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National Anthem of Pakistan : सोशल मीडिया पर खिंचाई के बाद स्कूल ने मांगी माफी, कांग्रेस पर भी कसा गया तंज Dhanbad News

National Anthem of Pakistan स्कूली छात्रों को पाकिस्तान और बांग्लादेश का राष्ट्रगान पढ़ाए जाने को लेकर विवाद थम नहीं रहा है। इसे लेकर स्कूल की सोशल मीडिया पर खूब आलोचना हो रही है।

By Sagar SinghEdited By: Published: Sun, 12 Jul 2020 11:51 PM (IST)Updated: Sun, 12 Jul 2020 11:54 PM (IST)
National Anthem of Pakistan : सोशल मीडिया पर खिंचाई के बाद स्कूल ने मांगी माफी, कांग्रेस पर भी कसा गया तंज Dhanbad News
National Anthem of Pakistan : सोशल मीडिया पर खिंचाई के बाद स्कूल ने मांगी माफी, कांग्रेस पर भी कसा गया तंज Dhanbad News

धनबाद, जेएनएन। National Anthem of Pakistan and Bangladesh घाटशिला के संत नंदलाल स्मृति विद्या मंदिर द्वारा एलकेजी और यूकेजी के बच्चों को पाकिस्तान और बांग्लादेश का राष्ट्रगान पढ़ाए जाने को लेकर विवाद थम नहीं रहा है। इसे लेकर स्कूल प्रबंधन की सोशल मीडिया पर खूब आलोचना हो रही हैं। कई राजनीतिक पार्टियों के नेता भी अब इसमें कूद पड़े हैं। हालांकि, विरोध बढ़ता देख स्कूल प्रबंधन ने माफी मांग ली है। वहीं, प्रशासन ने भी जांच रिपोर्ट के आधार पर विभागीय कार्रवाई की बात कही है।

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दरअसल, यह मामला प्रकाश में आने के बाद रविवार को दिन भर सोशल मीडिया में छाया रहा। इसके बाद कई राजनीतिक व सामाजिक संगठनों ने स्कूल प्रबंधन के खिलाफ घाटशिला थाना में शिकायत दर्ज कराई है। इधर, भाजपा ने इस मामले को लेकर प्रदेश की हेमंत सरकार पर निशाना साधा है। भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता कुणाल षाड़ंगी ने कहा कि सीएए का विरोध करने वाले अब स्कूल प्रबंधन के समर्थन में दिखाई देंगे। उन्होंने कहा कि झारखंड में अब यही देखना बाकी रह गया था। बच्चों को पाकिस्तान और बांग्लादेश का राष्ट्रगान पढाया जा रहा है।

एबीवीपी की सदस्य रश्मि रंजन ने कहा कि जेनरल नॉलेज के नाम पर स्कूल प्रबंधन राष्ट्रगान नहीं पढ़ा सकता। अगर ऐसा है तो प्रबंधन को पाकिस्तान और बंगलादेश के आजादी का जश्न भी स्कूल में मनाना चाहिए। एक अन्य छात्र नेता मनोज कुमार ने कहा कि स्कूल प्रबंधन के खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए। अगर ऐसा नहीं हुआ तो वे आंदोलन को बाध्य होंगे। मनोज ने आगे कहा कि स्कूल जेनरल नॉलेज के नाम पर बच्चों को कुछ भी नहीं पढ़ा सकते।

स्कूल प्रबंधन ने मांगी माफी : संत नंदलाला स्मृति विद्या मंदिर के प्रधानाध्यापक ने इसके लिए माफी मांग ली है। उन्होंने प्रेस रिलीज जारी कर कहा कि सामान्य ज्ञान बढ़ाने के लिए बच्चों को टास्क दिया गया था। ताकि भारत के पड़ोसी देशों की संस्कृति, राष्ट्रीय गीत, राष्ट्रीय प्रतीक के बारे में जान सके। इसे दूसरे तरीके से नहीं लिया जाना चाहिए। अभिभावकों एवं नागरिकों की भावनाओं को ध्यान में रखते हुए विद्यालय प्रबंधन की ओर से इस प्रोजेक्ट को स्थगित कर दिया गया है। स्कूल इसके लिए क्षमा प्रार्थी है।


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