानेंगे नजीर

रवींद्र नाथ महतो ने स्पीकर के रूप में काम कर चुके आलमगीर आलम और सीपी सिंह के कार्यों की सराहना करते हुए कहा कि सदन में विपरीत परिस्थितियों में लिया गया निर्णय उनके लिए नजीर के समान होगा। उन्होंने दो बार प्रोटेम स्पीकर के रूप में काम कर चुके स्टीफन मरांडी और मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के अलावा उनसे वरिष्ठ सभी विधायकों के अनुभव का लाभ लेने की अपेक्षा भी जताई। नव चयनित स्पीकर ने पूर्व मुख्यमंत्री शिबू सोरेन के प्रति भी आभार प्रकट किया।

झारखंड स्वायत्त परिषद के पार्षद से स्पीकर तक का सफर

नव चयनित स्पीकर रवींद्र नाथ महतो ने एसपी कॉलेज से स्नातक किया है। इन्होंने उत्कल यूनिवर्सिटी से बीएड भी किया है। ये वर्ष 1990 में झामुमो से जुड़े थे। 1995 में झारखंड स्वायत्त परिषद के पार्षद भी रहे। महतो झारखंड अलग राज्य के आंदोलन में जेल भी गए हैं।

अबतक के स्पीकर

  1. इंदर सिंह नामधारी : 22 नवंबर 2000 से 29 मार्च 2004
  2. बागुन सुम्ब्रई (कार्यकारी) : 29 मार्च 2004 से 29 मई 2004
  3. इंदर सिंह नामधारी : 4 जून 2004 से 11 अगस्त 2004
  4. मृगेंद्र प्रताप सिंह : 18 अगस्त 2004 से 11 जनवरी 2005
  5. सबा अहमद (कार्यकारी) : 12 जनवरी 2005 से एक मार्च 2005
  6. इंदर सिंह नामधारी : 15 मार्च 2005 से 14 सितंबर 2006
  7. आलमगीर आलम : 20 अक्टूबर 2006 से 26 दिसंबर 2009
  8. सीपी सिंह : 6 जनवरी 2010 से 19 जुलाई 2013
  9. शशांक शेखर भोक्ता : 25 जुलाई 2013 से 23 दिसंबर 2014
  10. दिनेश उरांव : 7 जनवरी 2015 से 24 दिसंबर 2019

मुख्यमंत्री ने नव निर्वाचित विधानसभा अध्यक्ष को दी बधाई

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने झारखंड विधानसभा के नवनिर्वाचित अध्यक्ष रवींद्र नाथ महतो को बधाई दी है। उन्होंने कहा कि विधानसभा अध्यक्ष रवींद्र नाथ महतो न केवल कुशल राजनेता हैं, बल्कि एक प्रखर वक्ता भी हैं। इनकी सबसे बड़ी विशेषता ग्रामीण परिवेश की सादगी को अपनाना है। इनका व्यक्तित्व सदैव सबको प्रभावित करता रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हमें पूरी उम्मीद है कि रवींद्र नाथ महतो झारखंड विधानसभा के अध्यक्ष के रूप में अपनी कार्यकुशलता, अपने विधायी अनुभव और अपने समन्वय क्षमता से सभी विधायकों के बीच समन्वय बनाते हुए करते हुए पांचवी विधानसभा का सफलतापूर्वक संचालन करेंगे।

इनके मार्गदर्शन में झारखंड विधानसभा नई बुलंदियों पर पहुंचेगी। विधानसभा अध्यक्ष रवींद्र नाथ महतो तीसरी बार नाला विधानसभा क्षेत्र से विधायक चुने गए हैं। पहली बार ये वर्ष 2005 एवं दूसरी बार 2014 में विधायक चुने गए। झारखंड विधानसभा में इन्होंने हमेशा राज्य के नीतिगत विषयों एवं जनता के ज्‍वलंत सवालों पर प्रमुखता से अपनी बात रखते रहे हैं। मुख्यमंत्री ने विश्वास जताया कि इनके मार्गदर्शन में झारखंड विधानसभा देश के आदर्श विधानसभाओं में शुमार होगा।


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