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MPL में अब रेल से होगी कोयले की आपूर्ति, रेलवे ट्रैक पर लोको इंजन का किया गया ट्रायल Dhanbad News

एमपीएल में हाईवा से कोयले की ढुलाई बहुत जल्द रेलवे रैक के माध्यम से शुरू हो जाएगी। इससे स्थानीय लोगों को हाईवा से कोयला व छाई ढुलाई से उड़ने वाले प्रदूषण से राहत मिलेगी। ट्रांसपोर्टिंग की दिशा में रेलवे से कोयला आपूर्ति का एक नया अध्याय जुड़ने को है।

By Atul SinghEdited By: Published: Mon, 30 Aug 2021 05:40 PM (IST)Updated: Mon, 30 Aug 2021 05:40 PM (IST)
MPL में अब रेल से होगी कोयले की आपूर्ति, रेलवे ट्रैक पर लोको इंजन का किया गया ट्रायल Dhanbad News
एमपीएल में हाईवा से कोयले की ढुलाई बहुत जल्द रेलवे रैक के माध्यम से शुरू हो जाएगी। (प्रतीकात्‍मक तस्‍वीर)

जासं, मैथन/निरसा : एमपीएल में हाईवा से कोयले की ढुलाई बहुत जल्द रेलवे रैक के माध्यम से शुरू हो जाएगी। इससे स्थानीय लोगों को हाईवा से कोयला व छाई ढुलाई से उड़ने वाले प्रदूषण से राहत मिलेगी। दरअसल, एमपीएल में कोयला ट्रांसपोर्टिंग की दिशा में रेलवे से कोयला आपूर्ति का एक नया अध्याय जुड़ने को है। एमपीएल बनने के बाद उसमें लगने वाले कोयले की ढुलाई शुरू से ही हाईवा के माध्यम से होती आ रही है । इससे स्थानीय लोगों को विभिन्न प्रकार की समस्याओं से रूबरू हर दिन होना पड़ता है।

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प्लांट तक कोयले की आपूर्ति सुलभ बनाने के लिए एमपीएल प्रबंधन द्वारा कई वर्षों से रेलवे ट्रैक का निर्माण जोरशोर से करवाया जा रहा है जो लगभग बनकर पूरा हो गया है। सोमवार की सुबह थापानगर रेलवे स्टेशन से एमपीएल के कोल यार्ड तक लोको इंजन के ट्रायल के रूप में रेलवे इंजन का परीक्षण पटरियों पर किया गया। एमपीएल प्रबंधन के वरीय अधिकारियों, रेलवे के वरीय अधिकारियों व रेलवे ट्रैक बिछाने वाली कंपनी एलएनटी के वरीय पदाधिकारी संयुक्त रूप से लोको इंजन इंजन को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।

मौके पर उपस्थित रेलवे के अधिकारियों ने बताया कि थापरनगर से एमपीएल परिसर के अंदर तक रेलवे ट्रैक का ट्रायल है । इंजन को चला कर रेलवे ट्रैक का परीक्षण किया जा रहा है। अगर ट्रायल सफल रहा तो बहुत जल्द रेलवे की पटरियों पर कोयला लेकर रेल गाड़ी एमपीएल की तरफ रवाना होगी। हालांकि, इन सब से अलग हटकर एमपीएल में अब तक कोयले व छाई की ढुलाई करने वाले हाईवा व हाईवा मालिकों की स्थिति क्या होगी। उनकी गाड़ियां और उनके रोजगार को लेकर आगे क्या समस्याएं होगी। यह भविष्य में ही पता चल पाएगा। फिलहाल इन सबसे अलग एमपीएस रेलवे के माध्यम से कोयले की आपूर्ति को लेकर लगातार काम कर रहा है ।


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