जलमीनार से टपक रहा पानी, लोगों की बढ़ी परेशानी
मरकच्चो में पेयजल की किल्लत काफी बढ़ गयी है।पेयजल एवं स्वछता बिभाग के द्वारा की जा रही आपूर्ति सिर्फ एक खानापूर्ति की जा रही है। एक तो क्षमता से अधिक कनेक्शन कर दिया गया है।जिसके कारण आधे से अधिक कनेक्शन धारियों के नलों में पानी तो आना दूर पानी टपकता भी नही है।
संवाद सूत्र, मरकच्चो (कोडरमा): मरकच्चो में पेयजल की किल्लत आम है। प्रखंड मुख्यालय में विभाग द्वारा की जा रही जलापूर्ति सिस्टम भगवान भरोसे चल रहा है। क्षमता से अधिक कनेक्शन के कारण आधे से अधिक कनेक्शनधारियों के नलों में पानी टपकता भी नही है। कुछ कनेक्शन धारियों को पानी लेने के लिए समस्याओं से गुजरना पड़ रहा है। ऐसे कनेक्शनधारियों को अपने अपने घरों के बाहर पाइप लाइन के निकट गढ्डा बनाकर पानी लेना पड़ता है जो कठिन काम है। पेयजल एवं स्वच्छता विभाग के द्वारा प्रति दिन 24 घंटे में मात्र 30 से 40 मिनट आपूर्ति की जाती है। वहीं मरकच्चो का जलमीनार क्षतिग्रस्त हो जाने के कारण पानी का स्टॉक नहीं हो पाता है। जलमीनार लीक कर रहा है तथा पाइप लाइन में भी जगह-जगह लीकेज है। ऐसे में जलापूर्ति के लिए आने वाली हजारों लीटर पानी यूं ही बर्बाद हो रहा है। ग्रामीणों ने बताया कि बिजली में काफी सुधार हुई है । कम से कम 15 से 20 घंटे बिजली आपूर्ति की जा रही है। इसके बावजूद भी पेयजल सिर्फ कुछ देर के लिए एक बार ही मिल पा रहा है। इसकी चिता जनप्रतिनिधियों को तनिक भी नही है। मरकच्चो में पेयजल की समस्या सालों भर रहती है लेकिन कभी भी चुनावी मुद्दा नही बन पाया।ग्रामीण मुंशी यादव, बद्री सिंह, सोनू कुमार कहा ने जिला प्रशासन से पेयजल समस्या के सुधार के दिशा में अविलंब कदम उठाने की मांग की है। क्या कहते हैं अधिकारी
मरकच्चो: विभाग के कार्यपालक अभियंता विनोद कुमार के अनुसार काफी पुरानी योजना है। फिर भी सप्लाई में कोई परेशानी नहीं है। फिलहाल एक ही टाईम विद्युत सप्लाई के आधार पर जलापूर्ति की जा रही है। व्यवस्था ग्राम जल स्वच्छता समिति द्वारा योजना का संचालन किया जा रहा है। वहीं जलमीनार व अन्य तकनीकि खराबियों को दूर करने के लिए प्राक्कलन तैयार कर विभाग को भेजी गई है। समिति को भी फंड के अनुरूप छोटी समस्याओं को दूर करने को कहा गया है।