खुशियों की आई बहार, सतरंगी छटा बिखरेगी आज
संवाद सूत्र चतरा प्रकाश पर्व दीपावली की तैयारियां पूरी कर ली गई है। दीपावली को लेकर खुि
संवाद सूत्र, चतरा : प्रकाश पर्व दीपावली की तैयारियां पूरी कर ली गई है। दीपावली को लेकर खुशियों की बहार आई हुई है। चारों ओर उत्साह और उमंग है। प्रकाश पर्व दीपावाली शनिवार को है। घर-द्वार एवं प्रतिष्ठानों की साफ-सफाई का कार्य अंतिम चरण में है। रोशनी को लेकर व्यापक व्यवस्था की जा रही है। लाख मनाही के बाद भी चाइनीज लाइटों की खूब बिक्री हो रही है। कोविड-19 की वजह से बाजार अन्य वर्षों की अपेक्षा थोड़ा फीका जरूर है। लेकिन उत्साह और उमंग कम नहीं है। धनतेरस के दूसरे दिन शुक्रवार को भी लोगों ने खूब खरीददारी की। चाइनीज बल्ब और झालर से लेकर मिट्टी की दीये तक की बिक्री जमकर हो रही है। आतिशबाजी की भी व्यापक तैयारियां की जा रही है। हालांकि कोविड-19 के कारण आतिशबाजी के लिए दो ही घंटा समय निर्धारित किया गया है। रात के आठ बजे से लेकर दस बजे रात तक का ही लोग आतीशबाजी कर सकते हैं। लेकिन उसके बाद उसकी बिक्री कम नहीं है। इस बार धनतेरस पर्व पर उम्मीद के अनुरूप बाजार नहीं रहा। व्यवसायी थोड़ा निराश दिख रहे हैं। घर एवं प्रतिष्ठानों को साज-सज्जा का काम शुरू कर दिया गया है। मिठाइयों के दुकानों में भीड़ उमड़ी हुई है। दुकानदारों ने कई प्रकार की मिठाईयां बनाई है। डेढ सौ रुपये से लेकर एक हजार सौ रुपये तक किलो की मिठाईयां इन दुकानों में मिल रही है। दुकानदारों का कहना है कि दीपावली पर्व को लेकर पिछले चार दिनों से मिठाई बनाने का काम चल रहा है। उनका कहना है कि इस क्रम में कई प्रकार के मिष्ठान तैयार किए गए हैं। मेन रोड़ स्थित जायसवाल मिष्ठान भंडार के संचालक सुनील कुमार जायसवाल कहते हैं कि व्यापक तैयारियां की गई है। डेढ़ सौ रुपये से लेकर सात सौ रुपये किलो तक की मिठाईयां उनके यहां उपलब्ध है। वहीं नारायण स्वीट्स में बारह सौ रुपये किलो तक की मिठाईयां मिल रही है। दीपावली की पूर्व संध्या पर मिट्टी के दीपों के साथ-साथ विभिन्न प्रकार के चाइनीज बल्बों की दूधिया रोशनी छटा बिखेर रही है। सोमवार की रात्रि दुकानों एवं घरों में छोटी दीपावली मनाई गई। इस दौरान दीपक जलाए गए। दीपावली को देखते हुए चाइनीज बल्ब एवं कैंडल की बिक्री खूब हुई। लक्ष्मी गणेश की प्रतिमा की बिक्री जोरों पर है। व्यवसायिक प्रतिष्ठानों में केले के थाम एवं फूल मालाओं की सजावट की जा रही है। वहीं बही-खाता एवं गणेश-लक्ष्मी की पूजा बुधवार को की जाएगी। बाजार में चाइनीज बल्वों के आने के बावजूद मिट्टी के दीपों की बिक्री में कहीं से कोई कमी नहीं देखी जा रही है। दीये की बिक्री खूब हो रही है।
देवेंद्र कुम्हार कहते हैं कि पिछले दुर्गा पूजा संपन्न होने के साथ ही मिट्टी के दीप बनाने में जुट गए थे। उनका कहना है कि आधुनिकता पर आज भी मिट्टी के दीप भारी पड़ रहा है।