भीख मंगवाने के लिए खौलते तेल में जलाया हाथ, इलाज के दौरान काटना पड़ा पंजा
संवाद सूत्र हिरणपुर (पाकुड़) मजदूरी के लिए साथियों के साथ कोलकाता गए लिट्टीपाड़ा के जो
संवाद सूत्र, हिरणपुर (पाकुड़) : मजदूरी के लिए साथियों के साथ कोलकाता गए लिट्टीपाड़ा के जोरडीहा निवासी 32 वर्षीय दुखिया मरांडी के दोनों हाथ बदमाशों ने उबलते तेल में डाल दिया। आखिरकार इलाज के दौरान उसका पंजा काटना पड़ा। धनबाद से इलाज कराकर लौटे दुखिया ने दुख भरी दास्तान सुनाई। हैवानियत झेलने की पीड़ा उसके चेहरे पर झलक रही थी। उसके स्वजन दुखी थे। अपने परिवार के भविष्य की चिंता खाए जा रही थी। अपराधियों ने दुखिया से भीख मंगवाने के उद्देश्य से ऐसी हैवानियत की।
दुखिया ने बताया कि 12 अगस्त को अपने मजदूर साथियों के साथ हावड़ा गया था। वहां वह साथियों से बिछड़ गया। इसी बीच कुछ लोग उसके पास पहुंचे और काम दिलाने के नाम पर अपने साथ स्टेशन के नजदीक एक घर में ले गए। फिर बिना कुछ कहे घर के अंदर बड़े बर्तन में उबलते तेल में उसके दोनों हाथ जबरन डाल दिए। वह चीखता रहा, चिल्लाता रहा मगर किसी को दया नहीं आई। कुछ दिनों बाद वह किसी तरह से भाग निकला। 22 दिनों बाद घर पहुंचा। फिर स्थानीय लोगों ने धनबाद में इलाज कराया। दुखिया की हालत देखकर पत्नी और बच्चे सहित परिवार के अन्य सदस्य रोने लगे। दुखिया अब दिव्यांग हो गया है। भूख मिटाने के लिए कचड़ा में फेंका खाना खाया
दुखिया कहते हैं कि जल जाने के कारण हाथ से कुछ कर भी नहीं पा रहा था। सड़क किनारे कचरा में फेंका गया खाना को पेट के बल पर लेट कर खाया। वह किसी तरह से अपनी भूख मिटा रहा था। वहां मदद के लिए एक भी व्यक्ति सामने नहीं आया। वह किसी तरह से घर लौटा। पीड़ित ने बताया कि अब वह मजदूरी भी नहीं कर सकता है। पत्नी और बच्चे का भरण-पोषण भगवान के भरोसे है।
इधर, दुखिया के गांव पहुंचते ही समाजसेवी चंदन भगत अपने युवा साथियों के साथ दुखिया के घर पहुंचे। दुखिया से पूरी कहानी सुनने के बाद उन्हें मदद करने का भरोसा दिया। चंदन ने बताया कि गरीबी के कारण वह अपना इलाज नहीं करा पा रहा था। विकास कुमार दास, सतरंजन कुमार, सूरज शील, तापस बनर्जी, बापिन दत्ता आदि ने अपने स्तर से इलाज के लिए धनबाद ले गए। धनबाद में 15 दिनों तक दुखिया का इलाज चला। इंफेक्शन फैलने के कारण चिकित्सकों ने दोनों हाथ के पंजे को काटने की सलाह दी। युवाओं ने आर्थिक मदद की। पीड़ित को कृत्रिम हाथ लगाने के लिए पहल की जा रही है।