Fight Against Corona: महामारी में हर मुश्किलों से सामना करने को सेंट्रल अस्पताल तैयार, बढ़ाए जा रहे ऑक्सीजन सपोर्टेड बेड
अस्पताल प्रबंधन का मानना है कि देर सबेर अन्य वार्ड भी कोविड-19 तब्दील कर दिए जाएंगे। अस्पताल के सीएमएस डॉक्टर आरके ठाकुर के मुताबिक केंद्रीय अस्पताल के सभी वार्ड में पहले से ही 5 बेड को ऑक्सीजन सपोर्टेड रखा गया है।
धनबाद, जेएनएन। केंद्रीय अस्पताल में संक्रमितो की संख्या और बेड के लिए मारामारी को देखते हुए प्रबंधन ने ऑक्सीजन सपोर्टेड बेड की संख्या बढ़ाने का निर्णय लिया है। बेड बढ़ाने के लिए कई विभागों के वार्ड बंद कर दिए गए हैं और वहां ऑक्सीजन पाइप लाइन का विस्तार किया जा रहा है। ऐसा करने के पीछे अस्पताल प्रबंधन का मानना है कि देर सबेर अन्य वार्ड भी कोविड-19 तब्दील कर दिए जाएंगे। अस्पताल के सीएमएस डॉक्टर आरके ठाकुर के मुताबिक केंद्रीय अस्पताल के सभी वार्ड में पहले से ही 5 बेड को ऑक्सीजन सपोर्टेड रखा गया है। हालांकि वर्तमान में ऑक्सीजन की जरूरत वाले रोगियों की संख्या में उत्तरोत्तर वृद्धि को देखते हुए सभी वार्ड में और 10-10 बेड ऑक्सीजन सपोर्टेड करने का प्रयास किया जा रहा है। इसके लिए दिन- रात काम करवाया जा रहा है। उम्मीद है एक-दो दिन में यह पूरा हो जाएगा।
डॉ. ठाकुर के मुताबिक इसके बाद हर वार्ड में 15- 15 बेड ऑक्सीजन सपोर्टेड हो जाएंगे। इससे अस्पताल में तकरीबन 100 नए ऑक्सीजन सपोर्टेड बेड बढ़ जाएंगे। उन्होंने बताया कि बीसीसीएल के सहयोग से केंद्रीय अस्पताल में मंगलवार को भी 50 जंबो ऑक्सीजन सिलेंडर मंगवाया गया। 50 सिलेंडर सोमवार को भी मंगवाया गया था। पहले से अस्पताल के पास 89 सिलेंडर मौजूद था। कुल मिलाकर अब कंपनी के पास 189 सिलेंडर हो गए। इनमें 100 जंबो सिलेंडर हैं। ऐसे में यदि 100 और नए ऑक्सीजन सपोर्टेड बेड तैयार भी हो गए तब भी सिलेंडर की आगे कमी नहीं होगी।
बता दें कि अस्पताल में सीट ना मिलने पर इमरजेंसी वार्ड के सहारे कई कोरोना रोगियों के भर्ती हो जाने की वजह से भारी संख्या में चिकित्सक व चिकित्सा कर्मी पॉजिटिव हो गए हैं। इस कारण केंद्रीय अस्पताल ने आर्थोपेडिक, सर्जरी, गायनोलॉजिस्ट, आई, ईएनटी समेत लगभग 8 वार्ड बंद कर दिए हैं। इनका इलाज भी बंद है। इनके पेशेंट भी नहीं आ रहे। अधिकतर पेशेंट श्वास संबंधी रोगों के ही आ रहे हैं। ऐसे में इन बंद वार्डो को भी कोविड-19 वार्ड बनाने की प्रक्रिया चल रही है। जिला प्रशासन की हरी झंडी मिलते ही काम शुरू हो जाएगा। कोविड-19 वार्ड में फ्रंटलाइन कर्मी के कर्मचारी नियुक्त होते हैं।