फिर दरकने लगा ऐतिहासिक रिज मैदान
जागरण संवाददाता, शिमला : राजधानी शिमला में बारिश के साथ ही ऐतिहासिक रिज मैदान दोबारा दरकना शुरू हो ग
जागरण संवाददाता, शिमला : राजधानी शिमला में बारिश के साथ ही ऐतिहासिक रिज मैदान दोबारा दरकना शुरू हो गया है। इस बार रिज मैदान में टाउन हाल के सामने वाले हिस्से में दरारें पड़ रही हैं। वर्ष 2008 में भी रिज मैदान में दरारें आई थीं। तबसे लेकर रिज मैदान को बचाने के लिए नगर निगम महज लीपापोती ही करता आया है।
रिज मैदान को ढहने से बचाने के लिए अंडर ग्राउंड शॉपिंग कांप्लेक्स की योजना भी अभी फाइलों में दफन है। 2008 से रिज मैदान में आशियाना, गेयटी थियेटर और नगर निगम ऑफिस के सामने ही दरारें पड़ती आई हैं। कुछ वर्ष पहले सरकार ने रिटेनिंग वॉल लगाने की बात कही थी, लेकिन यह घोषणा महज कागजों तक ही सीमित है। नगर निगम प्रशासन की सुस्ती व सरकारी तंत्र की लापरवाही के चलते ऐतिहासिक रिज मैदान फिर खतरे में है। रिज मैदान के जिस हिस्से में अब दरारें आई हैं, वहा से रिज का हिस्सा भी झुकना शुरू हो गया है। लगातार हो रही बारिश का पानी इन दरारों से निकल रहा है, जिससे खतरा और ज्यादा बढ़ गया है। रिज मैदान के साथ लगते नगर निगम के संपदा कार्यालय के बाहर भी बड़ी-बड़ी दरारें पड़ी हुई हैं। रिज के झुके हिस्से को गिरने से बचाने की दिशा में अभी तक कोई पुख्ता पहल नहीं लाई गई है। यदि समय रहते उचित कदम नहीं उठाए गए तो निगम अधिकारियों की यह नजरअंदाजी बड़ी आपदा का निमंत्रण दे सकती है।
निगम द्वारा इससे पहले भी रिज मैदान पर पड़ी दरारों को सीमेंट से भर कर खानापूर्ति की जाती रही है। निगम की इस औपचारिकता से ऐतिहासिक रिज मैदान खतरे में है। निगम द्वारा मरम्मत के नाम पर मैदान की बार-बार खोदाई से रिज के धंसने का खतरा घटने की जगह बढ़ता ही जा रहा है।