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बसने से पहले ही उजड़ रहा बसेरा

धनबाद स्थायी दुकान आवंटन करने और सड़क से हटाने से पहले वेंडिंग जोन बनाने की मांग क

By JagranEdited By: Published: Tue, 21 Jan 2020 02:38 AM (IST)Updated: Tue, 21 Jan 2020 06:20 AM (IST)
बसने से पहले ही उजड़ रहा बसेरा
बसने से पहले ही उजड़ रहा बसेरा

धनबाद : स्थायी दुकान आवंटन करने और सड़क से हटाने से पहले वेंडिंग जोन बनाने की मांग को लेकर सोमवार को फुटपाथ दुकानदारों ने नगर निगम कार्यालय के समक्ष प्रदर्शन किया। फुटपाथ दुकानदार रोजी-रोटी उपार्जन संघ के बैनर तले किए गए प्रदर्शन में बड़ी संख्या में पथ विक्रेता शामिल हुए। सभी ने एक स्वर में कहा कि आए दिन अतिक्रमण अभियान चलाया जाता है, हर मीटिंग में वेंडिंग जोन बनाने की बात सामने आती है लेकिन अभी तक वेंडिंग जोन बनाकर दुकानदारों को यहां शिफ्ट नहीं किया गया। अब सड़क चौड़ीकरण के नाम पर गरीब दुकानदारों का बसेरा उजाड़ा जा रहा है। इससे पहले दुकानदारों ने रणधीर वर्मा चौक से निगम कार्यालय तक रैली निकाली। पथ विक्रेता आजीविका संरक्षण अधिकार एवं विनियमन कानून 2015 के प्रावधान लागू करने की मांग की। प्रदर्शनकारियों ने कहा कि निगम और जिला प्रशासन सड़क चौड़ीकरण एवं सौंदर्यीकरण के नाम पर पत्र विक्रेताओं को बिना वेंडिंग जोन में स्थाई रोजगार की व्यवस्था किए ही हटाने का अभियान चला रहा है। प्रदर्शन करने वालों में संतोष कुमार, संजीव कुमार सिंह, दिनेश प्रसाद वर्मा, अभय कुमार सिन्हा, उमेश कुमार, रामनाथ सिंह, उमाकात दुबे, उमेश गोस्वामी, इंद्रजीत पासवान, रितेश बहादुर सिंह और श्यामल मजूमदार उपस्थित थे।

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पथ विक्रेताओं की प्रमुख मांगें

- अविलंब मुख्य शहर के किनारे वेंडिंग जोन का जगह-जगह निर्माण किया जाए, इसके बाद ही दुकानदारों को हटाया जाए।

- शहर से बाहर वेंडिंग जोन बनने से जनता की जरूरतें पूरी नहीं होंगी, इसलिए शहर के अंदर ही वेंडिंग जोन का निर्माण हो।

- टाउन वेंडिंग समिति के सदस्य प्रस्तावित स्थलों का जल्द से जल्द मुआयना करें।

- 3978 पथ विक्रेताओं को जारी परिचय पत्र में अधिकतर में त्रुटिया हैं। आज तक इसका वितरण और शुद्धीकरण नहीं हो पाया है। इसमें सुधार करें।

- विक्रेताओं को कानूनी प्रावधानों के आधार पर मुद्रा लोन, पेंशन सुविधा आदि का ला मिले।

- पिछले दिनों पथ विक्रेताओं को प्रशिक्षण के दौरान उनके खाते में 280 प्रति व्यक्ति हिसाब से राशि भेजी जानी थी, यह आज तक नहीं भेजी गई।

- राची जैसे शहर में मॉल बनाकर बड़ी संख्या में पथ विक्रेताओं को स्थायी रूप से बसाया जा रहा है, धनबाद में से कोई पहल नहीं हो रही।


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