हिमाचल प्रदेश में कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों के बीच वेंटीलेटर व बिस्तर की क्या है स्थिति, जानिए
Himachal Pradesh Coronavirus Update हिमाचल प्रदेश में 150 वेंटीलेटर की सांसें स्टोर में ही फूलने लगी हैं। ये विदेश से कारपोरेट सोशल रिस्पांसिबिलिटी (सीएसआर) के तहत मिले थे लेकिन करीब एक साल से इन्हें स्थापित ही नहीं किया जा सका है।
शिमला, यादवेन्द्र शर्मा। Himachal Pradesh Coronavirus Update, हिमाचल प्रदेश में 150 वेंटीलेटर की सांसें स्टोर में ही फूलने लगी हैं। ये विदेश से कारपोरेट सोशल रिस्पांसिबिलिटी (सीएसआर) के तहत मिले थे, लेकिन करीब एक साल से इन्हें स्थापित ही नहीं किया जा सका है। वहीं, प्रधानमंत्री केयर से मिलने वाले 250 वेंटीलेटर प्रदेेश का रास्ता भटक गए हैं। केंद्र से मिले 750 वेंटीलेटर में से इन्हें वापस ले लिया गया था, क्योंकि इनकी जगह दूसरे भेज दिए गए थे। लेकिन, इनके बदले में ये फिर नहीं मिल पाए।
प्रदेश के विभिन्न मेडिकल कालेजों व अस्पतालों को एक हजार वेंटीलेटर उपयोग के लिए दिए हैं। स्वास्थ्य विभाग द्वारा मांगी गई रिपोर्ट के अनुसार इनमें से कुछ कार्य नहीं कर रहे हैं। सीएसआर के तहत विभिन्न अस्पतालों को मिले पोर्टेबल वेंटीलेटर स्टोर की शोभा बढ़ा रहे हैं। यह वे वेंटीलेटर हैं जो सीधे अस्पतालों को विभिन्न कंपनियों द्वारा लोगों की सुविधा के लिए उपलब्ध करवाया गया है।
वेंटीलेटर हैं...संचालन का प्रशिक्षण नहीं
कई अस्पतालों में तो कर्मचारियों को वेंटीलेटर के संचालन का प्रशिक्षण ही नहीं मिला है। जिन्हें प्रशिक्षित किया गया है उनकी संख्या कम है। ऐसे मेें स्वास्थ्य विभाग ने वेंटीलेटर संचालन के प्रशिक्षण के लिए भी कहा है जिससे कोई समस्या न आए।
कोरोना संक्रमितों के लिए उपलब्ध बिस्तर
प्रदेश में कोरोना संक्रमितों का आंकड़ा लगातार बढ़ रहा है। प्रदेश में कोरोना मरीजों के लिए 3356 बिस्तरों की व्यवस्था उपचार के लिए मेडिकल कालेजों व अस्पतालों में की गई है। इनमें से 2275 आक्सीजन की उपलब्धता वाले बेड हैं, जबकि 264 आइसीयू बेड रखे गए हैं। इनकी संख्या को आवश्यकता पड़ने पर और बढ़ाया जा सकता है।
क्या कहते हैं स्वास्थ्य मंत्री
हिमाचल प्रदेश के स्वास्थ्य एवं आयुष मंत्री डाक्टर राजीव सैजल का कहना है हिमाचल प्रदेश में कोरोना संक्रमण से निपेटने के लिए सभी प्रबंध पूरे हैं। वेंटीलेटर की कोई कमी नहीं है। वेंटिलेटर जो केवल पहले 50 ही होते थे अब एक हजार से अधिक हैं। कोरोना की दूसरी लहर के समय वेंटीलेटर की कम आवश्यकता पड़ी थी। बावजूद इसके सभी प्रबंध पूरे हैं और लगातार निगरानी की जा रही है।