Make Small Strong: लाकडाउन में किसानों से आनलाइन जुड़कर खेत तक पहुंचाए बीज और कृषि उपकरण
Make Small Strong एक ही छत के नीचे किसानों को बीज खाद और एडवांस टेक्नोलॉजी के कृषि उपकरण सहित अन्य सुविधाएं उपलब्ध हो रही हैं। प्रसून एग्रीकल्चर सॉल्यूशन के एमडी ने कोरोना के दौरान लॉकडाउन में भी सोशल मीडिया को साथी बनाकर किसानों को घरद्वार तक सामान मुहैया करवाया।
कुल्लू, कमेलेश वर्मा। एक ही छत के नीचे किसानों को बीज, खाद और एडवांस टेक्नोलॉजी के कृषि उपकरण सहित अन्य सुविधाएं उपलब्ध करवा रहे हैं। प्रसून एग्रीकल्चर सॉल्यूशन कंपनी अखाड़ा बाजार के एमडी प्रसून शर्मा ने कोरोना के दौरान लॉकडाउन में भी सोशल मीडिया को साथी बनाकर किसानों को घरद्वार तक सामान मुहैया करवाया। बकौल प्रसून शर्मा लॉकडाउन के दौरान 10 कर्मचारियों का वेतन निकालने के साथ-साथ समय पर जिलेभर के किसानों को सामान की डिलीवरी करना भी एक बड़ी चुनौती थी। इसके बावजूद हौसला न हारते हुए इस मुश्किल घड़ी में भी खुद गाड़ी चलाकर भी सामान के ऑडर्र की सप्लाई घरद्वार तक पहुंचाई, ताकि किसानों के उत्पाद को नुकसान न पहुंच सके।
यही नहीं फेसबुक पेज या व्हाटसअप पर जो भी ऑडर्र आते थे उनको छोडने के लिए अपना वाहन भेजा गया। लेकिन किसानों से कोई किराया नहीं लिया। यही नहीं कई किसानों के पास कोरोना के कारण कारोबार न होने से पैसों की कमी थी तो उनसे पैसे भी बाद में लिए गए। किसी पर कोई दबाव नहीं बनाया, क्योंकि हालात ही कुछ इस तरह के थे। कर्मचारियों ने भी इस दौरान पूरा सहयोग दिया तथा लगभग तीन महीनों तक उनको वेतन देकर कार्य करवाया। हालांकि इनके पास खुद बाहर से आने वाले उपकरणों की सप्लाई बंद थी, लेकिन इसके बावजूद उनके पास मौजूद स्टाफ से ही काम चलाया गया। इसके अलावा प्रसून एग्रो सॉल्यूशन कंपनी का लहसुन की सप्लाई का काम भी करती है तथा विभिन्न फसलों के बीज भी किसानों को उपलब्ध करवाती है।
पिता से ली प्रेरणा
कुल्लू जिला में प्रसून एग्रीकल्चर सॉल्यूशन कंपनी चला रहे प्रसून शर्मा 40 सालों से कृषि उपकरण की सप्लाई का काम करते हैं। उनके पिता स्वर्गीय मधुसुदन शर्मा जो कृषि विभाग से सेवानिवृत हुए थे। उन्होंने पहले प्रसून बीज भंडार के नाम से कार्य शुरू किया और उसके बाद पिता की मृत्यु के बाद प्रसून ने पिता से प्रेरणा लेकर और उनके पदचिन्हों पर चलते हुए इस कार्य को आगे बढ़ाया।
एक ही छत के नीचे सारा सामान उपलब्ध
प्रसून के अनुसार हमारे यहां एक ही छत के नीचे कृषि से संबंधित हर तरह का सामना उपलब्ध है। घास काटने का कटर, पॉवर टिल्लर, पावर चेन, बीज, खाद, दवाइयां आदि सप्लाई जिला कुल्लू ही नहीं बल्कि पूरे प्रदेशभर में की जाती है। यहां थोक और परचून दोनों स्तर पर सामान उपलब्ध करवाया जाता है।
