कमिंस सोसाइटी चुनाव में चुनाव चिह्न आवंटित
द टाटा कमिंस को-ऑपरेटिव क्रेडिट सोसाइटी चुनाव की आमसभा
जागरण संवाददाता, जमशेदपुर : द टाटा कमिंस को-ऑपरेटिव क्रेडिट सोसाइटी चुनाव की आमसभा सह चुनाव आगामी आठ अक्टूबर को कंपनी परिसर में होगा। सहकारिता पदाधिकारी सह चुनाव पदाधिकारी अनिल कुमार व अनुकाल्पिक निर्वाचन पदाधिकारी रास बिहारी चौबे की देखरेख में चुनावी प्रक्रिया चल रही है। इसी क्रम में गुरुवार को नामांकन की वापसी, अंतिम नामांकन सूची का प्रकाशन व चुनाव चिह्न आवंटित की तिथि निर्धारित थी।
सोसाइटी में सचिव, कोषाध्यक्ष व दो कमेटी मेंबरों ने अपना नामांकन दाखिल किया था जो सभी सही पाया गया। किसी ने अपना नाम वापस नहीं लिया। इस प्रकार सोसाइटी के एक पद सचिव के लिए रमेश कुमार, प्रमोद कुमार व मनीशचंद्र मिश्रा व दो कमेटी मेंबरों के पद पर रंजित ओझा, निर्भय कुमार, मुकेश कुमार व शशिभूषण प्रसाद ने नामांकन दाखिल किया था जिनके नामों की सूची प्रकाशित की गई। कोषाध्यक्ष के एक पद पर एक ही उम्मीदवारी रहने से प्रवीण कुमार सिंह कोषाध्यक्ष पद पर निर्विरोध हो गए हैं। किसे क्या मिला चुनाव चिन्ह
सचिव : रमेश कुमार-चश्मा, प्रमोद कुमार ताला-चाबी, एमसी मिश्रा-जीप, कमेटी मेंबर : रंजीत ओझा-सुरज, मुकेश कुमार -शेर, शशिभूषण प्रसाद - जग व निर्भय कुमार-किताब।
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चुनाव में 914 सदस्य लेंगे हिस्सा
सोसाइटी में कुल मेंबरों की संख्या 914 है। जो चुनाव में हिस्सा लेंगे इनके द्वारा सोसाइटी के सदस्यों व पदाधिकारियों का चुनाव किया जाएगा। सोसाइटी में कार्यकारिणी की कुल संख्या सात है जिसमें तीन पदाधिकारी चेयरमैन, सचिव व कोषाध्यक्ष का एक-एक पद निर्धारित किया गया है जबकि कमेटी मेंबरों की संख्या चार है। प्रबंधन पक्ष से चेयरमैन व दो कमेटी मेंबर व कर्मचारियों में से सचिव, कोषाध्यक्ष व दो कमेटी मेंबर बनाए जाते हैं। सोसाइटी का चुनाव तीन साल बाद किया जाता है। एक अप्रैल-18 से सोसाइटी चुनाव लंबित है। आठ अक्टूबर को कंपनी परिसर में मतदान सुबह नौ बजे से अपराह्न चार बजे तक चलेगा। मतदान के बाद उसी दिन मतगणना व देर शाम तक परिणाम की घोषणा की जाएगी।
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इनसेट
सचिव पद के उम्मीदवार रमेश ने उठाए सवाल
टाटा कमिंस सोसाइटी चुनाव में सचिव पद के प्रबल दावेदार रमेश कुमार ने चुनाव पदाधिकारी के कार्यो पर अंगुली उठाई है। कहा है कि चुनावी प्रक्रिया शुरू होने से लेकर अब तक उनके नाम सूची या नोटिस बोर्ड में उपर लिखा रहता था लेकिन अचानक सूची प्रकाशन के बाद बैलेट पेपर में उनका नाम नीचे लिखने का निर्णय लिया गया है जिस पर उन्होंने नाराजगी जताई है।