Snowfall in Lahaul: लाहुल घाटी में सेब की पककर तैयार फसल पर बर्फबारी, बागवानों को नुकसान
Snowfall in Lahaul जनजातीय जिला लाहुल-स्पीति के लाहुल घाटी में हुई बर्फ़बारी सेब पर भारी पड़ गई है। लाहुल घाटी में सेब की फसल लगभग तैयार है। लेकिन शुक्रवार देर रात अचानक हुई बर्फ़बारी बागवानों पर भारी पड़ गई है।
केलंग, जेएनएन। जनजातीय जिला लाहुल-स्पीति के लाहुल घाटी में हुई बर्फ़बारी सेब पर भारी पड़ गई है। लाहुल घाटी में सेब की फसल लगभग तैयार है। लेकिन शुक्रवार देर रात अचानक हुई बर्फ़बारी बागवानों पर भारी पड़ गई है। लाहुल घाटी के पटना, चंद्रा, गाहर व तिनन वैली में सेब की फसल पककर तैयार हो गई है। इस बार अटल टनल बनने से बागवानों का सेब समय पर सुरक्षित मंडियों में पहुंचने की उम्मीद जगी थी। लेकिन सेब तुड़ान से पहले ही बर्फबारी ने बागवानों की परेशानी बढ़ा दी है। घाटी के बागवान जगदीश, दोरजे, राहुल व अजीत ने बताया अचानक हुई बर्फ़बारी से सेब की फसल को नुकसान पहुंचा है।
उन्होंने बताया सेब का सीजन शुरू हो गया है। लेकिन इस बीच हुई बर्फ़बारी ने सेब की फसल को नुकसान पहुंचाया है। बागवान पलजोर, सोनम, दीपक, टशी व अमर ने बताया कि 2018 व 19 में अचानक हुई बेमौसमी बर्फ़बारी ने बागवानों को निराश कर दिया था। लेकिन इस बार ही शुक्रवार रात अचानक हुई बर्फ़बारी ने उनकी दिक्कत बढ़ाई है।
उन्होंने बताया बेहतर क्वालिटी के कारण देशभर में लाहुली सेब की अपनी अलग पहचान है। बागवानी महकमे के रिकॉर्ड के मुताबिक लाहुल में करीब चार हजार हेक्टेयर भूमि पर सेब के बगीचों में चार लाख से अधिक सेब के पौधे लगाए गए हैं। जिला बागवानी उपनिदेशक डॉ. सोनम ने बताया हालांकि अभी बर्फ़बारी से कम नुकसान हुआ है। लेकिन बर्फ़बारी का क्रम ऐसा ही रहता तो बागवानों की परेशानी बढ़ सकती है।
यह भी पढ़ें: Snowfall in Himachal: बारालाचा और शिंकुला दर्रे में एक फीट हिमपात, मनाली-लेह मार्ग बंद; वाहन फंसे
यह भी पढ़ें: बर्फबारी के कारण रविवार तक बंद रहेगा मनाली-लेह मार्ग, लाहुल-स्पीति पुलिस ने जारी किए निर्देश