Move to Jagran APP

सीमावर्ती गांवों में बदहाल हुए सामुदायिक भवन

आम जनता की सुविधा के लिए सेना द्वारा सीमावर्ती क्षेत्र के कुछ गावों में बनवाए गए सामुदायिक भवन देखरेख के अभाव में बदहाल हो चुके हैं। ये लोगों के लिए किसी काम के नहीं रहे।

By JagranEdited By: Published: Tue, 13 Jul 2021 07:41 AM (IST)Updated: Tue, 13 Jul 2021 07:41 AM (IST)
सीमावर्ती गांवों में बदहाल हुए सामुदायिक भवन
सीमावर्ती गांवों में बदहाल हुए सामुदायिक भवन

संवाद सहयोगी, हीरानगर : आम जनता की सुविधा के लिए सेना द्वारा सीमावर्ती क्षेत्र के कुछ गावों में बनवाए गए सामुदायिक भवन देखरेख के अभाव में बदहाल हो चुके हैं। ये लोगों के लिए किसी काम के नहीं रहे। लोगों ने जिला प्रशासन से मांग की है कि इन भवनों की मरम्मत करवा कर या तो यहां कोई प्रशिक्षण केंद्र खोल दिया जाए या फिर अन्य विभागों के क्षेत्रीय कार्यालय बना दिए जाएं।

loksabha election banner

सेना ने सीमावर्ती क्षेत्र के लोगों की सुविधा के लिए आपरेशन सद्भावना के तहत गंगू चक, चक भगवा माडयाल, सदवाल, जराईं आदि विभिन्न गावों में 2005 में सामुदायिक भवन बनाया था। कुछ में कंप्यूटर व सिलाई-कढ़ाई सेंटर खोले थे। इन भवनों का किसी भी विभाग ने या पंचायतों ने देखरेख नहीं की। इस वजह से यह भवन अब जर्जर हालत में पहुंच चुका है। वहां के उपकरण, फर्नीचर आदि भी टूट चुका है। क्षेत्र निवासी लाजू राम, मनोहर लाल, सरदारी लाल, बनारसी दास, सतपाल आदि का कहना है कि इन भवनों में खोले गए प्रशिक्षण केंद्रों में शुरू में युवा सिलाई-कढ़ाई और कंप्यूटर का प्रशिक्षण लेते थे। उसके बाद सिविल प्रशासन के किसी भी विभाग ने इनकी देखरेख नहीं की। इस कारण लाखों रुपए की लागत से बने भवन किसी काम नहीं आ रहे। उन्होंने कहा कि अब पंचायतों का गठन हो चुका है। इनकी देखरेख की जिम्मेदारी पंचायत प्रतिनिधियों को सौंपनी चाहिए ताकि इनकी मरम्मत करवा कर वहा फिर से सिलाई-कढ़ाई सेंटर खोले जा सकें। ग्रामीणों का कहना है कि सीमावर्ती विकास योजना के तहत हर साल प्रशासन स्किल डेवलपमेंट प्रोग्राम के तहत सीमावर्ती युवाओं को प्रशिक्षण दिलवाता है। इसके लिए उन्हें कठुआ या हीरानगर जाना पड़ता है। योजना के तहत इन्हीं भवनों में प्रशिक्षण केंद्र खोले जाने चाहिए।

डीडीसी अभिनंदन शर्मा का कहना है कि लोगों की माग जायज है। इस बारे में वह डिवीजनल कमिश्नर से बात करेंगे।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.