Jharkhand Assembly Election 2019 : सड़कें तो बनीं, इलाज के लिए पश्चिम बंगाल पर निर्भरता Jamshedpur News
Jharkhand Assembly Election 2019. मुसाबनी में बंद पड़ा 300 बेड का अस्पताल खंडहर में होता जा रहा तब्दील स्वास्थ्य उपकेंद्रों में डॉक्टर तक नहीं सड़कें अधूरी।
घाटशिला (राजेश चौबे/मंतोष मंडल)। Jharkhand Assembly Election 2019 गत चुनाव में पहली बार घाटशिला विधानसभा में भाजपा का खाता खुला था। लक्ष्मण टुडू विधायक बने। इस पर्यटन नगरी में लक्ष्मण टुडू लगातार सक्रिय रहे। कई प्रमुख सड़कों का निर्माण कराया। इसमें घाटशिला मुख्य सड़क, गुड़ाबांदा, मुसाबनी, काशिदा-हुलूंग,व धालभूमगढ़ क्षेत्र कई सड़कें शामिल हैं। लेकिन कई सड़कों का निर्माण अब भी पूरा नहीं हुआ है।
स्वास्थ्य सेवाओं का भी बुरा हाल है। यहां के लोग जमशेदपुर व पश्चिम बंगाल के अस्पतालों पर निर्भर हैं। लोग इलाज के लिए झाडग़्राम, वांदवान, खडग़पुर के सरकारी अस्पतालों में जाते हैं। घाटशिला में कोई बढिय़ा अस्पताल नहीं है। स्वास्थ्य उपकेंद्रों में डॉक्टर तक नहीं हैं। दवा और उपकरण की तो बात करना ही बेमानी है। अनुमंडल अस्पताल में भी चिकित्सकों का अभाव है। विशेषज्ञ डाक्टर नहीं हैं। मुसाबनी में बंद पड़ा 300 बेड का अस्पताल खंडहर में तब्दील होता जा रहा। यह अस्पताल चालू नहीं हो सका।
लक्ष्मण टुडू की सबसे बड़ी उपलब्धि रेल व हवाई सेवा के क्षेत्र में रही है। भाजपा सांसद की मदद से घाटशिला में पुरुषोत्तम एक्सप्रेस के ठहराव शुरू हुआ। रेलवे स्टेशन को बेहतर बनाया। धालभूमगढ़ में एयरपोर्ट निर्माण का शिलान्यास हुआ। वैसे इसका निर्माण शुरू नहीं हो पाया। कब शुरू होगा यह भी पता नहीं। दावा है कि वन विभाग से एनओसी लेने की कवायद जारी है। एचसीएल की बंद माइंस भी इन्हीं के कार्यकाल में चालू हुई। कुल मिलाकर एक ही पार्टी के सांसद होने के कारण इन्हें भरपूर सहयोग मिला। इन सबके बावजूद शिक्षा के क्षेत्र में कोई पहल नहीं हुई। यहां ट्राईबल यूनिवर्सिटी खोलने की बात हुई पर खुला नहीं। घाटशिला कॉलेज में बीएड की पढ़ाई नहीं शुरू हो पाई।
पांच बड़े मुद्दे
1- स्वास्थ्य सेवाओं का हाल
लक्ष्मण : स्वास्थ्य सुविधा का अभाव है। डॉक्टर की कमी है। रिम्स में पीजी की पढ़ाई होती है। एमजीएम में पीजी की पढ़ाई शुरू कराने को लेकर सरकार से बात की। यहां से पीजी की पढ़ाई करने के बाद लोगों को चिकित्सक मिलेंगे। आने वाले समय में डॉक्टरों की कमी दूर होगी।
रामदास : स्वास्थ्य के क्षेत्र में कुछ नहीं हुआ। विधानसभा के लोग स्वास्थ्य सेवा का लाभ लेने के लिए बंगाल पर निर्भर हैं। स्वास्थ्य तथा उपस्वास्थ्य केंद्र में डॉक्टरों का अभाव है। सरकार और विधायक ने कोई प्रयास नहीं किया।
