Move to Jagran APP

जान पर भारी सस्ती शराब

अवैध तरीके से शराब बनाना और बेचना कानूनन जुर्म है। लेकिन कई लोग सस्ती शराब के चक्कर में जान से खिलवाड़ कर रहे हैं।

By JagranEdited By: Published: Thu, 20 Jan 2022 09:43 PM (IST)Updated: Thu, 20 Jan 2022 09:43 PM (IST)
जान पर भारी सस्ती शराब
जान पर भारी सस्ती शराब

अनिल ठाकुर, शिमला

prime article banner

अवैध तरीके से शराब बनाना और बेचना कानूनन जुर्म है। इसको लेकर जुर्माने के साथ सख्त सजा का भी प्रविधान है। बेचने वाले और खरीदने वाले दोनों ही इससे वाकिफ हैं, बावजूद इसके सस्ती शराब के चक्कर में लोग अपनी जान से खिलवाड़ कर बैठते हैं। वहीं माफिया चंद रुपयों की खातिर नियम और कानूनों को ठेंगा दिखाकर लोगों की जिदगी से खिलवाड़ कर रहा है। हाल ही में मंडी जिले की सलापड़ व कांगू पंचायत में जहरीली शराब पीने से सात लोगों की मौत हुई है। शिमला जिले में शराब के ठेकों के अलावा अवैध रूप से शराब बिकती है। यह कारोबार साल दर साल बढ़ता ही जा रहा है। हालांकि पुलिस का दावा है कि सख्ती बढ़ने के बाद ज्यादा मामले सामने आए हैं। सख्त कानून के बावजूद पुलिस और आबकारी एवं कराधान विभाग इन पर अंकुश नहीं लगा पा रहे हैं। शिमला जिले के ऊपरी क्षेत्रों में तो कई स्थानों पर कच्ची शराब भी बनाई जाती है। अवैध शराब से राजस्व व जान से होता है खिलवाड़

अवैध रूप से शराब बनाने और बेचने से जहां राजस्व को नुकसान होता है, वहीं लोग अपनी जान से भी खिलवाड़ करते हैं। पुलिस ने वर्ष 2021 में अवैध रूप से शराब बेचने के मामले में 253 मामले दर्ज कर 256 लोगों को गिरफ्तार भी किया है। कहीं ढाबे तो कहीं गाड़ियों से पकड़ी शराब

पुलिस ने अवैध रूप से जो शराब पकड़ी है उनमें कई मामले ऐसे हैं जहां शराब ढाबों में बेची जा रही थी। अवैध रूप से ही यह धंधा चल रहा था। कहीं पर चाय की दुकान तो कहीं पर गाड़ियों से इसकी सप्लाई हो रही थी। पुलिस ने गुप्त सूचना के आधार पर इसका पर्दाफाश किया है। दो तरह से चलता है धंधा

अवैध शराब का कारोबार दो तरह से होता है। एक अवैध रूप से शराब बनाना। लोग घर व जंगल में ही अवैध रूप से शराब बनाते हैं। कई स्थानों पर इस शराब को बेचा भी जाता है। जहां पर लेबर क्लास रहती है वहां पर भी अवैध रूप से शराब बनती है। दूसरा माफिया अवैध रूप से शराब लाकर बेचता है। यह देसी और अंग्रेजी दोनों तरह की शराब होती है, लेकिन टैक्स चोरी कर इसे लाकर बेचा जाता है। इस पर जो मार्का लगा है यह उसी कंपनी का है या फिर अवैध है इसका कोई पता नहीं होता। अवैध शराब में कोर्ट से लेनी पड़ती है जमानत

नियमों के तहत शराब की अवैध बिक्री करने पर एक्साइज एक्ट के तहत मामला दर्ज होता है। पुलिस आरोपित को गिरफ्तार करती है। कुछ मामलों में थाने में ही जमानत मिल जाती है। अवैध शराब यदि खुद बनाई है और इसे बेचा है तो जमानत मिलना मुशिकल है। ऐसे मामलों में कोर्ट से ही जमानत लेनी पड़ती है। पुलिस द्वारा बरामद की गई शराब

वर्ष,मामले दर्ज,अंग्रेजी,देसी,बीयर, अवैध

2020,232,3324750 मिली,24236400 मिली,495150,45 लीटर

2021,253,1568250 मिली,6179750 मिली,486850,107 लीटर नशे के खिलाफ पुलिस ने विशेष अभियान चलाया हुआ है। शिमला जिले में वर्ष 2021 में 253 मामले दर्ज किए गए हैं। इसमें 256 लोगों को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने इनके पास से काफी मात्रा में शराब भी पकड़ी है।

- कमल वर्मा, डीएसपी हेडक्वार्टर।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.