दो करोड़ का अस्पताल भवन, आठ सालों से पड़ा है बेकार
लोहरदगा में स्वास्थ्या व्यवस्था बीमार
गफ्फार अंसारी, सेन्हा (लोहरदगा) : सरकारें बदलती रहीं। राजनीतिक दावे होते रहे। लोगों को आश्वासन मिलता रहा, परंतु स्वास्थ्य व्यवस्था आज भी बीमार है। जिले के सेन्हा में बीमार व्यवस्था की दो करोड़ का अस्पताल भवन पोल खोल रही है। जिले के सेन्हा प्रखंड क्षेत्र के उगरा स्टेडियम के समीप 8 साल पहले बना प्राथमिक उप स्वास्थ्य केंद्र भवन आज भी बेकार पड़ा हुआ है। इस अस्पताल भवन का उपयोग आज तक नहीं हुआ है। जबकि भवन का उपयोग शुरू कर यहां इलाज की व्यवस्था शुरू करने से कई गांव के लोगों को फायदा होता।
--------------
परेशानियों का नहीं हुआ अंत
सेन्हा (लोहरदगा) : गांव वाले आठ साल पहले दो करोड़ की लागत से अस्पताल भवन बनने से काफी खुश थे। उन्हें लगा था कि उन्हें इलाज के लिए अब गांव से बाहर नहीं जाना होगा, परंतु सारी उम्मीद बिखर कर रह गई। जिस समय अस्पताल का निर्माण हुआ था, उस समय कोयल नदी में पुल नहीं था। लोग बरसात के दिनों में टापू में रहने के समान जिदगी गुजारते थे। स्वास्थ्य व्यवस्था के अभाव में कई लोगों की जान चली जाती थी। ग्रामीणों की मांग पर अस्पताल तो बना, लेकिन सुविधा से अभी भी ग्रामीण वंचित हैं।
-----------------
क्या कहते हैं ग्रामीण
सेन्हा (लोहरदगा) : ग्रामीण चंद्रदेव उरांव का कहना है की अस्पताल बन गया है। अगर इस पर चिकित्सक एवं एनएनएम आते तो हम लोगों का भला होता। गांव के सगीर अंसारी का कहना है की 8 वर्ष पहले अस्पताल बना अब इसकी देखभाल करने वाला कोई नहीं है। मुख्य गेट का दरवाजा का ताला भी टूटा हुआ है। जिससे असामाजिक तत्वों का अड्डा बन गया है। यहां अस्पताल प्रारंभ नहीं होने से करोड़ों रूपए के भवन बनाने का मतलब नहीं समझ में आता है। क्षेत्र के विधायक, जन प्रतिनिधि एवं उपायुक्त तक आवाज पहुंचाने के बाद कुछ नहीं हुआ। क्या कहते हैं चिकित्सा पदाधिकारी
सेन्हा (लोहरदगा) : सेन्हा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र की चिकित्सापदाधिकारी डॉ. दिव्या निशी का कहना है कि चिकित्सक एवं एएनएम की कमी है। इसके बावजूद उसे चालू करने को लेकर जिला को पत्राचार किया गया है। आदेश उपरांत अस्पताल को चालू किया जाएगा।