बारिश व बर्फबारी ने लोहड़ी त्योहार के उत्साह में डाला खलल
जिले में दो दिनों से हो रही बेमौसमी बारिश व पहाड़ी इलाकों में बर्फबारी ने लोहड़ी के उत्साह में पूरी तरह से खलल डाल दिया है। इसके कारण सामान्य जनजीवन भी पूरी तरह से अस्त व्यस्त रहा। आलम यह था कि सबह से लेकर शाम तक हो रही बारिश ने त्योहार पर विशेष खरीदारी करने के लिए निकलने वाले लोगों के कदम रुक गए। इसके चलते लोगों में लोहड़ी का उत्साह ही खत्म हो गया।
जागरण टीम, कठुआ/बिलावर/बनी: जिले में दो दिनों से हो रही बेमौसमी बारिश व पहाड़ी इलाकों में बर्फबारी ने लोहड़ी के उत्साह में पूरी तरह से खलल डाल दिया है। इसके कारण सामान्य जनजीवन भी पूरी तरह से अस्त व्यस्त रहा। आलम यह था कि सबह से लेकर शाम तक हो रही बारिश ने त्योहार पर विशेष खरीदारी करने के लिए निकलने वाले लोगों के कदम रुक गए। इसके चलते लोगों में लोहड़ी का उत्साह ही खत्म हो गया।
उधर, बनी के गुट्टू, सरथल, छतरगलां व कमलोग गलां में ताजा बर्फबारी होने और मघैर के निकट भूस्खलन होने से बनी-बसोहली सड़क मार्ग एक बार फिर बंद हो गई। इसके कारण लोहड़ी के त्योहार के लिए सामान खरीदने के लिए निकलने वाले लोगों के कदम घरों में ही रुक गए। पहाड़ों पर एक से डेढ़ फुट बर्फबारी होने के बाद पहाड़ सफेद चादर ओढ़ लिया। बर्फबारी के बाद कई गांवों में बिजली सप्लाई भी प्रभावित रही।
मैदानी इलाकों में सुबह से शाम तक मूसलधार बारिश रुकने का नाम नहीं लिया। हालांकि, जरूरी खरीदारी करने वाले इक्का दुक्का लोग दुकानों में भींगते भागते पहुंचे और त्योहार पर मुंगफली, रेवड़ी एवं गजक आदि खरीद कर सीधे घरों को लौट गए। त्योहार को लेकर ग्राहकों के खरीदारी के लिए पहुंचने की उम्मीद दुकानदारों की धरी रह गई। दुकानदारों की उम्मीद के मुताबिक बिक्री नहीं हो पाई। हर कोई बैमौसमी बारिश की अपनी जुबान पर चर्चा करते दिखाई दिए, जिसके चलते शाम होते ही बाजार में सन्नाटा पसर गया।
सार्वजनिक स्थानों पर लोहड़ी पर्व की खुशियां मनाने की बजाय लोगों ने अपने परिवार के साथ ही बैठ कर पारंपरिक तरीके से लोहड़ी मनाई। हालांकि, आधुनिकता की दौड़ में लोहड़ी पर वैसे भी इक्का दुक्का गरीब परिवारों के बच्चों की टोलियां लोहड़ी मांगती दिखती थी, वो भी बारिश के चलते नहीं दिखीं। इसके कारण बारिश से लोहड़ी का पर्व फीका ही रहा। शाम को कुछ युवक लोहड़ी जलाकर इस परंपरा को जरूर निभाते दिखे और एक दूसरों को मुबारकबाद दी। बाक्स-----
बारिश से फिर गिरा तापमान, किसानों की बढ़ी चिता
