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समझौतों में उलझा शाहपुर कंडी डेम प्रोजेक्ट

राकेश शर्मा, कठुआ . समझौतों में उलझा शाहपुर कंडी डैम प्रोजेक्ट एक बार चर्चा में ह

By JagranEdited By: Published: Wed, 19 Sep 2018 06:21 PM (IST)Updated: Wed, 19 Sep 2018 06:21 PM (IST)
समझौतों में उलझा शाहपुर कंडी डेम प्रोजेक्ट
समझौतों में उलझा शाहपुर कंडी डेम प्रोजेक्ट

राकेश शर्मा, कठुआ .

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समझौतों में उलझा शाहपुर कंडी डैम प्रोजेक्ट एक बार चर्चा में है। दरअसल पिछले दिनों 8 सितंबर को श्रीनगर में बहुचर्चित एवं बहुप्रतीक्षित प्रोजेक्ट के रुके निर्माण को फिर से शुरू करने के लिए जम्मू कश्मीर के राज्यपाल की उपस्थिति राज्य व पंजाब सरकार के उच्चाधिकारियों के बीच समझौता हुआ है। इसमें दोनों सरकारों ने विगत पांच साल से रुके प्रोजेक्ट का निर्माण शुरू करने पर सहमति जताई है। नए हुए समझौते में पूर्व में हुए समझौते में निर्माण को लेकर जो अड़चने आ रही थीं, उसे दूर करने का दावा किया गया है। इसके चलते अब शाहपुर कंडी डैम का निर्माण शुरू होने की उम्मीद जताई जा रही है।

इसलिए रुकवाया जम्मू-कश्मीर सरकार ने डैम का निर्माण

पंजाब सरकार द्वारा कराए जा रहे करीब 2200 करोड़ के शाहपुर कंडी प्रोजेक्ट का निर्माण जम्मू कश्मीर सरकार ने ही जबरन रुकवा रखा है। हालांकि, उस समय जम्मू कश्मीर सरकार ने उनकी भूमि पर उनकी अनुमति के बिना ही काम जारी रखने पर पंजाब से आपत्ति जताई थी, लेकिन इसके पीछे मुख्य कारण जम्मू कश्मीर को 4 दशक पहले हुए समझौते के अनुसार उसके हिस्से का 1150 क्यूसिक पानी पंजाब द्वारा न देना था। इसी को लेकर जम्मू कश्मीर की पूर्व सरकार ने समझौते पर अमल के लिए दवाब बनाने के लिए काम रुकवा दिया था। बॉक्स

ऐसे बना था पंजाब पर दवाब

पंजाब की समझौते पर अमल न करने की नीति का जवाब देने के लिए पूर्व नेकां-कांग्रेस सरकार ने वर्ष 2011 में सुप्रीम कोर्ट से राय लेकर अपने हिस्से का पानी शाहपुर कंडी डैम से लेने की उम्मीदों को छोड़ कर रंजीत सागर डैम के एक मुहाने से 10 किलोमीटर लंबी भूमिगत नहर बनाने की योजना को अंजाम देने का काम शुरू किया तो इस योजना की भनक लगते ही पंजाब को 40 साल पुराने समझौते पर अमल न करने का खामियाजा भुगतने का अहसास होने लगा और उसने आनन-फानन जम्मू कश्मीर सरकार से बात किए बिना ही शाहपुर कंडी प्रोजेक्ट का निर्माण शुरू कर दिया ताकि जम्मू कश्मीर सरकार को बताया जा सके कि उसके हिस्से का पानी देने के लिए वो शाहपुर कंडी डैम बनवा रहा है। बिना बात किए और बिना अनुमति से पंजाब द्वारा किए जा रहे निर्माण पर राज्य सरकार ने वर्ष 2014 में उनका काम रुकवा दिया तब से पंजाब फिर से निर्माण शुरू करने का राज्य सरकार से आग्रह करता रहा, लेकिन जम्मू कश्मीर सरकार ने पंजाब की न मानते हुए पूर्व समझौते को लागू करने का दवाब बना लिया।

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नए समझौते के बाद भी शुरू नहीं किया काम

गत वर्ष मार्च 2017 में फिर नया समझौता किया और अक्टूबर 2017 में शाहपुर कंडी का निर्माण शुरू करने का दावा किया, लेकिन समझौते में फिर कुछ खामिया बताकर पंजाब ने निर्माण शुरू नहीं किया। अब फिर नए सिरे से समझौता करके पूर्व समझौते में रह गई खामियां दूर करने का दावा कर निर्माण शुरू करने का पंजाब द्वारा दावा किया जा रहा है। इधर जम्मू कश्मीर सरकार भी अब पंजाब द्वारा निर्माण शुरू करने की उम्मीद लगाए बैठी है, लेकिन अभी भी ये पंजाब पर ही निर्भर करेगा कि वो काम कब शुरू कराता है। दरअसल इस बार प्रोजेक्ट पर अब पंजाब को 40 और केंद्र को 60 फीसद खर्च करना है, जबकि पूर्व समझौते में 10 फीसद पंजाब और 90 फीसद केंद्र को खर्च करना था। इससे पंजाब की लागत 30 फीसद बढ़ गई है। जोकि उसे नुकसान हुआ है। इधर अब समझौते के अनुसार पंजाब और राज्य के अधिकारियों के अलावा केंद्र सरकार के प्रतिनिधि भी निर्माण और नियमों का पालन होने पर नजर रखने के लिए नियुक्त रहेंगे। हालांकि, जम्मू कश्मीर सरकार को इसमें एक पैसा भी खर्च नहीं करना है, अब नए समझौते में जितने पानी की जरूरत होगी, उसी के अनुसार वहां बनाए गए हैड से लेगा, बकायदा इसकी निगरानी के लिए वहां दोनों राज्यों के अलावा केंद्र के अधिकारी मानिटरिंग करेंगे।

कोट---

पंजाब जल्द ही प्रोजेक्ट का निर्माण शुरू करेगा। हालांकि, अभी उसने नए सिरे से फिर एक बार डीपीआर तैयार करनी है। नए समझौते में पूर्व समझौते में जो खामियां रह गई थीं, उसे दूर किया गया है। -राजीव गंडोत्रा, चीफ इंजीनियर, रावी तवी इरीगेशन जम्मू


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