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SAIL: पे रिवीजन का विवाद सुलझाने के लिए टूटा गतिरोध, क्या झारखंड की धरती पर बनेगी बात

श्रमिक संगठनों से 30 जून को पूरे सेल में हड़ताल कर कंपनी का चक्का जाम कर दिया। इससे क्षुब्ध प्रबंधन वेतन समझौते पर पुन वार्ता करने से कतराने लगी। प्रबंधन का अपना तर्क था की बातचीत व हड़ताल दोनों एक साथ नही हो सकती है।

By MritunjayEdited By: Published: Sat, 31 Jul 2021 10:35 AM (IST)Updated: Sat, 31 Jul 2021 10:19 PM (IST)
SAIL: पे रिवीजन का विवाद सुलझाने के लिए टूटा गतिरोध, क्या झारखंड की धरती पर बनेगी बात
सेल में पे रिवीजन पर बातचीत करने के लिए प्रबंधन और यूनियन तैयार ( सांकेतिक फोटो)।

जागरण संवाददाता, बोकारो। पे रिवीजन को लेकर सेल प्रबंधन और मजदूर यूनियनों के बीच जारी गतिरोध टूट गया है। दोनों पक्षों के बीच असहमति के कारण पिछले महीने कर्मचारियों ने एक दिनी हड़ताल की थी। 30 जून को हड़ताल के कारण सेल का काफी नुकासन हुआ था। अब फिर दोनों पक्ष आमने-सामने बैठने को तैयार हुआ है। अबकी बैठक दिल्ली में न होकर रांची में होगी। ऐसे में सवाल उठ रह है कि क्या अबकी दोनों पक्षों के बीच बात बनेगी।

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35 फीसद पर्क्स पर अड़े मजदूर

महारत्न कंपनी सेल में कामगारों के पे रिवीजन के लिए प्रबंधन ने आगामी 12-13 अगस्त को एमटीआई रांची में बैठक बुलाई है। दो दिवसीय इस बैठक में सेल प्रबंधन के आला अधिकारी के साथ एनजेसीएस के पांचों प्रमुख नेता उपस्थिति रहेंगे। इस बीच प्रबंधन व यूनियन दोनों पक्ष के लोग एमजीबी व पर्क्स के मसले पर होमवर्क करने की तैयारी में अभी से ही जुट गए है। बताया जाता है की बैठक में इन दोनों मसौदे पर अंतिम निर्णय लेने के लिए ही वर्चुअल के बजाए फिजिकल मीटिंग रखी गई है। सेल कामगारों के पे रिवीजन पर बीते माह 22 से लेकर 27 जून तक प्रबंधन व एनजेसीएस के बीच ऑनलाइन बैठक हुई। लेकिन मामला पर्क्स के मसले पर आकर लटक गया। बैठक में यूनियन 15 फीसद एमजीबी के साथ 35 फीसद पर्क्स की मांग कर रही थी। जबकि प्रबंधन 13 फीसद एमजीबी के साथ 17 फीसद पर्क्स देने की बात कही। यूनियन नेता 15 के बजाए 13 फीसद एमजीबी पर सहमत हो गए लेकिन पर्क्स के लिए 35 फीसद की मांग पर अड़े रहे। बात को बिगड़ता देख बैठक समाप्त हो गई और इसके विरोध में सभी श्रमिक संगठनों से 30 जून को पूरे सेल में हड़ताल कर कंपनी का चक्का जाम कर दिया। इससे क्षुब्ध प्रबंधन वेतन समझौते पर पुन: वार्ता करने से कतराने लगी। प्रबंधन का अपना तर्क था की बातचीत व हड़ताल दोनों एक साथ नही हो सकती है। इस बीच केंद्रीय मंत्रिमंडल में फेरबदल के बाद आरसीपी सिंह को नया इस्पात मंत्री बनाया गया। जिसके बाद विभिन्न श्रमिक संगठन ने पे रिवीजन के समाधान के लिए उनसे पत्राचार कर हस्तक्षेप करने की मांग की। इसके बाद प्रबंधन फिर से हरकत में आया और अब 12 व 13 अगस्त को वेतन मसौदे पर बैठक की तिथि निर्धारित की गई है।

विधि व्यवस्था के चलते बदला बैठक का स्थान

सेलकर्मियों के पे रिवीजन पर बैठक इस बार नई दिल्ली के बजाए सेल रांची के प्रबंध प्रशिक्षु संस्थान में आयोजित की जा रही है। ऐसा इसलिए की विधि व्यवस्था के दृष्टिकोण से नई दिल्ली के हालात बेहतर नही है। पहला स्वतंत्रता दिवस पर आतंकी हमले का वहां हाई अलर्ट है, दूसरा किसान आंदोलन के कारण प्राय: रूट पर बेरिकैटिंग कर दी गई है। कोरोना के हालात भी अभी वहां पूरी तरह से नियंत्रित नही है। इस कारण प्रबंधन होटल के बजाए अपने रांची स्थित एमटीआई संस्थान में बैठक करने जा रही है।


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