Move to Jagran APP

कश्मीर में पर्यटकों की आवाजाही पर नहीं होगी कोई रोक, पर कोविड-19 प्रोटोकाल का करना होगा पालन

सभी जिला उपायुक्तों और पुलिस अधिकारियों को कहा गया है कि वह पर्यटकों की आवाजाही को व्यवस्थित बनाएं उन्हें राेकें नहीं। वादी में पर्यटकों की आमद पिछले कुछ महीनों से लगातार बढ़ रही थी। नवंबर-दिसंबर 2021 के दौरान कश्मीर में करीब अढ़ाई लाख पर्यटक आए थे।

By Lokesh Chandra MishraEdited By: Published: Sun, 16 Jan 2022 07:05 PM (IST)Updated: Sun, 16 Jan 2022 07:05 PM (IST)
कश्मीर में पर्यटकों की आवाजाही पर नहीं होगी कोई रोक, पर कोविड-19 प्रोटोकाल का करना होगा पालन
गुलमर्ग में जनवरी के अंत तक लगभग सभी होटलों में अग्रिम बुकिंग हो चुकी थी।

श्रीनगर, राज्य ब्यूरो : वीकेंड लाकडाउन से कहीं कश्मीर की मेहमान नवाजी की परंपरा को नुक्सान न पहुंचे और देश भर से आए सैलानियों को अनावश्यक परेशानी न झेलनी पड़े, इसके लिए उनकी आवाजाही पर किसी प्रकार की रोक नहीं होगी। बशर्ते वह कोविड-19 प्रोटोकाल का पूरा ध्यान रखें। सभी जिला उपायुक्तों और पुलिस अधिकारियों को कहा गया है कि वह पर्यटकों की आवाजाही को व्यवस्थित बनाएं, उन्हें राेकें नहीं। वादी में पर्यटकों की आमद पिछले कुछ महीनों से लगातार बढ़ रही थी। नवंबर-दिसंबर 2021 के दौरान कश्मीर में करीब अढ़ाई लाख पर्यटक आए थे।

loksabha election banner

गुलमर्ग में जनवरी के अंत तक लगभग सभी होटलों में अग्रिम बुकिंग हो चुकी थी। कोरोना संक्रमण के मामलों में बीते एक पखवाड़े के दौरान लगातार बढोतरी हो रही है। बीते 10 दिनों में प्रदेश में कोरोना संक्रमितों की संख्या में 10 गुणा बढ़ाेत्तरी हुई है। ओमिक्रान के करीब दो दर्जन मामलाें की पुष्टि हुई है। स्थिति को देखते हुए प्रदेश सरकार ने रात्रिकालीन कर्फ्यू लागू करने के अलावा वीकेंड लाकडाउन का सहारा लिया है। इसका असर पर्यटन क्षेत्र पर भी हुआ है। कश्मीर होटल एंड रेस्टारेंट आनर्स फेडरेशन के अध्यक्ष अब्दुल वाहिद मलिक ने कहा कि अभी पर्यटन ने जोर पकड़ा था और कोरोना का संकट फिर शुरू हो गया है। लगभग 30 प्रतिशत बुकिंग रद हुई है।

लाकडाउन के नाम पर पर्यटक न हो परेशान : अब्दुल वाहिद मलिक ने कहा कि बुकिंग रद होने से अंदाजा लगा सकते हैं कि क्या असर हुआ है। जो पर्यटक आ चुके हैं, या जिन्होंने अाने का कार्यक्रम बनाया है, उन्हें किसी प्रकार की दिक्कत नहीं होनी चाहिए। उन्होंने लाकडाउन के नाम पर परेशान नहीं किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि पर्यटकों का एक दल गत रोज पहलगाम गया था, सभी को कोरोना वैक्सीन लगी हुई थी। वह कोई नियम नहीं तोड़ रहे थे, रास्ते में कई जगह पुलिसकर्मियों ने उनकी गाड़ी रोकी और लाकडाउन का हवाला देते हुए उन्हें आगे नहीं जाने से रोका। ऐसा नहीं होना चाहिए। यह पर्यटन क्षेत्र के लिए बुरा है और कश्मीरियों की मेहमानवाजी की परंपरा को भी नुकसान पहुंचता है।

संबंधित अधिकारियों को पर्यटन निदेशक ने लिखा पत्र : पर्यटन निदेशक कश्मीर जीएन इट्टू ने कहा कि लाकडाउन का फैसला लिए जाने से पूर्व पर्यटन क्षेत्र की चिंताओं का भी संज्ञान लिया गया है। इसलिए किसी होटल को बंद नहीं किया गया। पर्यटकों की आवाजाही पर किसी तरह की रोक नहीं है। हमारे संज्ञान में भी कुछ लोगों ने लाया कि पर्यटकों काे लाकडाउन के कारण परेशान किया गया है। इसलिए हमने मंडलायुक्त कश्मीर को एक पत्र लिखकर इस संदर्भ में सभी संबंधित अधिकारियों को सचेत करने के लिए कहा है। पर्यटकों की आवाजाही को न रोका जाए। उन्होंने कहा कि जो पर्यटक कश्मीर आ चुके हैं या जिनकी अग्रिम बुकिंग हैं, उन्हें कोई परेशान नहीं करे। हमने सभी पर्यटनस्थलों पर पर्यटकों की कोरोना जांच की भी व्यवस्था की है। साप्ताहिक लाकडाउन सिर्फ अनावश्यक भीड़ रोकने और कोरोना के प्रसार को रोकने के लिए है।

प्रोटोकाल का अनुपालन करने वालों को परेशानी नहीं : मंडलायुक्त कश्मीर पीके पोले के अनुसार, कोविड-19 प्रोटोकाल का अनुपालन करने वालों को किसी प्रकार की मुश्किल नहीं है। यह वीकेंड लाकडाउन है और इसमें सिर्फ अनावश्यक आवाजाही पर रोक है। भीड़ जमा करने पर रोक है। इसलिए पर्यटकों को जिन्हें दोनों वैक्सीन लग चुकी हैं, जो सभी निर्धारित नियमों का पालन करते हैं, जिनकी बुकिंग हैं, उन्हें नहीं रोका जा रहा है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.