ग्राहकों को घरद्वार पहुंचाया सामान
प्रसून बताते हैं कि पिछले 40 साल में पहली बार ऐसा समय आया जब किसानों के घर तक सामान पहुंचाना था और वह भी ऐसे दौर में जब हालात बेहद खराब थे। लेकिन फिर भी उन्होंने सोशल मीडिया का सहारा लेते हुए फेसबुक पेज और वाट्सएप पर लोगों से संपर्क साधकर आपदा के समय में भी अपने ग्राहकों को किसी भी तरह की दिक्कत पेश नहीं आने दी। जिलेभर में लोगों को उनके घर तक सामान की डिलीवरी करवाई। किसानों को कृषि संबंधी हर सामान के फोटो उनके फीचर आदि डालकर बकायदा फोन पर ही सब कुछ समझाया जाता था। अनलॉक-1 शुरू होते ही जो भी आर्डर इनके पास आए थे, उन्होंने स्वयं गाड़ी के माध्यम से किसानों तक पहुंचाए।
आनलाइन करवाई पेमेंट
इस दौरान ऑनलाइन पेमेंट भी एक बड़ा जरिया बना। हालांकि अधिकतर किसान ऑनलाइन के बारे में जानकारी नहीं रखते थे, लेकिन शहरी क्षेत्रों के आसपास के लोगों ने फाेन पर ऑर्डर देकर पेमेंट भी ऑनलाइन ही की। अनलॉक होते ही किसानों की मांग को कर्मचारियों के माध्यम से उसको पूरा किया गया। साथ ही जो स्टाक पड़ा था, उसे भी बाजार में भेजा गया। अनलॉक के दौरान उनको सबसे अधिक दिक्कत ग्रामीण क्षेत्रों में तब आई जब लोग बाहर से आने वालों को रोक रहे थे। ऐसे में उन्होंने किसानों की मदद ली और अपने उत्पाद खेतों तक पहुंचाए।
पुलिस की सहायता से पहुंचाया सामान
लॉकडाउन के दौरान जब किसानों को बीज या उपकरणों की जरूरत पड़ी तो कंपनी को पुलिस प्रशासन से काफी सहयोग मिला। एएसपी कुल्लू राजकुमार चंदेल ने इसमें मदद की और वाहनों को ले जाने के लिए पास उपलब्ध करवाए। साथ ही कहीं नाके आदि पर जरूरूत पड़ी तो भी पुलिस प्रशासन मदद करता। प्रशासन का केवल इतना कहना था कि किसानों को किसी प्रकार की समस्या नहीं आने चाहिए। प्रसून शर्मा ने इसके लिए पुलिस- प्रशासन का आभार जताया है।
दवाओं और खाद की सबसे अधिक रही मांग
लॉकडाउन के दौरान सेब, गोभी, मटर, जापानी फल, टमाटर आदि की फसलें तैयारी पर थीं। ऐसे में इनको बीमारियों से बचाने के लिए दवा और खाद की आवश्यकता थी। ऐसे में किसानों तक यह दवाइयां और खादें तुरंत प्रभाव से पहुंचाए गए। इस दौरान कई क्विंटल खाद, दवाईयां और कृषि उपकरण कुल्लू जिला के बंजार, मनाली, लगवैली सहित अन्य क्षेत्रों तक पहुंचाए।
सात नवंबर को मनाली में लगेगी प्रदर्शनी
प्रसून शर्मा ने बताया कि किसानों को नई आधुनिक तकनीकों से रूबरू करवाने के लिए सात नवंबर को मनाली में एक सेमिनार किया जा रहा है। यहां पर जापानी कंपनी की ओर से उम्दा किस्म की मशीनें और कृषि संबंधी उत्पाद प्रदर्शित किए जाएंगे।