एआइएमआइएम ने हिंदपीढ़ी में मनाई पूर्व केंद्रीय मंत्री तस्लीमुद्दीन की जयंती
आल इंडिया मजलिस इत्तेहादुल मुस्लिमीन के तत्वाधान में बिहार के पूर्व सांसद व केंद्रीय राज्य मंत्री स्वर्गीय तस्लीमुद्दीन की जयंती हिंदी पीढ़ी स्थित रहमानिया मदरसा में मनाई गई। इस अवसर पर कुरान खानी और दुआ ए मगफिरत का आयोजन किया गया। हाफिज मीकाइल ने दुआ का एहतमाम किया।
रांची,जासं। आल इंडिया मजलिस इत्तेहादुल मुस्लिमीन के तत्वाधान में बिहार के पूर्व सांसद व केंद्रीय राज्य मंत्री स्वर्गीय तस्लीमुद्दीन की जयंती हिंदी पीढ़ी स्थित रहमानिया मदरसा में मनाई गई। इस अवसर पर कुरान खानी और दुआ ए मगफिरत का आयोजन किया गया। हाफिज मीकाइल ने दुआ का एहतमाम किया। साथ ही अध्ययनरत छात्र-छात्राओं के बीच तस्लीमुद्दीन के जीवन विवरण की विस्तृत चर्चा की गई।
मजलिस के रांची जिला महानगर अध्यक्ष मोहम्मद शाहिद ने मदरसा के छात्रों एवं शिक्षकों को संबोधित करते हुए कहा कि तस्लीमुद्दीन अपने कार्यकाल के दौरान केंद्रीय राज्य मंत्री का कर्तव्य निभा चुके हैं। वह सिसौना, जोकीहाट और अररिया समेत बिहार के कई क्षेत्रों से कई बार विधायक रह चुके हैं। साथ ही पूर्णिया, किशनगंज से सांसद भी रहे।
अपने राजनीतिक जीवन में तस्लीमुद्दीन ने बेहतर कार्य किया। समाज के बीच राजनीतिक जागरूकता फैलाने में उनकी भूमिका सराहनीय रही है। जन समस्याओं के समाधान करने की मिसाल दी जाती है। उन्हीं के नक्शे कदम पर उनके पुत्र शाहनवाज आलम भी चल रहे हैं। वे जोकीहाट से मजलिस के टिकट पर विधायक निर्वाचित हुए हैं। शाहिद ने कहा कि तस्लीमुद्दीन को सीमांचल का गांधी के रूप में जाना जाता है। ये मुस्लिम समाज के लिए गर्व की बात है।
उन्होंने अपने जीवन काल में गांधी की सीख सत्य और अहिंसा को सदैव जीवन में उतारा और लोगों को इसी राह पर चलने के लिए प्रेरित करते रहे। उन्होंने कहा कि राज्य से लेकर राष्ट्रीय स्तर तक मुस्लिम बुद्धिजीवियों, राजनेताओं, समाजसेवियों आदि का इतिहास लगभग उपेक्षित रहा है। कार्यक्रम में जावेद अख्तर,आरिफ खान अनवर खान, हाफिज मीकाइल, हाफिज जुनैद आदि मौजूद थे।