जम्मू बंद का समर्थन करने पर फरमान जारी
जागरण संवाददाता, जम्मू : चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के जम्मू बंद का बहिष्कार करने के
जागरण संवाददाता, जम्मू : चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के जम्मू बंद का बहिष्कार करने के फैसले को दरकिनार कर बंद का समर्थन करने पर चैंबर ने फरमान जारी किया है।
चैंबर ने कहा है कि जो कोई चैंबर हितों के खिलाफ गतिविधियों में संलिप्त पाया गया, उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। चैंबर ने 11 सदस्यीय अनुशासनात्मक कमेटी का गठन किया है। भविष्य में चैंबर का कोई भी सदस्य चैंबर विरोधी गतिविधियों में संलिप्त पाया गया तो उसे नोटिस जारी किया जाएगा। कमेटी की जांच में आरोप साबित होने पर सदस्य की चैंबर से सदस्यता खारिज की जा सकती है। चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री जम्मू की ओर से पिछले दिनों चैंबर हाउस में बैठक बुलाई गई थी। बैठक में जम्मू के सभी बाजार संगठनों के प्रतिनिधियों को आमंत्रित किया गया था। सूत्रों की मानें तो बैठक में चैंबर प्रधान राकेश गुप्ता ने साफ कहा कि चैंबर की छवि को खराब होने नहीं दिया जाएगा। कुछ लोग चैंबर के खिलाफ कार्य कर रहे हैं, जो उद्योग व व्यापार के लिए उचित नहीं है। चैंबर व्यापार व उद्योग जगत का सर्वोच्च संगठन है। लिहाजा इसके सदस्यों को चैंबर संविधान का पालन करना होगा।
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सचिव कर चुके हैं बगावत
जम्मू बंद के मुद्दे पर चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री जम्मू के सचिव गौरव गुप्ता पहले ही बगावत कर चुके हैं। चैंबर ने 11 अप्रैल के बंद का जब समर्थन नहीं किया था, तब सचिव गौरव गुप्ता ने सोशल मीडिया पर वीडियो जारी कर चैंबर के फैसले पर एतराज जताया। चैंबर का पदाधिकारी होने के बावजूद उन्होंने निजी स्तर पर जम्मू बंद के आह्वान को सही ठहराते हुए बंद का समर्थन किया था।
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महासचिव को जारी
हो चुका है नोटिस
चैंबर के विरुद्ध सिविल सोसायटी की बैठक में मौजूद रहने के लिए चैंबर के महासचिव को पहले ही नोटिस जारी हो चुका है। पिछले वर्ष अक्टूबर में लखनपुर टोल टैक्स और जम्मू के अन्य मुद्दों को लेकर सिविल सोसायटी ने आंदोलन छेड़ा था। इसके चलते चैंबर ऑफ ट्रेडर्स फेडरेशन ने छह नवंबर 2017 को जम्मू बंद का आह्वान किया था। चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री जम्मू इस बंद से अलग रहा था, लेकिन चैंबर के महासचिव मनीष गुप्ता ने सिविल सोसायटी की बैठकों में हिस्सा लिया, जिस कारण उन्हें 26 अक्टूबर 2017 को नोटिस जारी किया गया।