Indian Railways : दक्षिण - पूर्व रेलवे ने दिसंबर माह में रेल ट्रैक गड़बड़ी में लाई 63 प्रतिशत की कमी, ऐसे हुआ संभव
Indian Railways. दक्षिण- पूर्व रेलवे ने कोविड 19 के कारण हुए लॉकडाउन के बावजूद अपनी आधारभूत संरचनाओं को मजबूत बनाने रेलवे ट्रैक और इंजीनियरिंग सेक्शन ने बड़ा योगदान दिया। इसके फायदे भी देखने को मिल रहे हैं। दुर्घटना पर काबू पाया जा सका है।
जमशेदपुर, जासं। दक्षिण- पूर्व रेलवे ने कोविड 19 के कारण हुए लॉकडाउन के बावजूद अपनी आधारभूत संरचनाओं को मजबूत बनाने, रेलवे ट्रैक और इंजीनियरिंग सेक्शन ने बड़ा योगदान दिया। दक्षिण - पूर्व रेलवे ने बयान जारी कर बताया कि देश भर में जब कोविड 19 के कारण लॉकडाउन था तब भी अपनी सिविल इंजीनियरिंग विभाग की टीम ने इसे चुनौती के रूप में स्वीकार किया और बुनियादी ढ़ांचे में बड़े पैमाने पर विकास कार्यों पर जोर दिया।
दक्षिण- पूर्व रेलवे ने अपने चार प्रभाग खड़गपुर, आद्रा, चक्रधरपुर और रांची में अपना पूरा नेटवर्क स्थापित किया और अपने बुनियादी ढ़ांचे में समग्र सुधार लाया। कोविड 19 के लिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी निर्देशों का पालन करते हुए इंजीनियरिंग विभाग की टीम ने सुरक्षा संबंधी कार्यों का रख-रखाव, ट्रैक संरचना सुदृढ़ीकरण, ट्रैक नवीकरण, रेलवे ट्रैक पर गिट्टी के उचित स्तर को बनाए रखने, रेल फ्रैक्चर की नियमित जांच और पेंटिंग का रख-रखाव जैसे काम को जारी रखा। रेल, उचित ग्रोविंग सहित सभी उपरोक्त कार्यों में अच्छी तरह से भाग लिया गया है और लक्ष्य प्राप्त किया है। इसके अलावा, ट्रैक की विश्वसनीयता में सुधार से संबंधित अन्य कार्य, अनुभागीय गति को बढ़ाना, गति का स्थायी प्रतिबंध, मानवयुक्त स्तर के क्रॉसिंग को समाप्त करने के लिए दिसंबर 2020 माह में इंजीनियरिंग विभाग द्वारा सफलतापूर्वक पूरा कर लिया गया है।
दुर्घटना पर पाया जा सका काबू
नतीजतन, दिसंबर माह में इंजीनियरिंग के दृष्टिकोण से कोई दुर्घटना नहीं हुई। रेल फ्रैक्चर की घटनाओं के साथ-साथ वेल्ड विफलता भी नियंत्रण में रहा। पिछले वर्ष की इसी अवधि की तुलना में दिसंबर, 2020 तक की कुल ट्रैक विफलता 60 के मुकाबले 22 है, जो पिछले वर्ष की तुलना में 63 प्रतिशत कम है। लेवल क्रॉसिंग के उन्मूलन के एक हिस्से के रूप में, दक्षिण पूर्व रेलवे ने दिसंबर के महीने के दौरान मानवयुक्त लेवल क्रॉसिंग के पांच नंबर (बांकुरा-मैसग्राम सेक्शन-3, खड़गपुर-टाटानगर सेक्शन-1 और राउरकेला-बीरमित्रपुर सेक्शन-1) को बंद कर दिया है। वर्ष 2020 में दक्षिण पूर्व रेलवे ने कुल 29 मानवयुक्त लेवल क्रॉसिंग को बंद कर दिया है। इसके अलावे दिसंबर 2020 में के महीने के दौरान, दो स्थायी गति प्रतिबंध हटा दिए गए हैं और 1.76 मिनट की बचत हुई है। रेलवे ने आठ स्थायी गति प्रतिबंध हटा दिए गए हैं और 2020-21 के दौरान कुल 7.91 मिनट समय की बचत की है। इसमें मिदनापुर-खड़गपुर और टाटानगर-झारसुगुड़ा मार्ग शामिल है।