एचसीएल-आइसीसी प्रबंधन के रवैया के विरोध में 10 को पदयात्रा
झामुमो प्रखंड समिति अध्यक्ष प्रधान सोरेन के नेतृत्व में सुरदा माइंस के मजदूरों ने घाटशिला विधायक रामदास सोरेन से उनके जमशेदपुर आवास पर रविवार को मुलाकात कर मुख्यमंत्री के नाम एक ज्ञापन सौंपा। जिसमें कहा गया कि सुरदा माइंस का लीज 21 मार्च 2020 को समाप्त हो गया था जिसके बाद माइंस में कार्यरत 1500 मजदूर बेरोजगार हो गए हैं..
संसू, मुसाबनी : झामुमो प्रखंड समिति अध्यक्ष प्रधान सोरेन के नेतृत्व में सुरदा माइंस के मजदूरों ने घाटशिला विधायक रामदास सोरेन से उनके जमशेदपुर आवास पर रविवार को मुलाकात कर मुख्यमंत्री के नाम एक ज्ञापन सौंपा। जिसमें कहा गया कि सुरदा माइंस का लीज 21 मार्च 2020 को समाप्त हो गया था जिसके बाद माइंस में कार्यरत 1500 मजदूर बेरोजगार हो गए हैं। कोरोना महामारी के दौर में 10 महीनों से सभी मजदूर बेरोजगार हैं। जिसके कारण म•ादूरों की आर्थिक स्थिति अत्यंत खराब हो चुकी है। ज्ञापन के माध्यम से मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से अनुरोध किया गया है कि सुरदा माइंस की लीज प्रक्रिया पूरी कर जल्द से जल्द सुरदा खदान को चालू किया जाए। इधर झामुमो के केंद्रीय सदस्य कान्हु सामंत ने पार्टी कार्यालय में प्रेस वार्ता कर कहा कि मजदूरों को एचसीएल प्रबंधन पूरी तरह से गुमराह कर रही है। प्रबंधन बताए की लीज के मामले में सरकार कहां दोषी है। उन्होंने घोषणा किया कि विधायक के निर्देश पर झामुमो प्रखंड समिति के द्वारा सभी मजदूर 10 फरवरी को सुबह 9 बजे बाबा तिलका मांझी चौक सूरदा क्रॉसिग से जीएम कार्यालय मऊभंडार तक विधायक रामदास सोरेन के नेतृत्व में पदयात्रा निकालेंगे और माइंस प्रबंधन से सुरदा माइंस के लीज में हो रही देरी पर जवाब मांगेगे। उन्होंने बताया कि पद यात्रा में पार्टी के समस्त वरिष्ठ नेता एवं पदाधिकारीगण उपस्थित रहेंगे। मौके पर झामुमो प्रखंड अध्यक्ष प्रधान सोरेन, दाखिन हांसदा,राम चंद्र मुर्मू, गोरांग माहाली, सोमाय सोरेन, संजीवन पातर, सुनाराम सोरेन और मजदूर मोहम्मद सगीर, अभिजीत चटर्जी, अक्षय ब्रह्मा, मकसूद अली, लक्षमण सोरेन, शेख फरीद, प्रशांत नमाता, गोरांगो पातर, सुरेश कुमार, हैदर अली उपस्थित थे। यूसिल प्रबंधन के खिलाफ अनशन पर बैठा सुरक्षाकर्मी : यूसिल में कार्यरत पूर्व सुरक्षा कर्मी बीएसएफ के पूर्व सैनिक विमल मुंडा अपनी मांगों को लेकर ने रविवार की सुबह जादूगोड़ा मोड़ चौक स्थित सिद्धो-कान्हो चौक पर अनशन पर बैठ गए थे। उन्होंने अपने अनशन के लिए यूसिल प्रबंधन को दोषी ठहराते हुए देश के राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, गृह मंत्री, राज्य के मुख्यमंत्री, परिवहन मंत्री व जिला प्रशासन के अधिकारियों को पत्र लिख कहा था कि यूसिल प्रबंधन द्वारा सुरक्षा व्यवस्था में कार्यरत लोगों के साथ शोषण, अन्याय और लूट किया जा रहा है। 28 अक्टूबर को यूसिल प्रबंधन को आवेदन देने के बाद भी सुरक्षाकर्मियों को पूरा वेतन नहीं मिल रहा है। सुरक्षाकर्मियों को एजेंसी द्वारा न्यूनतम व समय पर वेतन नहीं दिया जा रहा है। समय पर बूट व वर्दी भी नहीं मिल रहा है। पीएफ की राशि की निकासी भी नहीं हो पा रही है। संवेदक द्वारा प्रमाण पत्र देने के नाम पर एक हजार लिया जाता है। पीएफ का पैसा निकालने पर 1500 रुपये लिया गया। पूर्व में अर्जुन मुंडा नामक कर्मी की मौत ड्यूटी के दौरान होने पर पोस्टमार्टम भी नहीं कराया गया। देश के जवानों का सम्मान करना चाहिए। परंतु यूसिल प्रबंधन खुलेआम शोषण कर रहा है। कहा, फरवरी माह से काम से हटा दिया गया है। इधर, जिप सदस्य बाघराय मार्डी ने रविवार की शाम बिमल मुंडा से मिले और संबंधित एजेंसी व यूसिल प्रबंधन से वार्ता कर उन्हें सी शिफ्ट ड्यूटी पर ज्वाइन कराया। उसके बाद जूस पिलाकर अनशन खत्म कराया।