मजदूरों को आर्थिक मदद व उद्योगों को पैकज दे सरकार
जागरण संवाददाता बोकारो सीपीआइ सहित सभी वामपंथी पार्टियों ने शनिवार को अपने कार्यालय व
जागरण संवाददाता, बोकारो : सीपीआइ सहित सभी वामपंथी पार्टियों ने शनिवार को अपने कार्यालय व घरों में परिवार के सदस्यों के साथ केंद्र सरकार के खिलाफ धरना दिया। इस दौरान बोकारो इस्पात कामगार यूनियन के महामंत्री पीके पांडेय भी अपने परिवार के साथ धरना पर बैठे थे। उन्होंने कहा कि कोरोना से प्रभावित प्रवासी मजदूर, किसान, विद्यार्थी, गरीब एवं छोटे-मंझोले उद्योग कंगाल हो गए है। ऐसी परिस्थिति केंद्र सरकार को कई आवश्यक कदम उठाने चाहिए।
वक्ताओं ने प्रधानमंत्री से सभी प्रवासी मजदूर एवं विद्यार्थियों को नि:शुल्क ट्रेन से उनके घरों तक पहुंचने, सभी मजदूरों का नि:शुल्क कोरोना टेस्ट कराने, क्वारंटाइन सेंटर में मजदूरों एवं विद्यार्थियों को रहने व खाने की उचित व्यवस्था करने, सभी मजदूरों व किसान को अविलंब 10 हजार रूपए देने, जिनके पास राशनकार्ड हो या न हो सभी को 10 किलो चावल 10 किलो आटा व अन्य राशन सामग्री देने, छोटे और मंझोले व्यवसायियों को एक नीति के तहत राहत पैकेज देने, पेट्रोल एवं डीजल की बढ़ी कीमतों को वापस लेने। पेज चार : माकपा कार्यकर्ताओं ने घरों में दिया धरना
कसमार : शनिवार को कसमार प्रखंड लोकल कमेटी के कार्यकर्ताओं ने लॉकडाउन में धरना देकर केंद्र सरकार की नीतियों का विरोध किया। जिला कमेटी सदस्य शकुर अंसारी ने बताया कि पार्टी की ओर से लॉकडाउन के कारण दूसरे राज्यों में फंसे प्रवासी मजदूरों से घर वापसी के नाम पर किराया लेना बंद करने, घर वापसी को लेकर ट्रेनों की संख्या बढ़ाने, सभी मजदूरों को निश्शुल्क राशन उपलब्ध कराने एवं मजदूरों को 10-10 हजार रुपये सहायता राशि देने की मांग की गई है। शंकर महाराज, जटाधारी सिंह, लालमोहन सिंह, निजाम अंसारी, करीम अंसारी आदि उपस्थित थे।