जैश सरगना मसूद अजहर का भतीजा साथी सहित मारा गया
राज्य ब्यूरो ,श्रीनगर : सुरक्षाबलों ने मंगलवार को एक बड़ी कामयाबी हासिल करते हुए खूंखार आत
राज्य ब्यूरो ,श्रीनगर : सुरक्षाबलों ने मंगलवार को एक बड़ी कामयाबी हासिल करते हुए खूंखार आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मसूद अजहर के भतीजे अबु उस्मान हैदर समेत दो आतंकियों को दक्षिण कश्मीर के त्राल में छह घटे चली भीषण मुठभेड़ में मार गिराया। पाकिस्तान का रहने वाले उस्मान को घाटी में सुरक्षाबलों के लिए नया सिरदर्द बने जैश के स्नाइपर शूटर दस्ते का डिप्टी कमाडर बताया जाता है। मुठभेड़ के दौरान आतंकी ठिकाना बना मकान भी पूरी तरह तबाह हो गया। मारे गए आतंकियों से एक क्षतिग्रसत एम 4 कार्बाइन राइफल और एक अंडर बैरेल ग्रेनेड लाचर युक्त राइफल भी बरामद हुई है। इस दौरान आतंकियों को बचाने के लिए शरारती तत्वों ने जमकर पथराव भी किया, लेकिन सुरक्षाबलों ने घेराबंदी टूटने नहीं दी और आतंकियों की गोलियों का जवाब देने के साथ पथराव कर रही भीड़ पर भी काबू पाया।
पुलिस ने हालाकि मसूद अजहर के भतीजे की मौत की आधिकारिक पुष्टि नहीं की है, लेकिन जैश-ए-मोहम्मद का एक संदेश पकड़ा गया है, जिसमें मसूद अजहर के रिश्तेदार ने उस्मान की मौत का जिक्र करते हुए जल्द ही जम्मू कश्मीर में किसी बड़े सनसनीखेज हमला कार उसकी मौत का बदला लेने की धमकी दी है। उस्मान के साथ मारे गए दूसरे आतंकी का नाम शौकत गनई बताया जाता है और वह दक्षिण कश्मीर का ही रहने वाला है।
आइजीपी कश्मीर एसपी पाणि ने देर रात दैनिक जागरण को बताया कि मारे गए दोनों आतंकियों के शव बुरी तरह जले हुए हैं। उनकी पहचान का पता लगाने का प्रयास किया जा रहा है, लेकिन यह एक बड़ी कामयाबी है, क्योंकि बीते दिनों त्राल और उसके साथ सटे इलाकों में सुरक्षा शिविरों पर जो आतंकियों के स्टैंड ऑफ हमले हुए थे, उनके लिए यही माड्यूल जिम्मेदार था।
आइजीपी ने बताया कि त्राल और नौगाम में बीते दिनों सुरक्षाबलों के शिविरों पर हुए स्टैंड ऑफ अटैक जिनमें स्नाइपर शूटिंग हुई थी, के बाद हमने अपना खुफिया नेटवर्क और मजबूत बनाया। मंगलवार दोपहर को हमें सूचना मिली कि आतंकियों का एक दल त्राल में मंडूरा के पास छन्नकितर गाव में छिपा हुआ है। इसके आधार पर तलाशी अभियान चलाया गया और मुठभेड़ शुरू हो गई।
सूत्रों ने बताया कि तीन आतंकी जिनमें हाडूरा (त्राल) का रहने वाला शौकत गनई, पाजू (त्राल) का फैयाज और पाकिस्तानी आतंकी उस्मान एक ग्रामीण मुम्मा मीर के मकान में छिपे हुए थे। सुरक्षाबलों ने जैसे ही मकान की घेराबंदी कर अंदर छिपे आतंकियों ने फायरिंग शुरू कर दी। जवानों ने भी जवाबी फायर किया। इसके साथ ही शरारती तत्वों ने स्थानीय मस्जिदों से एलान कर लोगों को जमा किया और देखते ही देखते आतंकियों से लड़ रहे सुरक्षाबलों पर पथराव शुरू हो गया। सुरक्षाबलों ने किसी भी तरह से घेराबंदी कमजोर नहीं होने दी। शाम साढ़े चार बजे पहली बार आतंकियों की तरफ से कुछ देर तक फायरिंग बंद रही। इस दौरान मकान के एक हिस्से में आग भी लगी, लेकिन जब सुरक्षाबलों ने आगे बढ़ने का प्रयास किया तो जिंदा बचे आतंकियों ने दोबारा गोली चला दी और मुठभेड़ फिर शुरू हो गई, जो साढ़े सात बजे पूरी तरह समाप्त हुई।
स्थानीय सूत्रों ने तीनों आतंकियों के मारे जाने का दावा किया है, लेकिन आईजीपी कश्मीर ने कहा कि जब तक हमें तीनों आतंकियों के शव नहीं मिलते, हम नहीं कह सकते कि तीन आतंकी मारे गए हैं। अभी आतंकी ठिकाना बने मकान के मलबे की तलाशी पूरी तरह ली जानी है। इसलिए हम तीसरे आतंकी की मौत की संभावना को नहीं नकार सकते। उन्होंने कहा कि हमने मुठभेड़स्थल को पूरी तरह सील करने की कार्रवाई शुरू कर दी है। लोगों को सूचित किया गया है कि वह बम निरोधक दस्ते द्वारा पूरे क्षेत्र को साफ कर सुरक्षित घोषित किए जाने तक वहा न जाएं। मसूद का एक भतीजा पहले भी मारा गया था :
उस्मान से पहले मसूद अजहर का एक अन्य भतीजा तल्हा रशीद छह नवंबर 2017 को पुलवामा जिले के अगलर कंडी इलाके में अपने दो अन्य साथियों संग मारा गया था। वह मार्च 2017 में ही उत्तरी कश्मीर में गुलाम कश्मीर पहुंचा था। करीब चार माह तक वह उत्तरी कश्मीर में सक्रिय रहा था और उसके बाद वह दक्षिण कश्मीर में आ गया था। उसके ठिकाने की निशानदेही करने के बाद उसे मार गिराने का अभियान दो दिनों की कवायद के बाद तैयार किया गया था। तल्हा रशीद के पास से भी पुलिस ने एम 4 कार्बाइन राइफल बरामद की थी।