RSS All India Executive Board: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के अखिल भारतीय कार्यकारी मंडल ने पारित किया प्रस्ताव, आप भी जानिए क्या है खास
RSS All India Executive Board बांग्लादेश में हिंदुओं पर हुए उन्मादी इस्लामिक आक्रमण की अखिल भारतीय कार्यकारी मंडल ने भर्त्सना करते हुए प्रस्ताव पारित किया है। कहा गया कि बांग्लादेश के अल्पसंख्यक हिंदू समाज व हिंदू मंदिरों पर हिंसक आक्रमण का क्रम बिना रोक-टोक चल रहा है।
जेएनएन, धारवाड़ । बांग्लादेश में हिंदुओं पर हुए उन्मादी इस्लामिक आक्रमण की अखिल भारतीय कार्यकारी मंडल ने भर्त्सना करते हुए प्रस्ताव पारित किया है। 2021 की बैठक कर्नाटक के धारवाड़ में चल रही है। इस प्रकार है पूरा प्रस्ताव।
अखिल भारतीय कार्यकारी मंडल (अ. भा. का. मंडल) बांग्लादेश में हिंदुओं पर हुए हिंसक आक्रमणों पर अपना गहरा दुःख व्यक्त करता है और वहां के हिंदू अल्पसंख्यकों पर लगातार हो रही क्रूर हिंसा और बांग्लादेश के व्यापक इस्लामीकरण के जिहादी संगठनों के षडयंत्र की घोर निंदा करता है।
बांग्लादेश के अल्पसंख्यक हिंदू समाज व हिंदू मंदिरों पर हिंसक आक्रमण का क्रम बिना रोक-टोक चल रहा है। गत समय में दुर्गा-पूजा के पवित्र पर्व काल में प्रारंभ हुई इस सांप्रदायिक हिंसा में अनेक निरपराध हिंदुओं की हत्या हुई। सैकड़ों लोग घायल हुए और हजारों परिवार बेघर हो गए। गत दो सप्ताह में ही हिंदू समाज की अनेक माता-बहनें अत्याचार की शिकार हुईं तथा मंदिरों व दुर्गा-पूजा पंडालों का विध्वंस हुआ।
निराधार झूठे समाचार प्रसारित कर सांप्रदायिक उन्माद फैलाने वाले कुछ दोषियों की गिरफ्तारी से यह स्पष्ट हुआ है कि कट्टरपंथी इस्लामिक शक्तियों का वर्तमान आक्रमण एक सुनियोजित षडयंत्र था। हिंदू समाज को लक्षित कर बार-बार हो रही हिंसा का वास्तविक उद्देश्य बांग्लादेश से हिंदू समाज का संपूर्ण निर्मूलन है, फलस्वरूप भारत विभाजन के समय से ही हिंदू समाज की जनसंख्या में निरंतर कमी आ रही है।
विभाजन के समय पूर्वी बंगाल में हिंदुओं की जनसंख्या जहां लगभग 28 प्रतिशत थी, वह घटकर अब लगभग आठ प्रतिशत हो गई है। जमात-ए-इस्लाम (बांग्लादेश) जैसे कट्टरपंथी इस्लामी समूहों द्वारा अत्याचारों के कारण विभाजन काल से और विशेषकर 1971 के युद्ध के समय बड़ी संख्या में हिंदू समाज को भारत में पलायन करना पड़ा। बांग्लादेश निर्माण के उपरांत आज भी वही तत्व सामाजिक सौहार्द को बिगाड़ रहे हैं, जिसके कारण अल्पसंख्यक हिन्दू समाज में असुरक्षा की भावना उत्पन्न हुई है।
अ. भा. का. मंडल का यह मत है कि बांग्लादेश सरकार अपने ही देश के अल्पसंख्यक समाज के खिलाफ बढ़ रही हिंसक घटनाओं को रोकने हेतू कठोर कदम उठाए। सरकार यह भी सुनिश्चित करे कि हिंदू विरोधी हिंसा के अपराधियों को कठोर दंड प्राप्त हो ताकि हिंदू समाज में ऐसा विश्वास उत्पन्न हो कि बांग्लादेश में वे अपने अधिकारों का उपयोग करते हुए सम्मानपूर्वक सुरक्षित जीवन जी सकते हैं।
अ. भा. का. मंडल मानवाधिकार के तथाकथित प्रहरी संगठनों और संयुक्त राष्ट्र संघ से संबंधित संस्थाओं के गहरे मौन पर चिंता व्यक्त करता है और अंतरराष्ट्रीय समुदाय को आवाहन करता है कि वह इस हिंसा की निंदा करने के लिए आगे आए व बांग्लादेश के हिन्दू, बौद्ध व अन्य अल्पसंख्यक समाज के बचाव व सुरक्षा हेतु अपनी आवाज़ उठाए। हम यह भी आगाह करना चाहते हैं कि बांग्लादेश या विश्व के किसी भी अन्य भाग में कट्टरपंथी इस्लामिक शक्ति का उभार विश्व के शांतिप्रिय देशों की लोकतांत्रिक व्यवस्था व मानवाधिकार के लिए खतरा सिद्ध होगा।
अ. भा. का. मंडल भारत सरकार से भी यह अनुरोध करता है कि वे उपलब्ध सभी राजनयिक माध्यमों का उपयोग करते हुए बांग्लादेश में हो रहे आक्रमणों व मानवाधिकार हनन के बारे में विश्व भर के हिंदू समाज एवं संस्थाओं की चिंताओं से बांग्लादेश सरकार को अवगत कराए ताकि वहां के हिंदू और बौद्ध समाज की सुरक्षा सुनिश्चित हो सके।
कट्टरपंथी हिंसा से पीड़ित बांग्लादेश के हिंदू भाई-बहनों के साथ जुड़कर संपूर्ण सहयोग करने वाले इस्कॉन, रामकृष्ण मिशन, भारत सेवाश्रम संघ, विश्व हिंदू परिषद एवं अनेक हिंदू संगठनों-संस्थाओं की अ. भा. का. मंडल सराहना करता है। हम यह भी विश्वास दिलाते हैं कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ सहित संपूर्ण हिन्दू समाज बांग्लादेश के हिंदू और अन्य प्रताड़ित अल्पसंख्यकों के इस कठिन एवं चुनौतीपूर्ण समय में उनके साथ डटकर खड़ा है.