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1971 Indo-Pak War : 1971 के शहीदों की याद में श्रीनगर में 17 जनवरी को प्रस्तुति देगा सेना का शौर्य बैंड

डिवीजन ने प्रदेश के दूरदराज इलाकों में छिपी प्रतिभा को तलाशने के साथ उसे अपने कला को सामने लाने के लिए भी एक मंच भी उपलब्ध करवाया। डिवीजन के अधिकारियों को रीमा देवी की पहचान कर उसकी प्रतिभा को निखारने के लिए भी काम किया।

By Rahul SharmaEdited By: Published: Thu, 14 Jan 2021 01:24 PM (IST)Updated: Thu, 14 Jan 2021 01:24 PM (IST)
1971 Indo-Pak War : 1971 के शहीदों की याद में श्रीनगर में 17 जनवरी को प्रस्तुति देगा सेना का शौर्य बैंड
कलाकारों में गायक अनीस युूसूफ, रबाब वादक अदनान, गिटार वादक आसिफ, संतूर वादक उमर, कीबोर्ड प्लेयर मंसूर मुश्ताक शामिल हैं।

जम्मू, राज्य ब्यूरो: सेना के टेलेंट हंट में चुने गए जम्मू कश्मीर के 10 युवा कलाकर वर्ष 1971 के युद्ध की गोल्डन जुबली के उपलक्ष्य में श्रीनगर के शेर-ए-कश्मीर इंटरनेशनल कन्वेंशन सेंटर में 17 जनवरी को शहीदों की याद में होने जा रहे कार्यक्रम, शौर्य में प्रस्तुति देंगे।

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सेना द्वारा बनाए गए दस कलाकारों के इस बैंड की इकलौती लड़की रीमा देवी नगरोटा के जिन्द्राह गांव की रहने वाली है। उन्होंने सेना की टेलेंट प्रतियोगिता में गायक के रूप में हिस्सा लिया था व वह चुनी गई। सेना के शौर्य बैंड में चुने गए अन्य दस प्रतिभागियों में रीमा देवी के साथ जम्मू के गायक रघुजीत सिंह, ड्रमर राजेन्द्र कुमार, वायलन वादक शुभाहित गुप्ता व ढोलक वादक राहुल कुमार शामिल हैं। वहीं दूसरी ओर कश्मीर से चुने गए कलाकारों में गायक अनीस युूसूफ, रबाब वादक अदनान मंसूर, गिटार वादक आसिफ फेयाज, संतूर वादक उमर मजीद, कीबोर्ड प्लेयर मंसूर मुश्ताक शामिल हैं।

युवाओं में टेलेंट की पहचान करने के लिए सेना का चार दिवसीय टेलेंट हंट 7 से 11 जनवरी तक श्रीनगर के शेर-ए-कश्मीर इंटरनेशनल कन्वेंशन सेंटर व जम्मू के रेडिसन ब्लू होटल में चला था। इस टेलेंट हंट में 350 कलाकारों ने हिस्सा लिया व उनमें से 10 शौर्य बैंड के लिए चुने गए। सेना वर्ष 2021 को 1971 के युद्ध की गोल्डन जुबली के रूप में मनाते हुए कई प्रकार के कार्यक्रमों का आयोजन कर रही है।

सेना की सोलह कोर की क्रासड स्वार्डस डिवीजन ने इस टेलेंट हंट को कामयाब बनाने में सराहनीय भूमिका निभाई। डिवीजन ने प्रदेश के दूरदराज इलाकों में छिपी प्रतिभा को तलाशने के साथ उसे अपने कला को सामने लाने के लिए भी एक मंच भी उपलब्ध करवाया। डिवीजन के अधिकारियों को रीमा देवी की पहचान कर उसकी प्रतिभा को निखारने के लिए भी काम किया। 


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