2- प्यासे हैं खेत-खलिहान
लक्ष्मण : सिंचाई के क्षेत्र में सुधार हुआ है। डोभा, तालाब, भू-जल भंडारण के लिए काम किया। इसका लाभ किसानों को मिला। मुख्यमंत्री कृषि आशीर्वाद योजना व प्रधानमंत्री कृषि योजना का लाभ किसानों को मिला। नहर के पानी का उपयोग खेती के लिए हुआ। किसानों को बेहतर सिंचाई व्यवस्था का लाभ मिले यह प्रयास है।
रामदास : किसानों के लिए कुछ काम नहीं किया। सिर्फ वोट बैंक के लिए किसान सम्मान योजना के तहत किसानों के खाते में पैसा भेजा गया। झारखंड के डैम और नहर का पानी ओडिशा को दिया गया। घाटशिला विधानसभा के खेत सूखे रह गए।
3-पर्यटन की अनदेखी
लक्ष्मण : बुरूडीह डैम को दलमा क्षेत्र से जोड़ा गया। पूर्वी सिंहभूम और सरायकेला खरसावां जिले को मिला कर पर्यटन सर्किट का गठन किया गया। यह दलमा सर्किट है। दलाम सर्किट में पालना डैम व चांडिल डैम को दलमा सर्किट पर्यटन के रूप में घोषित किया था। बाद में बुरुडीह डैम भी जोड़ा गया। बुरुडीह का विकास जिला पर्यटन समिति के माध्यम से होगा। बुरुडीह में कई विकास के काम हुए हैं।
रामदास : पर्यटन विकास के क्षेत्र में पूरी तरह से विधायक विफल रहे। घाटशिला के पर्यटन स्थलों को विकसित करने से यहां रोजगार के अवसर सृजित होते। पलायन रुकता। गांव का विकास होता। मैंने अपने कार्यकाल में पर्यटन सचिव को बुरुडीह डैम लाकर विकास की योजना बनाई थी। बुरुडीह में जो विकास हुआ मेरी योजना थी, जिसे धरातल पर उतारा गया। सड़क हमने बनवाया। लाइट लगाने का प्रस्ताव बनाया था।
4- बदहाल शिक्षा व्यवस्था
लक्ष्मण : आनेवाले समय में कई शिक्षण संस्थान खुलेंगे। घाटशिला कॉलेज ऑटोनोमस कॉलेज हो जाएगा। उसे ए ग्रेड का दर्जा मिला। आधारभूत संरचना की कमी है। विद्यार्थियों की संख्या ज्यादा है। कॉलेजों का विस्तार होगा। आटोनोमस होने पर कॉलेज स्वत: विकास करेगा।
रामदास : शिक्षा व्यवस्था चौपट हो गई है। स्कूल बंद हो गए। बाहर पढऩे वालों की छात्रवृति बंद हो गई। घाटशिला कॉलेज में बीएड की पढ़ाई शुरू नहीं हुई। एक भी नया कॉलेज नहीं खुला।
5-बेरोजगारी की समस्या
लक्ष्मण : 2014 के पूर्व रोजगार देनेवाले संस्थान बंद हो गए थे। पांच वर्षों के दौरान एचसीएल के बंद खदानों को खुलवाया। मोमेंटम झारखंड के माध्यम से आयडा के कई उद्यमी को जमीन दिया गया। वह यहां उद्योग लगा रहे हैं। स्थिति धीरे धीरे बदल रही है। शिक्षित बेरोजगारों को रोजगार देने की गति बढ़ी है।
रामदास : कौशल विकास के नाम पर गुजरात व मुंबई में युवाओं का पलायन कराया जा रहा है। यह कौन सा रोजगार है। झारखंड खनिज संपदा से परिपूर्ण है, फिर भी यहां रोजगार नहीं मिल रहा। झूठ बोल कर माइंस का उद्घाटन कराया गया। बताएं कितने लोगों को रोजगार दिया गया।
