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Ladakh: माइन्स तापमान में भी आंगनबानी कार्यकर्ता मातृ वंदना योजना की जानकारी घर-घर पहुंचा रहीं

इस योजना के तहत गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिला व माताओं को 6000 रूपये की आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है। यह सहायता राशि सीधे उनके खाते में जाती है।

By Rahul SharmaEdited By: Published: Tue, 03 Dec 2019 01:22 PM (IST)Updated: Tue, 03 Dec 2019 01:22 PM (IST)
Ladakh: माइन्स तापमान में भी आंगनबानी कार्यकर्ता मातृ वंदना योजना की जानकारी घर-घर पहुंचा रहीं
Ladakh: माइन्स तापमान में भी आंगनबानी कार्यकर्ता मातृ वंदना योजना की जानकारी घर-घर पहुंचा रहीं

लेह, जेएनएन। बर्फीले रेगिस्तान लद्दाख के कारगिल में गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिलाओं को केंद्र प्रायोजित कल्याणकारी योजना प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना के प्रति जागरूक करने के लिए अभियान की शुरूआत हुई। माइन्स 14.4 तापमान में जहां घरों से निकलना भी नामुमकिन है, ऐसे हालात में ताई सुरू में आंगनबाड़ी सेंटर चला रही महिला कर्मियों ने न सिर्फ अभियान में भाग लिया बल्कि लोगों को घर-घर जाकर योजना के बारे में जानकारी भी दी। इस जागरूकता अभियान की शुरूआत ताई सुरू की सीडीपीओ प्रवीण अख्तर ने की।

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प्रवीण अख्तर ने इस अभियान की जानकारी देते हुए बताया कि कारगिल में यह अभियान आठ दिसंबर तक चलेगा। केंद्र सरकार द्वारा इस योजना को लागू करने का मुख्य मकसद गर्भावस्था, प्रसव और स्तनपान के दौरान महिलाओं को जागरूक करना, जच्चा-बच्चा देखभाल और संस्थागत सेवा के उपयोग को बढ़ावा देना है। यही नहीं आंगनबाड़ी महिला कर्मी महिलाओं को पहले छह महीनों के लिए प्रारंभिक, विशेष स्तनपान और पोषण प्रथाओं का पालन करने के लिए भी प्रोत्साहित कर रही हैं। इस योजना के तहत गर्भवती और स्तनपान कराने वाली माताओं को बेहतर स्वास्थ्य और पोषण के लिए नकद प्रोत्साहन भी प्रदान किया जाएगा।

ये महिला कार्यकर्ता ग्राम सभा, शहरी स्थानीय निकायों की बैठकें कर उन्हें इस योजना के बारे में जानकारी दे रही हैं। यही नहीं लाभार्थियों का नाम भी दर्ज किया जा रहा है। विभाग का पूरा प्रयास रहेगा कि सभी लाभार्थियों तक इसका लाभ पहुंचे। जरूरत पड़ी तो इस अभियान के समापन के बाद बैकलॉग क्लीयरेंस ड्राइव भी चलाया जाएगा। उन्होंने आम जनता से भी अपील की कि योजना का लाभ लेने के लिए वे स्वयं को नजदीक आंगनवाड़ी केंद्र में रजिस्टर करवाएं।

उन्होंने बताया कि इस योजना के तहत गर्भवती और स्तनपान कराने वाली महिला व माताओं को 6000 रूपये की आर्थिक सहायता प्रदान की जाती है। यह सहायता राशि सीधे उनके खाते में जाती है। पहली किश्त 1000 रूपये की होती है जो कि गर्भावस्था के दौरान पंजीकरण के समय प्रदान की जाती है। दूसरी किश्त गर्भावस्था के 6 महीने बाद और प्रसव के पहले दी जाती है। लाभार्थी को उस दौरान 2000 रूपये मिलते हैं। तीसरी किश्त बच्चे के जन्म और उसके पंजीकरण तथा तमाम टीकाकरण के प्रथम चक्र पूरा होने पर मिलती है। इसके तहत लाभार्थी को 2000 रूपये दिए जाते हैं। इसके अलावा 1000 रूपये का अतिरिक्त लाभ जननी सुरक्षा योजना के तहत महिला को प्रसव के ही दौरान दे दिया जाता है।

प्रदान किए गए नकद प्रोत्साहन से गर्भवती महिलाओं और स्तनपान कराने वाली माताओं को अपना बेहतर स्वास्थ्य रखने में मदद मिलती है। अभियान के दौरान ताई सूरू के लोगों ने सरकार की योजनाओं के बारे में लोगों को जागरूक करने और लोगों को इन योजनाओं से लाभ उठाने में मदद करने के लिए सीडीपीओ ताई सुरू प्रवीण अख्तर द्वारा निभाई गई भूमिका की सराहना की।


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