सरकारी गवाह नहीं बना तो इंजीनियर को किया टार्चर, गंभीर
संवाद सहयोगी हजारीबाग हत्या के एक मामले में पुलिस के दबाव के बावजूद सरकारी गवाह नहीं
संवाद सहयोगी, हजारीबाग : हत्या के एक मामले में पुलिस के दबाव के बावजूद सरकारी गवाह नहीं बनने पर सीसीएल के प्रशिक्षु इंजीनियर आनंद वर्मा को पुलिस के थर्ड डिग्री टॉर्चर से गुजरना पड़ा है। बड़कागांव, उरीमारी थाने व एसडीपीओ कार्यालय विष्णुगढ़ में विभिन्न अधिकारियों के मारपीट से खून की उलटी होने के बाद पुलिस ने युवक के परिजनों को बुलाया। जिन्होंने उसे स्थानीय लाइफ केयर अस्पताल में भर्ती कराया।
बताया गया कि युवक को बड़कागांव थाना कांड संख्या 40/20 में पूछताछ के लिए लाया गया था। इस हत्याकांड में युवक का छोटा भाई नामजद आरोपी है जो फरार चल रहा है। इस बाबत युवक आनंद वर्मा के रांची बरियातू निवासी मौसी गिताली वर्मा ने डीआइजी हजारीबाग रेंज को आवेदन देकर कार्रवाई की मांग की है। पिटाई का आरोप बड़कागांव थाना प्रभारी सपन महतो, इंस्पेक्टर बड़कागांव, उरीमारी थाना प्रभारी के अलावा प्रशिक्षु दो सब इंस्पेक्टर अभिषेक सिंह व शिवदयाल सिंह पर है। आवेदन में कहा गया है कि 21 मई को आनंद वर्मा को रांची के बरियातू से पुलिस उठाकर पुलिस बड़कागांव थाना ले गई। जहां सरकारी गवाह बनने का दबाव बनाते हुए उसपर सादे कागज पर हस्ताक्षर करने को कहा गया। धमकी दी कि ऐसा नहीं करने पर उसके पिता व परिवार को सड़क पर ला दिया जाएगा। बात नहीं मानने पर पहले उसके साथ बड़कागांव थाना, फिर उरीमारी थाना में उसकी जमकर पिटाई की गई। सबसे बुरी तरह पिटाई उसके साथ एसडीपीओ कार्यालय विष्णुगढ़ में की गई। उसे उलटा लटकाया गया, पैर के अगुंठे में बांस बांधकर पिटाई की गई। जब खून की उलटी आने लगा तो उसके परिजनों को बुलाया गया। जमीन विवाद का है मसला अस्पताल में इलाजरत आनंद वर्मा ने बताया कि उसकी एक बेशकीमती जमीन पर कुछ लोगों की नजर है। कोर्ट में उसका फैसला आने वाला है और संभवत: उसके पक्ष में आएगा। आवेदन में बताया गया है कि गायत्री वस्त्रालय के मनजीत सोनी, शिव शंकर सोनी, लक्ष्मी सोनी से बड़कागांव थाना प्रभारी स्वपन कुमार महतो ने इस जमीन के लिए मोटी रकम वसूली है।
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छोटे भाई को फंसाने का आरोप
आवेदन में मौसी ने बताया कि पैसे लेकर पहले थाना प्रभारी ने आनंद के भाई विवेक कुमार को बड़कागांव थाना के एक हत्याकांड संख्या 40/20 में नामजद किया। इस कांड में आनंद आरोपित भी नहीं है बावजूद उसे पुलिस उठाकर ले गई।
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निष्पक्ष जांच होगी, एसडीपीओ सदर इसकी जांच कर रहे हैं। मामला संज्ञान में आया है। जांच रिपोर्ट के बाद दोषियों पर कार्रवाई होगी।
कार्तिक एस, एसपी, हजारीबाग