जम्मू-कश्मीर: रेल यातायात पर दिखने लगा कोरोना महामारी का साया, करीब 30 फीसदी तक टिकट आरक्षण में आई गिरावट
जम्मू रेलवे स्टेशन पर रोजाना करीब 2000 टिकट बिक जाती थी जो अब 1400 से 1500 तक रह गई है। टिकट की बुकिंग कम होने से रेलवे के राजस्व में भी गिरावट आई है जिसका नुकसान रेलवे को उठाना पड़ रहा है।
जम्मू,जागरण संवाददाता। महामारी का असर एक बार फिर से रेल यातायात पर दिखने लगा है। देश के विभिन्न हिस्सों से जम्मू आने और यहां से रवाना होने वाली रेलगाड़ियों में सफर करने वाले यात्रियों की संख्या में काफी गिरावट दर्ज की जा रही है। जम्मू रेलवे स्टेशन में बने टिकट आरक्षण केन्द्र में टिकटों की बुकिंग में करीब 30 प्रतिशत की गिरावट आ चुकी है।
जम्मू रेलवे स्टेशन पर रोजाना करीब 2000 टिकट बिक जाती थी, जो अब 1400 से 1500 तक रह गई है। टिकट की बुकिंग कम होने से रेलवे के राजस्व में भी गिरावट आई है, जिसका नुकसान रेलवे को उठाना पड़ रहा है। यात्रियाें की घटती संख्या के बावजूद रेलवे ने जम्मू से चलने वाली रेलगाड़ियों में किसी प्रकार की कटौती करने का फैसला नहीं किया है। आने वाले दिनों में यदि यात्रियों की संख्या इस प्रकार से कम होती रही तो रेलवे कुछ विशेष रेलगाड़ियों को रद करने का फैसला ले सकता है। वहीं, दूसरी ओर सर्दी के कारण भी लोग सफर कम कर रहे हैं। जिससे यात्रियों की संख्या में कमी आई है। देश विदेश से लाखों की संख्या में श्रद्धालु रोजाना रेलगाड़ियों में जम्मू व कटड़ा रेलवे स्टेशन में पहुंचते है, लेकिन अब श्रद्धालुओं की संख्या में कमी आने के कारण भी यात्रियों की संख्या पर असर पड़ा है।
यात्रियों को आसानी से मिल रहा आरक्षण
जम्मू से दिल्ली के बीच पूरे वर्ष भर रेलगाड़ियों में सफर करने वाले यात्रियों में आरक्षण के लिए मारामारी रहती है। कई बार तो आरक्षित टिकट के लिए महीने से अधिक की प्रतीक्षा सूची रहती है, लेकिन मौजूदा समय में यात्रियों को सफर से एक या दो दिन पूर्व ही आरक्षण उपलब्ध हो रहा है।
जनवरी माह में रेल यात्रियों की संख्या कम रहती है
स्टेशन डायरेक्टर जम्मू महेश यादव ने माना कि कोरोना कॉल के चलते यात्रियों की संख्या में कमी आई। अलबत्ता उन्होंने यह भी कहा कि अकसर वर्ष के जनवरी और फरवरी महीने में बर्फबारी के दौरान जम्मू में यात्रियों की संख्या कम होती है। कोहरे के चलते भी रेल यात्रियों की संख्या में गिरावट आती है। फिलहाल किसी भी रेल गाड़ी को रद करने का आदेश उनके पास नहीं पहुंचा है।