AIUTUC National Conference 2020: तीन दिवसीय अधिवेशन शुरू, केंद्र पर आंदोलन का अधिकार खत्म करने का आरोप
खुला सत्र के बाद नेहरू कंप्लेक्स में प्रतिनिधि सभा होगी। 14 फरवरी को दो सत्रों में पूरी कार्रवाई चलेगी। 15 फरवरी को यूनियन की नई कमेटी का गठन किया जाएगा।
धनबाद, जेएनएन। ऑल इंडिया यूनाइटेड ट्रेड यूनियन सेंटर (एआईयूटीयूसी) का 21वां अखिल भारतीय सम्मेलन गुरुवार को धनबाद में शुरू हुआ। पहले दिन खुला अधिवेशन धनबाद के कोहिनूर मैदान में हुआ। जबकि डेलिगेट सेशन कोयला नगर नेहरू कॉप्लेक्स में हो रहा है। तीन दिवसीय अधिवेशन में कई प्रस्ताव चर्चा के बाद पास किया जाएगा।
खुले अधिवेशन में देश के 22 राज्यों और विभिन्न सेक्टरों से आए हजारों कामगारों ने हिस्सा लिया। उन्होंने शहीद स्मारक कोयला नगर से सभास्थल तक शहर में एक जुलूस निकाला। शहीद स्मारक पर संगठन के अध्यक्ष राधाकृष्ण, महासचिव शंकर शाह और स्वागत समिति के चेयरमैन आर तिवारी द्वारा माल्यार्पण के बाद जुलूस निकाला गया। खुले अधिवेशन की अध्यक्षता राधाकृष्णा ने की। सभा का उदघाटन बिहार कोल माइनर्स यूनियन के कार्यकारी अध्यक्ष आर तिवारी ने किया। महासचिव शंकर साहा के अलावा एआइयूटीयूसी सचिव मंडल सदस्य सत्यवान, शंकर दासगुप्ता, एसयूसीआइ(सी) की केंद्रीय कमेटी के सदस्य सह झारखंड राज्य कमेटी के सचिव राबिन समाजपति ने सभा को संबोधित किया।
वक्ताओं ने कहा कि केंद्र सरकार और सभी राज्य सरकारें भूमंडलीकरण-उदारीकरण-निजीकरण की नीतियों को लागू कर रही हैं और कोयला खदानों सहित सभी सार्वजनिक संस्थानों को बेच रही हैं। 44 श्रम कानूनों को खत्म कर चार कोड बनाए जा रहे हैं। यूनियन बनाने और आंदोलन के अधिकार को खत्म करने का षड्यंत्र चल रहा है। फिक्स टर्म ईम्पलायमेंट के जरिए हायर एंड फायर की नीति को लागू किया जा रहा है। इस पूंजीवादी शोषण के चलते जीवन दूभर हो गया है। एआइयूटीयूसी के कंधों पर यह ऐतिहासिक जिम्मेदारी है कि हम मजदूर आंदोलन को दिशा दें। सभा के अध्यक्ष के राधाकृष्णा के अध्यक्षीय भाषण के साथ सभा का समापन हुआ। करीब 15 सौ डेलिगेट हिस्सा ले रहें है।
भारत-बांग्लादेश के मजदूरों की समस्याएं एक समाज : जहीरुल
बांग्लादेश से आए बांग्लादेश लेबर एंड एंप्लाइज फेडरेशन के अध्यक्ष जहीरुल इस्लाम ने अपने संबोधन में कहा कि हम दोनों देशों की मेहनतकश जनता की समस्याएं एक जैसी हैं। सर्वहारा के नेता शिवदास घोष का विचार हमें एकजुट करता है और मुक्ति की राह दिखाता है।