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कोल्हान के 350 बैंकों में लटके ताले

केस-एक रुक गया मकान निर्माण बुधवार से शुरू हुई बैंक कर्मियों-अधिकारियों की हड़ताल के कारण जवाहर

By JagranEdited By: Published: Wed, 30 May 2018 09:33 PM (IST)Updated: Wed, 30 May 2018 09:33 PM (IST)
कोल्हान के 350 बैंकों में लटके ताले
कोल्हान के 350 बैंकों में लटके ताले

केस-एक

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रुक गया मकान निर्माण

बुधवार से शुरू हुई बैंक कर्मियों-अधिकारियों की हड़ताल के कारण जवाहर नगर रोड नंबर 15 की रहने वाली अमिता सोनीग्रही का मकान निर्माण रुक गया। बुधवार को वे स्टेट बैंक की मानगो शाखा के बाहर लोगों से बैंक बंद होने कारण पूछते हुए लगभग घंटे भर तक भटकती रहीं। उन्होंने बताया कि जमीन का छोटा सा टुकड़ा लेकर वे अपने किराए के मकान के समीप ही घर बना रही हैं। मंगलवार को ही नकद रुपये समाप्त हो गए। इसीलिए वे बुधवार को रुपये निकालने के लिए बैंक पहुंची, लेकिन बैंक पर ताला लटकता मिला। उन्होंने बताया कि उनके पास एटीएम नहीं है। इसी कारण बैंक आई थीं। यह बताने पर कि गुरुवार को भी बैंक बंद रहेगा, उन्होंने अपना सिर पकड़ लिया।

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केस-दो

अफ्तार-सेहरी में खलल

रोड नंबर 17 जवाहर नगर की रहने वाली सबा भी स्टेट बैंक की मानगो शाखा के बाहर भटकती मिलीं। वे लोगों ने बार-बार यह पूछ रही थीं कि बैंक कब खुलेगा, क्यों बंद है। उन्हें बताया गया कि बैंक कर्मचारियों-अधिकारियों की हड़ताल है। इस कारण गुरुवार को भी बैंक बंद रहेंगे। उन्होंने अपना सिर पकड़ लिया। पूछने पर बताया कि दो महीने पहले उन्होंने एटीएम के लिए अर्जी दी थी। पिछले कई सप्ताह से बैंक के चक्कर लगा रही हैं। मंगलवार को बैंक के कर्मचारियों ने बुधवार को आने को कहा था। ये भी नहीं बताया था कि हड़ताल के कारण बैंक बंद रहेंगे। रमजान के महीने में कड़ी धूप में इस उम्मीद में आई थीं कि एटीएम मिल जाता तो सहूलियत हो जाती। अब तो अफ्तार और सेहरी में भी मुश्किल होगी।

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जागरण संवाददाता, जमशेदपुर : युनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियंस के बैनर तले बैंक कर्मचारियों का दो दीवसीय राष्ट्रव्यापी हड़ताल बुधवार से शुरू हुई। कुछ बैंकों में जहा बैंक के उच्चाधिकारियों के घुसने की संभावना थी, वहां कर्मचारी एवं अधिकारी सुबह आठ बजे से ही युनियन के झडे बैनर के साथ डट गए। शहर के लगभग सभी बैंकों के सामने युनियन के सदस्य धरने पर बैठे और शाम छह बजे तक धरना दिया। कोल्हान के सभी सरकारी बैंकों के साथ कुछ निजी बैंक जिसमें युनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियंस है, उनमें भी हड़ताल रही। बैंकों में ताले लटकते रहे।

उल्लेखनीय है कि युनाइटेड फोरम ऑफ बैंक युनियन सम्मानजनक वेतन समझौते की माग कर रही है। इस पर वित्त मंत्रालय भी चुप बैठा है और कोई पहल नहीं कर रहा है। यूनियन के पदाधिकारियों ने बताया कि पूरे देश के 10 लाख बैंक कर्मचारी और अधिकारी इस हड़ताल में शामिल हैं और सरकार के दो प्रतिशत वेतन वृद्धि के प्रस्ताव से नाखुश और आक्रोशित हैं। बैंकों के कर्मचारी और अधिकारी युनियन लीडर से अनिश्चित कालीन हड़ताल की मांग कर रहे हैं। सरकार और आइबीए के रवैये तथा सम्मानजनक वेतन वृद्धि का प्रस्ताव नहीं मिलने पर अनिश्चित कालीन हड़ताल पर जाने का निर्णय लिया जा सकता है। आदोलन को सफल बनाने में यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक युनियन के संयोजक आरबी सहाय, सह संयोजक हीरा अरकने, एसके अदख, सुजीत घोष, जेमा जोंको, अस्मिता कुमारी, एके भौमिक, पुलक सेनगुप्ता, विमल रॉय, अभिनव झा, आरसी हंसदा, अशोक रजक, राजू भगत, राजीव झा आदि सक्रिय रहे। गुरुवार को सुबह से फिर बैंक कर्मचारी व अधिकारी हड़ताल पर रहेंगे और धरना देंगे।

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हड़ताल से 12 सौ करोड़ का कारोबार प्रभावित

कोल्हान में तमाम बैंकों की लगभग 900 शाखाएं हड़ताल के कारण बंद रहीं। 4500 कर्मचारी और अधिकारी धरने पर रहे। बैंक के कर्मचारियों और अधिकारियों की इस हड़ताल के कारण कोल्हान के तीनों जिलों में 1000-1200 करोड़ का कारोबार प्रभावित हुआ। 400 से 500 करोड़ रुपये के क्लियरिंग के चेक फंस गए। आरटीजीएस और नेफ्ट का काम भी ठप रहा।

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मंगलवार को एटीएम में पड़े थे 15 करोड़

बुधवार को बैंक कर्मचारियों और अधिकारियों की हड़ताल के कारण शहर के एटीएम में कैश की किल्लत फिलहाल नहीं रही। क्यों कि मंगलवार को ही स्टेट बैंक के कुल 150 एटीएम में आठ करोड़ रुपये कैश और अन्य बैंकों के कुल 150 एटीएम में सात करोड़ रुपये कैश डाल दिया गया था। इसके कारण बुधवार को कैश की दिक्कत समझ में नहीं आई। बैंक के सूत्रों ने बताया कि शहर में हर रोज एटीएम से लगभग आठ करोड़ रुपये की निकासी होती है। इस हिसाब से हड़ताल के दो दिन बुधवार और गुरुवार को देखते हुए पर्याप्त कैश एटीएम में डाल दिए गए थे। लेकिन, हड़ताल को देखते हुए यदि लोगों ने जरूरत से ज्यादा कैश एटीएम से निकाल लिया तो गुरुवार को कैश की दिक्कत पेश आ सकती है।


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