Coal Labour Wage Agreement: 30 जून को पूरी हो जाएगी मियाद, जेबीसीसीआइ गठन का सबको इंतजार
बीएमएस कोयला प्रभारी के लक्ष्मा रेड्डी व एचएमएस के नाथू लाल पांडेय ने पिछले दिनों कोयला मंत्री के साथ हुई बैठक में जेबीसीसीआई गठन का मामला उठाया था। वेतन समझौता दस भी विलंब से हुआ था। हालांकि इसका लाभ कोयला कर्मियों को जुलाई 2016 से मिला।
धनबाद, जेएनएन। कोल इंडिया में कोयला कर्मियों के वेतन समझौता-10 की अवधि 30 जून, 2021 को समाप्त हो रही है। इससे पहले वेतन समझौता को लेकर जेबीसीसीआइ-11 का गठन होना है। यही कमेटी कोयला कर्मियों का वेतन समझौता तय करती है। 2.75 लाख कोयला कर्मियों को 11 वें वेतन समझौता का इंतजार इंतजार है। वैसे श्रम कानून में बदलाव आने के कारण कोयला मंत्रालय भी हर गतिविधियों पर नजर बनाए हुए है। वेतन समझौता में कोल इंडिया प्रबंधन के साथ केंद्रीय यूनियन के प्रतिनिधि बैठते है। इंटक के प्रतिनिधि वेतन समझौता-10 से बाहर थे। इस बार इंटक अपनी दावेदारी को लेकर श्रम मंत्रालय से लेकर पीएम तक अपनी बात पहुंंचाने में जुट गया है।
कोयला मंत्री के समक्ष उठा मुद्दा
बीएमएस कोयला प्रभारी के लक्ष्मा रेड्डी व एचएमएस के नाथू लाल पांडेय ने पिछले दिनों कोयला मंत्री के साथ हुई बैठक में जेबीसीसीआई गठन का मामला उठाया था। वेतन समझौता दस भी विलंब से हुआ था। हालांकि इसका लाभ कोयला कर्मियों को जुलाई 2016 से मिला। वेतन समझौता पांच साल के लिए किया जाता है। प्रबंधन और मजदूर संगठनों के बीच द्विपक्षीय समझौता होता है। इंटक के राष्ट्रीय सचिव व विधायक अनूप सिहं ने कहा कोयला उद्योग का राष्ट्रीयकरण इंटक की देन है। वेतन समझौता का बेहतर लाभ मिले इसको लेकर इंटक हमेशा प्रयास करती है।