Kashmir: आगरा जेल में बंद युवक को रिहा करने के आदेश, पीएसए के तहत किया था गिरफ्तार
जज ने दोनों पक्षों की बहसबाजी सुनने के बाद युवक पर लगाए गए पीएसए को हटाकर उसे तुरंत रिहा करने के निर्देश दिए। उन्होंने सरकार को आदेश दिए कि वह जल्द से जल्द इस फैसले पर अमल करें।
जम्मू, जेएनएन। जम्मू-कश्मीर हाई कोर्ट ने प्रदेश प्रशासन को उत्तर प्रदेश की आगरा जेल में बंद किए गए कश्मीर युवक को तुरंत रिहा करने के निर्देश दिए हैं। जस्टिस रबिस्तान ने सोमवार को पीएसए के तहत आगरा जेल में बंद किए गए बांडीपुरा युवक मुदसर अहमद वानी पुत्र स्वर्गीय गुलाम अहमद के मामले की सुनवाई के बाद यह आदेश दिया।
मुदसर की आेर से कोर्ट में पेश हुए उनके वकील बशीर अहमद टाक ने कोर्ट को बताया कि पेशे से आटो ड्राइवर मुदसर को 6 अगस्त को पुलिस ने अनुच्छेद 370 हटाने के बाद ही हिरासत में ले लिया। युवक के परिजन कई बार पुलिस से उसे हिरासत में लेने के बारे में पूछते रहे परंतु कोई जवाब नहीं दिया गया। उसे भी पुलिस यह नहीं बताया गया कि उस पर यह कार्रवाई क्यों हो रही है। पुलिस ने उस पर पत्थरबाजी का मामला दर्ज करते हुए उस पर पीएसए लगाकर आगरा जेल शिफ्ट कर दिया।
पिछले सात महीनों से भी अधिक समय से पीड़ित युवक व उसके परिजन इंसाफ के लिए दरबदर हो रहे हैं। जज दोनों पक्षों की बहसबाजी सुनने के बाद युवक पर लगाए गए पीएसए को हटाकर उसे तुरंत रिहा करने के निर्देश दिए। उन्होंने सरकार को आदेश दिए कि वह जल्द से जल्द इस फैसले पर अमल करें।