बिचौलियों से निरक्षर लोगों के खाते हासिल कर पैसा ट्रांसफर कर रहे साइबर अपराधी, इन राज्यों से हैं तार
हिमाचल में हुए साइबर अपराधों के तार असम मिजोरम पश्चिम बंगाल झारखंड व बिहार राज्य से जुड़े हैं।
शिमला, जेएनएन। हिमाचल में हुए साइबर अपराधों के तार असम, मिजोरम, पश्चिम बंगाल, झारखंड व बिहार राज्य से जुड़े हैं। जिन बैंक खातों में हिमाचल से पैसा ट्रांसफर किया जा रहा है, वे इन राज्यों के गरीबों, असाक्षरों व बुजुर्ग महिलाओं के हैं। इन खातों को बिचौलियों ने साइबर अपराधियों के हाथ तक पहुंचाया है। अपराधी देश के महानगरों, मुंबई, दिल्ली, बेंगलुरु, अहमदाबाद, कोलकाता आदि में बैठे हैं। वे वहीं से इंटरनेट बैंकिंग के माध्यम से प्रदेश के लोगों को ठगी का शिकार बना रहे हैं।
इस संबंध में हिमाचल सीआइडी के साइबर सेल की टीम डीएसपी नरवीर राठौर की अगुवाई में अन्य राज्यों में गई थी। साइबर थाना शिमला में दर्ज अपराधों की जांच की गई। जांच में पाया कि संदिग्ध साइबर अपराधी गलत तरीकों से हासिल किए गए रुपयों को उनके द्वारा खोले गए जाली पे यू मनी, पेटीएम, वालेट आदि में ट्रांसफर करते हैं। मिजोरम, असम आदि के अशिक्षित बेरोजगार, गरीब युवा या वृद्ध पुरुष व महिलाओं के बैंक खातों को बिचौलियों के माध्यम से देश के महानगरों में बैठे देशी व विदेशी साइबर अपराधी जाली ट्रांजेक्शन के लिए इस्तेमाल करते हैं। कुछ बैंक खाते फर्जी नाम, पतों पर खोले गए थे। कुछ खाताधारकों ने इस बात से अनभिज्ञता जताई कि उनका बैंक खाता साइबर अपराध में प्रयोग किया जा रहा है। बिचौलियों ने 500 रुपये से लेकर 1500 रुपये पाने के लिए उनसे पासबुक हासिल की और उनके खातों का बैंक से एटीएम कार्ड भी जारी करवाया।
एडीजीपी ने पुलिस महानिदेशकों को लिखा पत्र
हिमाचल प्रदेश के एडीजीपी (सीआइडी) अशोक तिवारी ने कई राज्यों के पुलिस महानिदेशकों को पत्र लिखा है। इसमें आग्रह किया है कि वे लोगों को जागरूक करें। उन्हें बताएं कि वे अपने बैंक खाते व एटीएम की जानकारी साइबर अपराधियों के लालच में आकर शेयर न करें। ऐसी परिस्थिति में जांच एजेंसी को अपराधियों को पकडऩे में मुश्किल का सामना करना पड़ता है।