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Jammu Tawi: पश्चिम में शहर सीवरेज से जुड़ा, पूरब जुड़े तो निर्मल हो जाए तवी की जलधारा

अरबन इंवायरंमेंट इंजीनियङ्क्षरग डिपार्टमेंट (यूईईडी) अब शहर के बाहरी क्षेत्र बेलीचराना में एसटीपी बना रहा है। इस एसटीपी के बनने से गांधीनगर विधानसभा के विभिन्न क्षेत्रों को सीवरेज से जोड़ा जा सकेगा। बाग-ए-बाहु में इसी कड़ी में सीवरेज की पाइप डालने की प्रक्रिया शुरू भी कर दी गई है।

By Rahul SharmaEdited By: Published: Thu, 21 Jan 2021 09:37 AM (IST)Updated: Thu, 21 Jan 2021 09:37 AM (IST)
Jammu Tawi: पश्चिम में शहर सीवरेज से जुड़ा, पूरब जुड़े तो निर्मल हो जाए तवी की जलधारा
तवी में बने 30 मिलियन लीटर प्रतिदिन सीवरेज के ड्रेन होने से तवी को काफी राहत मिली है।

जम्मू, अंचल सिंह: शहर की जीवनदायिनी सूर्यपुत्री तवी नदी के संरक्षण में सीवरेज व्यवस्था अहम भूमिका निभा रही है। फिलहाल जम्मू शहर के पश्चिम विधानसभा क्षेत्र में ही सीवरेज व्यवस्था बन पाई है। जम्मू पूर्व और गांधीनगर विधानसभा क्षेत्रों में अभी सीवरेज नहीं होने के चलते मुहल्लों की गंदगी नालों से होते हुए तवी नदी को प्रदूषित कर रही है। उम्मीद जताई जा रही है कि जल्द ही पुराने शहर यानी जम्मू पूर्व और गांधीनगर के बाहूफोर्ट क्षेत्र में सीवरेज प्रोजेक्ट काम करने लगेगा।

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जम्मू पश्चिम में इकोनॉमिक रिकंस्ट्रक्शन एजेंसी (ईरा) ने सीवरेज का काम पूरा कर दिया है। हालांकि कुछ मुहल्ले अभी भी शेष हैं, जहां घरों के कनेक्शन सीवरेज से नहीं जुड़ पाए हैं। अगस्त 2016 में तत्कालीन मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने जम्मू पश्चिम सीवरेज प्रोजेक्ट का उद्घाटन किया था, जबकि 5 दिसंबर 2005 को तत्कालीन मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने इसका नींव पत्थर रखा था। इसके लिए भगवती नगर में 30 मिलियन लीटर प्रतिदिन क्षमता वाला एसटीपी बनाया गया है, जबकि इससे पहले भी यहां दो एसटीपी थे क्योंकि तालाब तिल्लो क्षेत्र में पहले ही अरबन इंवायरंमेंट इंजीनियङ्क्षरग डिपार्टमेंट ने सीवरेज प्लांट शुरू किया हुआ था।

कुल मिलाकर जम्मू पश्चिम के अधिकतर क्षेत्र सीवरेज से जुड़ चुके हैं। वहीं जम्मू पूर्व में नेशनल बिङ्क्षल्डग कंस्ट्रक्शन कंपनी सीवरेज के काम में जुटी हुई है। तवी में बने 30 मिलियन लीटर प्रतिदिन सीवरेज के ड्रेन होने से तवी को काफी राहत मिली है।

यूईईडी का एसटीपी नहीं कर रहा काम: भगवती नगर में तीन कंपनियों ने सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) बनाए हुए हैं। इनमें सबसे पुराना यूईईडी का एसटीपी है जो करीब बीस वर्ष पहले बनाया गया। 10 एमएलडी का यह एसटीपी कुछ साल से काम नहीं कर रहा। लिहाजा यहां ईरा और एनबीसीसी द्वारा बनाए गए एसटीपी में इसकी ड्रेनेज डाल कर काम चलाया जा रहा है। इस एसटीपी के बंद होने के चलते तालाब तिल्लो व आसपास के क्षेत्रों में सीवरेज की समस्या बनी रहती है। इस सीवरेज से तालाब तल्लो, महेंद्र नगर, कृष्णा नगर, विकास लेन, रून नगर, गोल पुली, गोल पंजपीर, गोल गुजराल व आसपास के क्षेत्र जुड़े हुए हैं। इस एसटीपी को शुरू करने की मांग स्थानीय कॉरपोरेटर व लोग कर रहे हैं।

बेलीचराना में बन रहे एसटीपी से मिलेगी राहत: अरबन इंवायरंमेंट इंजीनियङ्क्षरग डिपार्टमेंट (यूईईडी) अब शहर के बाहरी क्षेत्र बेलीचराना में एसटीपी बना रहा है। इस एसटीपी के बनने से गांधीनगर विधानसभा के विभिन्न क्षेत्रों को सीवरेज से जोड़ा जा सकेगा। बाग-ए-बाहु में इसी कड़ी में सीवरेज की पाइप डालने की प्रक्रिया शुरू भी कर दी गई है। इसके अलावा नरवाल क्षेत्र में भी सीवरेज की पाइपें डालने की प्रक्रिया में विभाग जुटा हुआ है। इसके बनने से तवी में गंदगी नहीं जाएगी और इसका संरक्षण होगा। वहीं जम्मू पूर्व में एनबीसीसी सीवरेज प्रक्रिया में जुटी हुई है। तवी में सीवरेज और नालों के जरिये ही गंदगी पहुंचती है। जब यह प्रोजेक्ट पूरे हो जाएंगे तो सूर्यपुत्री संरक्षित होगी।

तवी की स्वच्छता के लिए उठा रहे प्रभावी कदम: मेयर

मेयर चंद्रमोहन गुप्ता का कहना है कि जम्मू पश्चिम में सीवरेज काम कर रहा है। जम्मू पूर्व और गांधीनगर में भी सीवरेज डालने की प्रक्रिया जारी है। कुछेक सालों में यह सीवरेज भी काम करने लगेंगे। इसके अलावा हमने सभी नालों को तवी में जाने से रोकते हुए इन्हें सीवरेज से मिलाने का प्रोजेक्ट तैयार किया है। प्रोजेक्ट्स पर काम शुरू कर दिया गया है। धीरे-धीरे इनका असर दिखना शुरू हो जाएगा। आने वाले एक-दो साल में तवी नदी अपने वास्तविक रूप में दिखने लगेगी। और भी कई प्रोजेक्ट तवी के संरक्षण के लिए विभिन्न विभागों द्वारा प्रस्तावित हैं। 


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