पूरेआ गांव में खुली 'अपनी सब्जी मंडी'
तहसील पौनी के किसानों को अपने फल और सब्जियां बेचने के लिए अब किसी बिचौलिए की जरूरत नहीं पड़ेगी। किसान अपने उत्पाद को कस्बे से पांच किलोमीटर दूर पंचायत माड़ी के पूरेआ गांव के वार्ड सात में खुली मंडी में बेच सकते हैं। यहां किसानों को उनकी सब्जियों की उचित कीमत मिलेगी और मंडी में बैठने के लिए कोई शुल्क भी नहीं लगेगा।
जुगल मंगोत्रा, पौनी : तहसील पौनी के किसानों को अपने फल और सब्जियां बेचने के लिए अब किसी बिचौलिए की जरूरत नहीं पड़ेगी। किसान अपने उत्पाद को कस्बे से पांच किलोमीटर दूर पंचायत माड़ी के पूरेआ गांव के वार्ड सात में खुली मंडी में बेच सकते हैं। यहां किसानों को उनकी सब्जियों की उचित कीमत मिलेगी और मंडी में बैठने के लिए कोई शुल्क भी नहीं लगेगा।
पुरेआ गांव के वार्ड-सात में खुली सब्जी मंडी का शुभारंभ बुधवार को तहसीलदार पौनी लेखराज व हॉर्टिकल्चर प्लानिंग एंड मार्केटिंग आफिसर उधमपुर अश्वनी कुमार ने किया। इस अवसर पर
हॉर्टिकल्चर प्लानिंग एंड मार्केटिग ऑफिसर अश्वनी कुमार ने कहा कि पौनी में खोली गई सब्जी मंडी का नाम अपनी सब्जी मंडी रखा गया है। इसमें क्षेत्र के किसान अपने खेतों में उगाई हुई सब्जियों की बिक्री करने के लिए इस मंडी में बैठेंगे। इस मंडी से किसानों के साथ ही आम जनता को फायदा होगा। किसान को उनकी सब्जियों की उचित कीमत मिलेगी तो आम लोगों को ऑर्गेनिक खाद से तैयार और ताजा सब्जियां और फल मिलेंगे। उन्होंने कहा कि 'अपनी सब्जी मंडी' में कोई भी किसान सब्जियों के साथ-साथ फलों की भी बिक्री कर सकता है। इसके लिए विभाग उनसे कोई शुल्क नहीं लेगा।
पौनी बाजार से 5 किलोमीटर दूर पुरेआ क्षेत्र में सब्जी मंडी खुलने से कई किसान खुश तो कुछ नाराज भी हैं। कुंड खनेयाडी गांव में रहने वाले किसान थोडू राम व सूरज प्रकाश चंदन का कहना है कि बाजार में चलता फिरता और स्थानीय ग्राहक भी मिल जाता था, लेकिन सब्जी मंडी में उन्हें वाहनों में सवार लोगों के अलावा अन्य ग्राहक का आना संभव नहीं है। उन्होंने कहा उन्हें उम्मीद है कि जितने सब्जी और फल बाजार में बिक्री करने के बाद उन्हें मुनाफा प्राप्त होता था, उतना ही सब्जी मंडी में भी प्राप्त होगा। फिलहाल पहले दिन 'अपनी सब्जी मंडी' में इतनी संख्या में ग्राहक फल व सब्जी विक्रेताओं को नहीं मिले, जितने बाजार में मिलते थे। किसानों को उम्मीद है कि अगर स्थानीय प्रशासन का सहयोग मिलता रहा तो 'अपनी सब्जी मंडी' में भी उन्हें बाजार जैसे ग्राहक मिलेंगे। इस मौके पर डिस्टिक मार्केटिग ऑफिसर गुलाम रसूल नून, जिला मार्केटिग इंस्पेक्टर कमल किशोर के अलावा माडी पंचायत के सरपंच प्रकाश सिंह, खैरालेड पंचायत के सरपंच करुणानिधि, धनुआ पंचायत के सरपंच सूरज प्रकाश रैना, कुंड खनेयाडी पंचायत के सरपंच सूरज प्रकाश, सुदीनी की सरपंच नीलम शर्मा आदि मौजूद थे।
बाजार से सस्ती थीं सब्जी और फल : पहले दिन 'अपनी सब्जी मंडी' में भले ही ग्राहकों की संख्या कम रही, लेकिन बाजार से सब्जी और फल काफी सस्ते दाम पर बिक रहे थे। मंडी में पहले दिन संतरा, किन्नू, बैंगन, गोभी, शलगम, मूली 20 रुपये किलो, गाजर, कडम 30 रुपये किलो, मटर, टमाटर 60 रुपये किलो और केला 60 रुपये दर्जन के हिसाब से मिल रहा था। तहसील पौनी में करीब 40 प्रतिशत किसान ऐसे हैं जो सब्जियों और फलों की पैदावार कर अपने परिवार का भरण पोषण करते हैं। सबसे अधिक सब्जी और फलों की पैदावार कुंड खनेयाडी पंचायत में की जाती है। पौनी क्षेत्र में सब्जी मंडी नहीं होने पर लोग पहले सुंदरबनी या फिर जम्मू क्षेत्र के आसपास के इलाके में तैयार की गई सब्जियां और फल खरीदने पड़ते थे, लेकिन अब पौनी के पुरेआ क्षेत्र में अपनी सब्जी मंडी खुलने के बाद लोगों को स्थानीय किसानों द्वारा ऑर्गेनिक खाद से तैयार सब्जियां और फल खरीदने को मिलेंगे।
अश्वनी कुमार, हॉर्टिकल्चर प्लानिंग एंड मार्केटिग ऑफिसर रियासी, उधमपुर