सत्यार्थी फाउंडेशन व प्रशासन ने बच्ची को बालिका वधू बनने से रोका
बाल संरक्षण के क्षेत्र में कार्य कर रही संस्था कैलाश सत्यार्थी
संवाद सूत्र, मरकच्चो (कोडरमा): बाल संरक्षण के क्षेत्र में कार्य कर रही संस्था कैलाश सत्यार्थी फाउंडेशन की सूचना पर प्रखंड प्रशासन की टीम ने शुक्रवार को प्रखंड के सुदूरवर्ती पंचायत डगरनवां स्थित ग्राम फुटलाही में होने वाले बाल विवाह को रोक दिया। इससे ग्रामीण परिवेश की एक बच्ची बालिका वधू बनने से बच गई। जानकारी के अनुसार गांव की 14 वर्षीय नाबालिग की शादी उसके परिजनों ने गिरिडीह जिले के तीसरी प्रखंड में तय कर दी थी। शुक्रवार को नाबालिग की बरात आनेवाली थी। जैसे ही इस बाल विवाह की जानकारी कैलाश सत्यार्थी फाउंडेशन के लोगों को मिली तो फाउंडेशन के सदस्य मनोज कुमार ने विवाह के एक दिन पूर्व गुरुवार को इसकी सूचना प्रखंड प्रशासन को दी। सूचना मिलते ही सीओ रामसुमन प्रसाद, नवलशाही थाना प्रभारी इकबाल हुसैन सीडब्ल्यूसी सदस्य सुनीता कुमारी फुटलाही स्थित नाबालिग के घर पहुंचे तथा उसके पिता को बाल विवाह करने से मना किया। सभी लोग नाबालिग के परिवारजनों को समझा बुझा कर वापस आ गए। शुक्रवार की सुबह पुन: प्रखंड प्रशासन को सूचना मिली कि आज नाबालिग की शादी करा दी जाएगी। रात को बरात आना तय हो गया है। इसकी सूचना मिलते ही बीडीओ सुकेशिनी केरकेट्टा, जिला बाल संरक्षण पदाधिकारी नरेश कुमार, थाना प्रभारी इकबाल हुसैन, सीडब्ल्यूसी सदस्य सुनीता कुमारी आदि पुन: नाबालिग के घर फुटलाही पहुंचे और नाबालिग के परिजन से मिलकर बाल विवाह नहीं कराने की बात कही। साथ ही इसके कानूनी प्रविधानों व सामाजिक प्रभाव के बारे में समझाया बुझाया। इस दौरान नाबालिग के अभिभावक से इस संबंध में लिखित बांड भी लिया गया। नाबालिग के परिजन द्वारा युवती के बालिग होने तक शादी नही कराए जाने की शपथ के बाद प्रखंड प्रशासन की टीम वापस लौटी।