तीन दिनों तक मौसम साफ रहने पर दिन के तापमान में कुछ बढ़ोतरी होने लगी थी, लेकिन अब फिर बारिश व बर्फबारी से जिले में तापमान गिर गया है। जिले का अधिकतम तापमान 13.5 और न्यूनतम 9.8 डिग्री सेल्सियस रहा, जबकि 22 एमएम बारिश रिकॉर्ड की गई। कल दोपहर के बाद शाम तक मौसम साफ होने का अनुमान वैज्ञानिकों ने लगाया है। इससे ठंड में इजाफा हो गया है। ठिठुरन से बचने के लिए लोग ज्यादा से ज्यादा गर्म कपड़ों का इस्तेमाल करने के अलावा जगह-जगह अलाव जलाकर राहत पाने का प्रयास कर रहे हैं। बार-बार मौसम में आ रहे उतार-चढ़ाव से जहां आम लोग परेशान हैं, वहीं सबसे ज्यादा चिता किसानों की बढ़ रही है। एक तो पहले वाली बासमती की फसल को बारिश ग्रहण लगा चुकी थी, अब रही सही गेहूं की फसल भी बर्बाद करने लगी है। इससे किसानों के लिए दोनों फसल घाटे का सौदा साबित हुई है। सरकार भी किसानों को राहत देने के लिए देरी कर उनकी और चिता बढ़ा रही है, जहां गेहूं बीजा गया था, वहां बारिश से पानी भरने के कारण खराब हो गया है, लेट वैरायटी की फसल बीजने की तैयारियों की उम्मीद भी अब चली जा रही है। स्थानीय किसान राज सिंह का कहना है कि मौसम अब खेती के अनुकूल होने की बजाय कुछ सालों से विपरीत हो चला है।
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ग्रामीण सड़कों पर फिसलन से कम चली वाहन
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संवाद सूत्र, बनी: क्षेत्र की ऊंची पहाड़ियों पर स्थित गांव गुट्टू, सरथल, छतरगलां व कमलोग गलां में ताजा बर्फबारी हुई, जबकि सोमवार सुबह से हो रही मूसलधार बारिश के चलते बनी-बसोहली सड़क मार्ग मघैर के निकट भारी भूस्खलन के चलते फिर बंद हो गई है। इसके कारण मघैर के आगे लोग पैदल चलते दिखाई दिए। भारी बारिश के कारण बनी कस्बे को छोड़कर अधिकांश गांवों में बिजली सप्लाई भी प्रभावित हुई है। इसके अलावा स्थानीय सड़क मार्ग, जिनमें बनी- ढग्गर, बनी- रोलका, बनी- सित्ती शाम तक खुला रहा, लेकिन फिसलन होने के कारण बहुत कम वाहन उक्त मार्ग पर दौड़े। बारिश के कारण कस्बे में रौनक बहुत कम देखी गई। इसके कारण एक तरफ लोगों को मुसीबत का सामना करना पड़ा तो बनी के बहुत से गांवों में 4 से 5 फुट बर्फ जमा थी, वहां बर्फ पिघल गई है।
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बारिश और बर्फबारी ने लोगों की बढ़ाई मुश्किलें
संवाद सहयोगी, बिलावर: सोमवार को एक बार फिर से बारिश ने मैदानी इलाकों में आम जन जीवन को प्रभावित कर दिया है। लोहडी से ठीक पहले हुई ताजा बर्फबारी से ठंड में काफी इजाफा हुआ है। उपजिला की लाहोई मल्हार तहसील के सदरोता, नाठी, लोहाई मल्हार, बांजल भटवाल, देरी गला, डगरी टॉप के अलावा च्येउ, सच्चैर आदि क्षेत्र में एक बार फिर काफी बर्फबारी हुई है। करीब एक से डेढ़ फुट के करीब बर्फबारी होने से पहाड़ो ने सफेद चादर ओेढ़ लिया है। इससे मैदानी इलाकों में ठंड का प्रकोप और तेज हो गया है। ठंड से बचने के लिए लोग दिन भर घरों में ही दुबके रहे या फिर आग का सहारा लेते नजर आये।