विद्युत कटौती से छोटे उद्योग प्रभावित, उत्पादन पर असर
जागरण संवाददाता रामगढ़ डीवीसी द्वारा झारखंड के सात जिलों में पिछले तीन माह से 10-12 घं
जागरण संवाददाता, रामगढ़ : डीवीसी द्वारा झारखंड के सात जिलों में पिछले तीन माह से 10-12 घंटे की विद्युत कटौती से चार हजार से भी अधिक विभिन्न तरह के छोटे व मझौले उद्योग पूरी तरह से प्रभावित हो गया है। इन उद्योगों के उत्पादन से लेकर कई तरह के मशीनरी कामों में बुरा असर पड़ा है। बिजली के कारण कई उद्योग बंदी के कगार पर पहुंच गए हैं। किसी तरह से व्यवसायी अपने उद्योग-धंधों को जिदा रखा है। चेंबर आफ कामर्स के सात जिलों के प्रतिनिधियों की रामगढ़ में हुई संयुक्त बैठक में यह मुद्दा गिरीडीह के विधायक सुदिव्य कुमार व रामगढ़ के विधायक ममता देवी के समक्ष उठाया गया। रामगढ़ चेंबर आफ कामर्स के प्रवक्ता अमरेश गणक ने बताया कि बैठक में व्यवसायियों ने बताया कि 150 केवीए विद्युत खपत करने वाले उद्योगों को झारखंड सरकार जेवीयूएनएल से बिजली कनेक्शन लेना पड़ता है। बिजली जले या नहीं हर माह विभाग को एक मोटी रकम सरचार्ज के रूप चुकाना पड़ता है। अपने उद्योग को चलाने के लिए अभी जनरेटर का सहारा लेना पड़ रहा है। औसतन चार से छह हजार रुपये का डीजल प्रतिदिन खपत हो रहा है। ऐसी स्थिति में तेल मिल, दाल मिल, फ्लावर मिल, लेथ मशीनरी वर्कशॉप, कोयला आधारित छोटे कारखाने, राइस मिल, स्टील वर्कशॉप के अलावा अन्य सभी तरह छोट उद्योगों को प्रतिदिन चार-पांच हजार का डीजल जलाकर काम करना मुश्किल हो रहा है। बिजली समस्या के कारण इस तरह के उद्योग अभी घाटे के दौर से चल रहा है। उन्होंने बताया कि चेंबर के प्रतिनिधियों ने मांग रखी है कि विद्युत कटौती के दौरान महीने के विद्युत सरचार्ज को माफ करें। साथ ही प्रतिदिन उद्योगों में खपत होने वाले डीजल में सब्सिडी तय करें।