ट्रेनों के ठहराव को ले फुलारीटांड स्टेशन पर धरना
पूर्व घोषित कार्यक्रम के तहत फुलारीटांड स्टेशन पर ट्रेनों ठहराव की मांग को लेकर धरना दिया गया।
संवाद सहयोगी, नावागढ़: पूर्व घोषित कार्यक्रम के तहत फुलारीटांड स्टेशन पर ट्रेनों ठहराव व यात्री सुविधा से जुड़ी आठ सूत्री मांगों को लेकर धनबाद बचाओ मोर्चा के बैनर तले एक दिवसीय धरना दिया गया। फुलारीटांड़, नावागढ़, खरखरी, मधुबन, महेशपुर, सिनीडीह आदि जगहों से काफी संख्या में महिला व पुरुषों ने धरना में भाग लिया। धरना की शुरुआत स्व गुरुदास चटर्जी, स्व. राजेंद्र प्रसाद लाला व स्थानीय पत्रकार स्व. जहीरुद्दीन को याद करते हुए माल्यार्पण कर किया गया। यात्री सुविधा को लेकर फुलारीटांड़ स्टेशन में हुए आंदोलनों में इनकी सहभागिता को लोगों ने सराहना की। वक्ताओं ने कहा कि चंद्रपुरा-कतरास रेल मार्ग के मध्य अवस्थित फुलारीटांड़ स्टेशन के प्रति विभाग ने हमेशा उपेक्षात्मक रवैया अपनाया है।आंदोलन के माध्यम से उक्त स्टेशन को जो सुविधाएं मिली थी वह फिलवक्त छीन ली गयी है। धनबाद-चंद्रपुरा सवारी गाड़ी तक को चालू नही किया गया है।अगर जल्द से जल्द इसको वापस नहीं लिया गया तो पूरे प्रदेश में उग्र आंदोलन किया जाएगा। इस ट्रेन के चालू नहीं होने से आस पास इलाके के छात्र छात्राओं, व्यवसायी, गरीब मजदूर व मध्यम वर्ग के लोगो को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। इस स्टेशन पर पूर्व की तरह सभी ट्रेनों का अविलंब ठहराव की मांग किया गया। वक्ताओं ने कहा कि मांगों पर रेलवे ठोस कदम नहीं उठाती है तो यहां की जनता रेल पटरी पर उतरने के लिए बाध्य हो जाएंगी। आठ सूत्री मांगों में डीसी सवारी गाड़ी को अविलंब चालू करने, धनबाद रांची इंटरसिटी, वनांचल, रांची भागलपुर, मौर्य एक्सप्रेस का ठहराव सुनिश्चित करने, स्टेशन पर यात्री सुविधा के लिए बैठने व शौचालय का निर्माण करने, प्लेटफार्म पर जीआरपी की तैनाती, कतरासगढ़ स्टेशन के दो नंबर प्लेटफार्म पर फुट ओवरब्रिज का निर्माण करने व समुचित विद्युत प्रकाश की व्यवस्था करने जैसी मांगे शामिल है। फुलारीटांड स्टेशन प्रबंधक व रेल सुरक्षा अधिकारियों को मांग पत्र सौंपा गया। धनबाद बचाओ मोर्चा के अध्य्क्ष हंजला बिन हक, स्थानीय मुखिया दिलीप विश्वकर्मा, राजकुमार यादव, संजय सिंह, पूर्णेंदु कुमार दास, घनश्याम कुमार, दिलशाद हैदर, बबलू सिंह, मनोज चौहान, बिक्रम पासवान, डा. कृष्णा प्रसाद, ओमप्रकाश कुंवर, शंकर गुप्ता, प्रमोद गुप्ता, शम्भु रवानी, महबूब आलम, विनय उपाध्याय, राजनंदन कुमार, विष्णुदेव साव, सदानंद गुप्ता सहित क्षेत्र की दर्जनों महिलाएं शामिल थी, जबकि सुरक्षा अधिकारियों में आरपीएफ के अविनाश करौंसिया, सुरेश यादव, रूपेश राय, शत्रुघ्न तिवारी तथा आरपीएफ इंटेलिजेंस के शिव आधार व सुनील राम उपस्थित थे।