निजी व्यापारियों के रेट कम होते ही सरकारी खरीद में आई तेजी
संवाद सहयोगी हीरानगर निजी व्यापारियों द्वारा गेहूं की कीमत घटा देने के बाद सरकारी खरीद मंडियों म
संवाद सहयोगी, हीरानगर: निजी व्यापारियों द्वारा गेहूं की कीमत घटा देने के बाद सरकारी खरीद मंडियों में गेहूं की खरीद का काम तेज हो गया है। हीरानगर सब डिवीजन में सरकार ने मढीन ब्लाक के कूंदा चक तथा बलासा खू में खरीद केंद्र खोली थी।
पहले मंडियों में सरकारी रेट 1975 के रेट से खरीद हो रही थी, जबकि व्यापारी 1800 रुपये प्रति क्विंटल के हिसाब से खेतों से ही गेहूं खरीद रहे थे। इस कारण किसान मंडी आने के बजाए खेतों से ही गेहूं बेच रहे थे, लेकिन अब स्थानीय व्यापारियों ने अब रेट कम कर 1700 कर दिया है। किसानों का कहना है कि अनाज का रेट तय करने की माग को लेकर ही देश के किसान आदोलन कर रहे थे, ताकि व्यापारी अपनी मनमानी नहीं कर सकें। किसान दर्शन लाल, शिव देव सिंह, घनश्याम शर्मा का कहना है कि सरकार को स्थानीय व्यापारियों की मनमानियों पर भी रोक लगानी चाहिए। सरकारी मंडियों में सभी किसान अनाज लेकर नहीं पंहुच सकते। इसी का फायदा व्यापारी उठा लेते हैं। सरकार को इस पर नियंत्रण करना चाहिए। वहीं, कृषि विभाग के मढीन जोन के एईओ विनोद शर्मा का कहना है कि मंडियों में गेहूं की खरीद के लिए सारी व्यवस्था की गई है। अभी तक बलासा खू मंडी में 5370 क्विंटल और कूंदा चक में 9250 क्विंटल गेहूं की खरीद हो चुकी है। किसान अपना अनाज मंडी में बेचना चाहते है तो उन्हें पहले अपना पंजीकरण करवा लेना चाहिए, ताकि मंडी में गेहूं लाते समय उन्हें कोई दिक्कत ना आए। मौसम भी ठीक है।