आमने सामने
क्षेत्र की बंद माइंस खुली, लोगों को रोजगार मिलेगा : लक्ष्मण
विधायक लक्ष्मण टुडू ने कहा कि क्षेत्र की बंद माइंस खुली। इससे लोगों को रोजगार मिलेगा। क्षेत्र आर्थिक रूप से समृद्ध होगा। जितना विकास चाहता था उतना नहीं कर पाया, पर उस दिशा में एक अच्छी पहल हुई है। अगली बार शिक्षित बेरोजगारों व किसानों के लिए विशेष रूप से काम करने की योजना है। जनता एकबार और मौका दे तो सपनों को पूरा कर दूंगा। मेरा लक्ष्य एक बार पुन: स्थिर सरकार बनाना और क्षेत्र का विकास करना है।
शिक्षा और स्वास्थ्य व्यवस्था हुई चौपट : रामदास
पूर्व विधायक रामदास सोरेन ने कहा कि पांच वर्षों में घाटशिला की स्वास्थ्य और शिक्षा व्यवस्था चौपट हुई है। विधानसभा क्षेत्र के लोग इलाज के लिए पश्चिम बंगाल पर निर्भर हैं। यहां अस्पतालों में डाक्टर तक का प्रबंध नहीं हुआ। कई स्कूल बंद हो गए हैं। ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों की पढ़ाई बंद हो चुकी है। युवा बेरोजगार हैं। पलायन करने को मजबूर हैं। इस दिशा में कोई पहल नहीं की गई है।
जनता की राय
जो विकास होना चाहिए था वह नहीं हुआ है। गांव में विकास की रोशनी नहीं पहुंची। सड़क, स्वास्थ्य व शिक्षा की समस्या बनी हुई है। बीएड की पढ़ाई शुरू नहीं हुई।
दलगोविंद मुर्मू, पावड़ा गांव (7/10)
पावड़ा में पीसीसी सड़क बनाने की मांग रखी थी। पांच वर्ष में नहीं बना। जलमीनार बना पर घरों तक पानी नहीं पहुंचा। एनएच चौड़ीकरण हुआ, यह खुशी की बात है।
सुशांत सीट, पावड़ा गांव (8/10)
विधायक जनता के दुख दर्द में सहभागी नहीं रहे। बाहर के विधायक होने के कारण लोग उनसे मिल नहीं सके। घाटशिला का जितना विकास होना चाहिए था नहीं हुआ।
लक्ष्मीकांत प्यारेलाल, घाटशिला (5/10)
विधायक ने पांच साल में बेहतर काम किया है। हर क्षेत्र में काम किया। लोगों की समस्याएं सुनकर समाधान करते रहे। इन्हें एक और मौका मिलना चाहिए।
गोपाल सरकार, जादूगोड़ा (9/10)
विधायक ने अपने कार्यकाल में कुछ काम नहीं किया है। गांव का विकास नहीं हुआ। सांसपुर गांव के सड़क का निर्माण नहीं हुआ। विधायक ने जो वादा किया उसे पूरा नहीं किया है।
प्रशांत नंदा, सांसपुर (4/10)
विधायक निधि का उपयोग
वित्तीय वर्ष खर्च का प्रतिशत
2015-16 100
2016-17 100
2017-18 100
2018-19 100
2019-20 100
इतने हैं मतदाता
महिला वोटर : 119873
पुरूष वोटर : 119805
कुल वोटर : 239678
2014 के चुनावी नतीजे
लक्ष्मण टुडू (भाजपा) : 52446
रामदास सोरेन (झामुमो) : 46081
लोकसभा 2019 का परिणाम
घाटशिला विधानसभा
विद्युत वरण महतो (भाजपा) : 86000
चंपई सोरेन (झामुमो) : 73000